Category: देश

देश का सदभाव बिगाडऩे नही देकर ही हम बापूजी को सच्ची श्रद्घाजंली दे सकते है : विद्रोही

30 जनवरी 2022राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के 74वें बलिदान दिवस पर हरियाणा प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रवक्ता वेदप्रकाश विद्रोही ने स्थानीय गांधी चौक पर उनकी प्रतिमा पर पुष्पाजंली अर्पित करके उन्हे…

डिप्टी सीएम दुष्यंत चौटाला पहुंचे बीकानेर

, ईसबगोल के उन्नत बीज और तकनीक हरियाणा के किसानों को उपलब्ध करवाने पर की चर्चा बीकानेर से हमारा कई पीढ़ियों का नाता, मिलकर आगे बढ़ें हरियाणा और राजस्थान के…

यह चुप रहने का वक्त नहीं है ………..

गांधीजी अब अकेले नहीं! हरियाणा सरकार के आदेश30 जनवरी को सभी कार्यालयों में आजादी के शहीदों के लिए मौन रखें; राष्ट्रपिता का जिक्र नहीं30 जनवरी 2022 को, महात्मा गांधी की…

स्वतंत्र लेखन से सत्यवान ‘सौरभ’ का देश में सम्मान

(14 की उम्र में शुरू किया लेखन, कई रचनाओं का प्रादेशिक भाषा में अनुवाद) सिवानी मंडी (भिवानी) : जिले के युवा साहित्यकारों में सत्यवान ‘सौरभ’ का नाम खास है। किसान…

क्रिप्टोकरंसी में निवेश करना है एक बड़ी चुनौती

डॉ मीरा, सहायक प्राध्यापिका क्रिप्टोकरंसी की दो प्रकार हैं- फिएट और नॉन फिएट। फिएट एक डिजिटल मुद्रा है जो देश का केंद्रीय बैंक जारी करता है और नॉन फिएट एक…

कांग्रेस का मुख्यमंत्री चेहरा चन्नी और प्रदर्शनी घोड़ा नवजोत सिद्धू

-कमलेश भारतीय अब सवाल उठता है कि क्या नवजोत सिद्धू इसे हजम कर पायेंगे ? मुख्यमंत्री बनने के लिए जिस शख्स ने कांग्रेस में इतने उलटफेर करवाये और फिर भी…

गुलाम नवी और बुद्धदेव में फर्क ,,,?

-कमलेश भारतीय पश्चिमी बंगाल के पूर्व मुख्यमंत्री बुद्धदेव भट्टाचार्य व जम्मू कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री गुलाम नवी आजाद में क्या फर्क है ? गुलाम नवी आजाद और बुद्धदेव भट्टाचार्य दोनों…

27 साल पहले 26 जनवरी की यादें, जम्मू में फटे थे तीन बम; 8 नागरिकों की मृत्यु, राज्यपाल बाल बाल बचे थे।

अजीत सिंह वर्ष 1995 में जम्मू के मौलाना आज़ाद स्टेडियम में आयोजित गणतंत्र दिवस समारोह के दौरान जम्मू-कश्मीर के राज्यपाल, जनरल केवी कृष्णराव को मारने के उद्देश्य से आतंकवादियों द्वारा…

सुभाष जी , सुभाष जी : क्यों संघ के हैं खास जी ? 

उर्दू से नफ़रत है तुम्हें, आज़ाद हिंद फौज में तीनों शब्द उर्दू के हैं । “लाल किले से आई आवाज, सहगल ढिल्लो शाहनवाज, तीनों की उम्र हो दराज” ! मेजर…

रेलवे भर्ती की ख़ामियों के विरोध प्रदर्शन कर रहे युवाओं पर पुलिसबल का प्रयोग अत्यंत निंदनीय है

हिरासत में लिए गए संघर्षिल युवाओं को तुरंत रिहा किया जाए। युवाओं पर बर्बर हमला करवाने वाले अधिकारियों को तुरंत निलंबित किया जाए। इस मामले में अभ्यर्थियों की माँगें पूरी…

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