साहित्य हिसार स्त्री की विभिन्न स्थितियों को दर्शातीं कमलेश भारतीय की लघुकथाएं ……… 07/02/2022 bharatsarathiadmin शर्त युवा समारोह में श्रेष्ठ अभिनेत्री का पुरस्कार जीतने वाली कलाकार अभिनय से अचानक मुख मोड़ गयी । क्यों ? यह सवाल पूछा तब उसने ठंडी आह भर कर बताया…
साहित्य हिसार श्रेष्ठ साहित्य पढ़ो और समाज के लिए लिखो : कमलेश भारतीय 07/02/2022 bharatsarathiadmin हिसार : हिसार के डीएन काॅलेज के निकट ओपन माइक कार्यक्रम में नवरचनाकारों को संबोधित करते हुए हरियाणा ग्रंथ अकादमी के पूर्व उपाध्यक्ष कमलेश भारतीय ने कहा कि श्रेष्ठ साहित्य…
साहित्य हिसार पुरस्कार का हश्र, ,,,,,तुम्हें याद हो कि न हो याद हो 01/02/2022 bharatsarathiadmin -कमलेश भारतीय मित्रो । जिंदगी के पहले पुरस्कार का हश्र क्या हुआ ? बताता हूं । पंजाब के एक समाचार पत्र ने सन् 1972 में लघुकथा प्रतियोगिता की घोषणा की…
साहित्य स्वतंत्र लेखन से सत्यवान ‘सौरभ’ का देश में सम्मान 29/01/2022 bharatsarathiadmin (14 की उम्र में शुरू किया लेखन, कई रचनाओं का प्रादेशिक भाषा में अनुवाद) सिवानी मंडी (भिवानी) : जिले के युवा साहित्यकारों में सत्यवान ‘सौरभ’ का नाम खास है। किसान…
साहित्य हिसार लघुकथा…..समाजसेवा 22/01/2022 bharatsarathiadmin कमलेश भारतीय एक समाजसेवी संस्था की पत्रकार वार्ता में गया । वहां किसी गांव में सिलाई स्कूल खोलने की चर्चा हुई । संस्था ने यों ही पत्रकारों से सुझाव मांगा…
गुडग़ांव। साहित्य लघुकथा…..दास्तान-1990 22/01/2022 bharatsarathiadmin डॉ.सुरेश वशिष्ठ, गुरुग्राम आलिम की मौत पर मातम पसर गया। लोगों को टीवी पर रोते-बिलखते देखा तो राजीव मुक्कू की आँखों से भी आँसू निकल आए। जेहन में पत्नी की…
साहित्य हिसार साहित्यिक पत्रकारिता : कल , आज और कल 21/01/2022 bharatsarathiadmin -कमलेश भारतीय मेरे बड़े भाई फूलचंद मानव उम्र के इस पड़ाव पर भी किसी युवा की तरह सक्रिय हैं । यह देख कर खुशी भी होती है और प्रेरणा भी…
साहित्य हिसार कमलेश भारतीय के जन्मदिन पर विशेष 17/01/2022 bharatsarathiadmin -प्रेम जनमेजयसंपादक-व्यंग्य यात्रा कमलेश भारतीय की रचनात्मक यात्रा का लगभग आधी सदी से साक्षी हूँ। एक रचनाधर्मी यात्री के रूप में सकारात्मक सोच और सामाजिक प्रतिबद्धता की उनकी यात्रा को…
साहित्य हिसार लघुकथा : जन्मदिन 14/01/2022 bharatsarathiadmin -कमलेश भारतीय छोटे भाई की छोटी बेटी मन्नू हमारे पास आई हुई थी । एक सुबह नाश्ते पर कहने ली – बड़ी मां , मेरी एक बात सुनेगी ?-कहो बेटे…
साहित्य हिसार अश्क जैसी जिजीविषा कहीं देखने को नहीं मिलती : भूमिका द्विवेदी अश्क 05/01/2022 bharatsarathiadmin -कमलेश भारतीय हिंदी साहित्य के बड़े और लोकप्रिय साहित्यकार उपेंद्रनाथ अश्क जैसी जिजीविषा कहीं देखने को नहीं मिलती । उन्होंने जो भी लिखा बहुत शोध करने के बाद लिखा ।…