Category: देश

लालकृष्ण आडवाणी, मुरली मनोहर जोशी और शांता कुमार को 2024 में लोकसभा चुनाव लड़ना चाहिए: सुब्रमण्यम स्वामी

नई दिल्ली । भारतीय जनता पार्टी के नेता सुब्रमण्यम स्वामी ने मेट्रो मैन कहे जाने वाले 88 साल के श्रीधरन को केरल में हो रहे विधानसभा चुनाव के लिए मुख्यमंत्री…

मन मैला – तन उजला – बगुला कपटी अंग…संवेदनहीन सत्ता और सताए गए किसानों के 100 दिन

रणदीप सिंह सुरजेवाला, महासचिव, भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस का बयान मोदी सरकार भी कपटी बगुले की तरह है जिसका तन उजला और मन मैला है। पौराणिक कथाओं में ही सुना था…

क्या आपको आज के पहले विपक्ष कभी इतना बिखरा-बिखरा दिखा था?

– 2014 से पहले महँगाई व भ्रष्टाचार के खिलाफ भाजपा किस तरह सड़कों पर उतर जाती थी।– विपक्ष पर सीबीआई, ईडी संस्थाओं का डंडा चलाकर पस्त कर दिया गया– किसी…

राजनीति : आओ सीखें मुहावरों के नये अर्थ

-कमलेश भारतीय मुहावरे किसी भी भाषा के प्राण होते हैं । कितनी आसानी से बड़ी बात कह जाते हैं । हिंदी में अनेक मुहावरे हैं और हम सब समय समय…

केरल से भाजपा के मुख्यमंत्री प्रत्याशी बने मेट्रो-मैन श्रीधरन

– मोशा (मोदी- शाह) ने 75 वर्ष से अधिक आयु वाले नेताओं के चुनाव लड़ने पर प्रतिबंध वाला नियम इसलिए बनाया कि आडवाणी जोशी को ठिकाने लगा सके । –…

अब सिलेंडर में स्मार्ट लॉक होंगे जिसे उपभोक्ता के अलावा कोई और नहीं खोल पाएगा

– गैस की चोरी रोकी जा सकेगी।– नई प्रक्रिया के तहत जब कोई उपभोक्ता गैस सिलेंडर बुक करेगा, उसी वक्त उसके मोबाइल पर एक कोड आएगा– गैस भरने वाले प्लांट…

विद्रोह की आवाज़ राजद्रोह नहीं

-कमलेश भारतीय क्या सरकार के खिलाफ आवाज़ उठाना राजद्रोह है ? नहीं । सुप्रीम कोर्ट ने फिर यह फैसला दिया है । जम्मू कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री फारूख अब्दुल्ला के…

समय आ गया है राहुल को पार्टी की सारी कीचड़ – गंदगी साफ कर देना चाहिए

– दोनो भाई बहन ताबड़तोड़ दौरे कर रहे हैं कोविड के खतरे के बावजूद।– 23 बुढऊ राज्यसभा की मलाई खा पेंशन पाकर उसी कांग्रेस के गड्ढे खोद रहे है जिसने…

कृषि कानून , चुनाव में नारा और गुलाम नवी

-कमलेश भारतीय तीन कृषि कानूनों के विरोध में किसान आंदोलन लगातार जारी है बेशक इसका रूप प्रारूप बदलता जा रहा है और किसान नेताओं में भी कुछ दूरियां , कुछ…

कांग्रेस का मौजूदा प्रकरण लगातार अपनी लोकप्रियता खो रहा है

– कांग्रेस में आज लड़ाई राहुल गांधी को लेकर है, बागियों का मानना है कि वह पार्टी का नेतृत्व करने के लिए अक्षम हैं।– क्या नेपथ्य में जिस हंसी की…

error: Content is protected !!