नगर निगम गुरुग्राम विकास शुल्क के नाम पर हुआ ठप्प : जनता को रजिस्ट्री कराने के लिए नहीं मिल रहे टोकन

गुरुग्राम – हरियाणा शहरी स्थानीय निकाय विभाग नगर निगम गुरुग्राम ने हाल ही में कहा था कि गुरुग्राम में कोई बकाया नहीं सूचना और प्रबंधन प्रणाली को हरियाणा लैंड रिकॉर्ड इंफॉर्मेशन सिस्टम से जोड़ा जाएगा। इसके माध्यम से एकत्रित आंकड़ों को हरियाणा सरकार के राजस्व विभाग की जमाबंदी वेबसाइट पर सार्वजनिक रूप से उपलब्ध कराया जाएगा। जबकि गुरुग्राम की जमाबंदी आज तक नहीं की जा सकी है ।

हरियाणा शहरी स्थानीय निकाय विभाग नगर निगम गुरुग्राम की वेबसाइट बताती है कि आवश्यक दस्तावेज जमा करने के 30 दिनों के भीतर आपका बकाया नहीं प्रमाणपत्र तैयार किया जाएगा, बशर्ते कि आपने सभी विवरण सही ढंग से जमा किए हों।

हरियाणा शहरी स्थानीय निकाय विभाग नगर निगम गुरुग्राम के द्वारा यह भी बताया गया की विकास शुल्क एक बार ही जमा कराया जाता है परन्तु उसके बाद की रजिस्ट्री की चैन और विकास शुल्क की रसीद लगे जानी चाहिए

जबकि वास्तविक परिदृश्य धरातल पर कुछ और ही है। गुरुग्राम में आज तक विकास शुल्क को कॉलोनियो के तय मूल्यांकन के आधार पर साईट पर अपडेट नहीं किया गया है उदाहरण के तौर पर, किसी कॉलोनी का 100 वर्ग गज का विकास शुल्क 12000 रूपए बनता है जबकि उसका विकास शुल्क 145000 रूपए साईट पर दिखाया जा रहा है। जबकि कॉलोनी के लोगो के द्वारा विकास शुल्क कब के जमा किये जा चुके है और कई बार नो ड्यूज़ सर्टिफिकेट भी लिया जा चूका है, प्रॉपर्टी टैक्स, इलेक्ट्रिसिटी बिल , पानी का बिल भी समय पर जमा कर रहे है । अब परेशानी ये है की नो ड्यूज़ सर्टिफिकेट के लिए जिस समय विकास शुल्क जमा किया गया था उसके बाद की जमाबंदी , रजिस्ट्रियो की चैन और इंतकाल को क्रमबद्ध तरीके से पीडीऍफ़ बना कर ऑब्जेक्शन लगाना है ।

परेशानिया
  1. गुडगाँव शहर की जमाबंदी आज तक अपलोड नहीं की गयी
  2. विकास शुल्क को कॉलोनियो के तय मूल्यांकन के आधार पर साईट पर अपडेट नहीं किया गया है
  3. 2010 तक के विकास शुल्क की रसीद ऑनलाइन/चेक/डी डी का ब्यौरा ही विभाग के पास उपलब्ध । 2010 के बाद का कैश की रसीद का कोई ब्यौरा उपलब्ध नहीं
  4. 2010 के पहले के विकास शुल्क का ऑनलाइन/चेक/डी डी/कैश का कोई ब्यौरा उपलब्ध नहीं ।
  5. कोरोनाकाल में अचानक हुई मृत्यु के कारण सगे संबंधियों और बच्चो के पास जानकारी का अभाव और विकास शुल्क का साईट पर सही नहीं दिखने के कारण नो ड्यूज़ सर्टिफिकेट मृतकों के परिजनों की रजिस्ट्री में अड़चन पैदा कर रहा है ।
  6. गुरुग्राम में कोई बकाया नहीं सूचना और प्रबंधन प्रणाली को हरियाणा लैंड रिकॉर्ड इंफॉर्मेशन सिस्टम से नहीं जोड़ा गया
  7. ऑब्जेक्शन तो कई हजारो में जमा हुए है परन्तु कार्य हुए ही नहीं है । 30 दिनों के भीतर कार्य करना या अस्वीकार करना उद्देश्य को पूर्णत झुठलाता है । अगर सत्यता से जांच की जाये तो तीन से चार महीनो से पुरानी आपतिया लंबित है । जिन पर विभाग के द्वारा कोई संज्ञान नही लिया गया है । हरेक इंसान को विभाग के द्वारा हर बार एक गलती बता कर नयी ऑब्जेक्शन लगाने के लिए कह कर भगा दिया जाता है । आम आदमी चक्कर ही काट रहा है ।

इस पर तत्काल रोक की जरुरत है जब तक गुरुग्राम के हरियाणा शहरी स्थानीय निकाय विभाग नगर निगम गुरुग्राम के द्वारा इसे पूर्णतया ठीक नहीं कर लिया जाता । जिस कारण हरियाणा सरकार को करोडो का आर्थिक नुकसान उठाना पड़ रहा है और आम आदमी को इस कोरोनो काल में हरियाणा शहरी स्थानीय निकाय विभाग नगर निगम गुरुग्राम द्वारा प्रताड़ित किया जा रहा है ।

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