हिंसा को कहीं से भी जायज नहीं ठहराया जा सकता है।
* 300 किसान शहीद हो गए आंदोलन में, दिखा कहीं सहानुभूति या संवेदना का एक शब्द ।* कर्म है घूम के आता हैं।* पार्टी से ज्यादा जनता को प्राथमिकता नहीं…
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* 300 किसान शहीद हो गए आंदोलन में, दिखा कहीं सहानुभूति या संवेदना का एक शब्द ।* कर्म है घूम के आता हैं।* पार्टी से ज्यादा जनता को प्राथमिकता नहीं…
तीन केंद्रीय कृषि कानूनों से नाराज, बड़ी संख्या में किसानों ने कथित तौर पर अबोहर के भाजपा विधायक अरुण नारंग की पिटाई की, उनके कपड़े फाड़ दिए। शनिवार को मलोट…