कितलाना टोल पर 85वें दिन धरने पर किसान, मजदूरों के गूंजे नारे 

चरखी दादरी जयवीर फोगाट

 दादरी से निर्दलीय विधायक और खाप सांगवान 40 के प्रधान सोमबीर सांगवान ने गठबंधन सरकार द्वारा विधानसभा में पेश किए गए संपत्ति क्षति वसूली विधेयक 2021 पर कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा है कि सरकार इस विधेयक की आड़ में किसान आंदोलन को तोड़ना चाहती है लेकिन भूल रही है जनता पर कोई कानून जबरदस्ती नहीं थोपा जा सकता है। तीन कानूनों का हश्र सरकार देख चुकी है। सांगवान आज कितलाना टोल पर चल रहे अनिश्चित कालीन धरने को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि सार्वजनिक संपत्ति के नुकसान के लिए पहले से कानून में प्रावधान है। उन्होंने नए कानून बनाने के समय और सरकार की नीयत पर सवाल उठाते हुए कहा कि लोग इनकी मंशा से भली भांति वाकिफ हैं।               

 उन्होंने कहा कि सरकार हम दो हमारे दो के नारे पर काम कर रही है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृहमंत्री अमित शाह अपने दो खास चेहतों अम्बानी और अडानी के हितों की रक्षा कर रहे हैं। किसान, मजदूर, कर्मचारी और व्यापारी समेत सभी वर्ग सड़कों पर उतरकर अपने हकों की आवाज उठा रहे हैं। लेकिन सरकार जानकर अनजान बनी हुई है। उन्होंने सरकार को चेतावनी देते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अब भी नींद से नहीं जागे तो आने वाले वक्त में जनता का आक्रोश और बढ़ेगा जिसकी जिम्मेदारी शासन और प्रशासन की होगी।

कितलाना टोल पर धरने के 85वें दिन खाप सांगवान 40 के सचिव नरसिंह डीपीई, सर्वजातीय श्योराण खाप 25 के प्रधान बिजेंद्र बेरला, घासीराम सैनी, कमल प्रधान, बीरमति डोहकी, मास्टर राजसिंह, धर्मबीर नम्बरदार ने संयुक्त रूप से अध्यक्षता की। उन्होंने कहा कि तीन काले कानूनों के खिलाफ किसान, मजदूर, व्यापारी और कर्मचारियों की एकजुटता ने इस आंदोलन को जनांदोलन बना दिया है।  उन्होंने कहा कि देर बेशक लगे पर इस संघर्ष में जीत जनता की होगी और सरकार को मुंह की खानी पड़ेगी।                 

धरने का मंच संचालन गंगाराम श्योराण ने किया। इस अवसर पर प्रोफेसर जगमिंद्र, मास्टर रघुबीर श्योराण, सुरजभान सांगवान, राजू मान, सरपंच राजकरण पांडवान, सज्जन कुमार मैनेजर, दिलबाग ढुल, नत्थूराम शर्मा, राजकुमार हड़ौदी, जगदीश हुई, मंगल सुई, संजय, सुभाष यादव, मौजीराम, सत्यवान कालुवाला, सूबेदार सत्यवीर, नरेन्द्र पूर्व सरपंच फतेहगढ़, दिलबाग सिंह, कर्ण सिंह, निम्बो, रतन्नी देवी, राजबाला इत्यादि मौजूद थे। आज भी टोल फ्री रहा।

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