हरियाणा प्राइवेट स्कूल एसोसिएशन ने जिला शिक्षा अधिकारी को शिक्षा मंत्री के नाम सौपा ज्ञापन

प्राइवेट स्कूलों के अस्तित्व के लिए सरकार प्राइवेट स्कूलों की समस्याओं पर ध्यान दे

बंटी शर्मा

कैथल :~लंबे समय से बन्द पड़े स्कूलों के कारण विद्यार्थियों व कर्मचारियों के भविष्य के बारे में सोचते हुए हरियाणा प्राइवेट स्कूल एसोसिएशन ने जिला शिक्षा अधिकारी श्री अनिल शर्मा की मौजूदगी में हरियाणा के शिक्षा मंत्री श्री कंवरपाल गुर्जर के नाम ज्ञापन सौंपा। इस ज्ञापन में प्राईवेट स्कूलों की समस्याओं के बारे में बताते हुए हरियाणा प्राइवेट स्कूल एसोसिएशन केे प्रदेशाध्यक्ष श्री एनआर गुप्ता ने कहा कि सरकार को कोई ऐसा रास्ता निकालना चाहिए कि कोविड-19 के नियमों का पालन करते हुए स्कूलों को खोलकर बच्चों के भविष्य व कर्मचारियों के रोजगार को बचाया जा सके। उन्होंने कहा कि सरकार सम-विषम का फाॅर्मूला या अन्य कोई फाॅर्मूला अपनाकर स्कूलों को खोलने की अनुमति प्रदान करें ताकि पढ़ाई में पिछड़ रहे बच्चों के भविष्य को बचाया जा सके।

एसोसिएशन के स्टेट सेक्रेटरी डाॅ. विनोद कुमार ने सरकार से अपील करते हुए कहा कि कोविड-19 महामारी के दौरान प्राईवेट स्कूल बन्द होने के कारण उन्हें आर्थिक तंगी का सामना करना पड़ रहा है। इसीलिए सरकार से अनुरोध है कि स्कूलों की बसों के रोड़ टैक्स व इन्शयोरेन्स को उतने समय के लिए आगे बढ़ाया जाए, जितने समय से स्कूल बंद हैं। इसके साथ-साथ बसों व भवन पर लिए गए लोन की ईएमआई भी उतने समय के लिए बन्द होनी चाहिए, जितने दिन तक तक स्कूल बंद हैं। ताकि स्कूल पुनः खुलने पर शेष रही ईएमआई का भुगतान नियमित रूप से कर सकें।

हरियाणा प्राइवेट स्कूल एसोसिएशन के सरंक्षक जसमेर बरसाना ने भी शिक्षा मंत्री से प्रार्थना करते हुए मांग रखी और कहा कि प्राईवेट स्कूलों को शैक्षणिक सत्र 2019-20 तथा शैक्षणिक सत्र 2020-21 की 134-ए की बकाया राशि अतिशीघ्र जारी कराई जाए, ताकि इस राशि से भी आर्थिक संकट से जूझ रहे विद्यालयों को कुछ राहत मिल सके। इसके साथ-साथ प्रयज्ञा पाशा जैन ने अपनी बात रखी और सरकार का आभार प्रकट करते हुए कहा कि सरकार ने 2007 से पहले के स्कूलों को भूमि के मापदंडों में छुट देकर उनकी समस्याओं को कम किया है। अतः आपसे निवेदन है कि 2003 से पहले के सभी अस्थाई स्कूलों को मान्यता प्रदान की जाए व 2003 के बाद के अस्थाई मान्यता प्राप्त स्कूलों की मान्यता को एक वर्ष की अवधि के लिए बढ़ाया जाए।

इसके बाद रमेश जूड़ ने अपनी मांग रखते हुए कहा कि सरकार के निर्देशानुसार कोई भी विद्यार्थी किसी भी स्कूल में बिना एसएलसी (स्कूल लिविंग स्र्टीफिकेट) के दाखिला ले सकता है, जो कि पूर्णतः असवैंधानिक है। जिससे गैर-सरकारी विद्यालयों को भारी नुक्सान का सामना करना पड़ रहा है। आपसे निवेदन है कि इस नियम को तुरंत वापिस लिया जाए, ताकि प्राईवेट स्कूलों के भविष्य को बचाया जा सके।

शिक्षा मंत्री को ज्ञापन सौंपने के दौरान हरियाणा प्राइवेट स्कूल एसोसिएशन के सदस्य चैयरमेन रणबीर आर्य, जाॅइट सेक्रेटरी नरेश कुमार संगरौली, कोषाध्यक्ष प्रमोद राणा पुण्डरी, प्रैस सेक्रेटरी सतपाल शर्मा काकौत, कानूनी सलाहकार वकील सिंह डयोढ़ खेड़ी, सरंक्षक जोगिन्द्र सिंह भूना, आयूष गर्ग कैथल, ओमप्रकाश सांपली खेड़ी, नरेश शर्मा हरीपुरा, राजेश धीमान फतेहपुर, मेनपाल शर्मा डीग, राहुल शर्मा हरिगढ़ किंगन, नरेन्द्र कुमार, दीपक, संजय शर्मा कोटड़ा, सुरेन्द्र कुमार, सन्नी कैथल आदि सदस्य मौजूद रहे।

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