भारत सारथी/ऋषि प्रकाश कौशिक

गुरुग्राम। आज भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष ओमप्रकाश धनखड़ ने गुरुग्राम में 23 तारीख को नेताजी सुभाष चंद्र बोस जयंती मनाने के लिए अपने संगठन के लोगों की मीटिंग की और उन्होंने विज्ञप्ति के जरिये बताया कि आजादी की लड़ाई 4 हिस्सों में 90 साल चली। इस लड़ाई में 3027 लोगों का बलिदान हुआ। 13 हजार को कोर्ट से सजा हुई, जिनमें से हरियाणा के 850 लोग और गुरुग्राम के 230 लोगों ने बलिदान दिया। साथ ही लिखा है कि यह इतिहास में कहीं दर्ज नहीं है।

जब 13 हजार लोगों को कोर्ट से सजा हुई तो वह तो इतिहास में दर्ज होगा न। धनखड़ जी से काला पानी जाने के पूर्व से पूछ रहे हैं कि गुरुग्राम के बलिदानियों के नाम बता दीजिए। आज उन्होंने गिनती तो बताई लेकिन नाम और स्थान आज भी नहीं बताए। कहा जाता है कि आंकड़े झूठ नहीं बोलते लेकिन आंकड़ों की सत्यता प्रमाणिक होनी चाहिए तो धनखड़ जी से जानना चाहेंगे कि इनकी क्या प्रमाणिकता है? मेरे और क्षेत्र के निवासियों के अनुसार तो गुरुग्राम से 230 नहीं हजारों ने बलिदान दिया। अब सत्य किसे मानें?

आजादी के अमृत महोत्सव पर प्रत्येक दिन स्वतंत्रता सेनानियों को समर्पित है तो जब कोई भी अनाम बलिदानी इनको ज्ञात हुआ तो इन्होंने उसी दिन उनका सम्मान क्यों नहीं किया?देश पर जान न्यौछावर करने वाले सभी स्वतंत्रता सेनानी और शहीद हैं। कल ही सोहना में एक सैनिक की अंत्येष्टि की गई थी, राजकीय सम्मान के साथ। कुछ दिन पूर्व ही पटौदी में एक शहीद की पत्नी का स्वर्गवास हुआ था, उनका भी राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया गया था लेकिन धनखड़ जी की ओर से या उनके संगठन और कार्यकारिणी की ओर से उनके लिए कोई शब्द नहीं निकले। शायद उन्हें उनकी जानकारी नहीं रही होगी। प्रश्न यही है कि जब वर्तमान की जानकारी तो इनको है नहीं और आंकड़े प्रस्तुत कर रहे हैं 1857 से 1947 तक के तो प्रमाणिकता तो चाहिए?

हम तो देश के ज्ञात-अज्ञात शहीदों को नमन करते आए। जीवन की अंतिम सांस तक करते रहेंगे परंतु आत्मा को कष्ट अवश्य होता है, जब शहीदों के नाम पर कहीं असत्य बात परोसे जाने की जानकारी मिले। अत: प्रार्थना है प्रदेश अध्यक्ष जी से कि वह इनके नाम व पते सार्वजनिक करें और अपनी कही हुई बातों की प्रमाणिकता सिद्ध करें।

error: Content is protected !!