विख्यात लेखिका, कवयित्री डा0 संजीव कुमारी एवं उनकी इंजीनियर बहन शिखा बटार का सयुंक्त प्रयास हैं “आशाओं की शिखा “ नई दिल्ली :- बहुआयामी व्यक्तित्व की धनी, प्रसिद्ध लेखिका, कवयित्री गांव वजीरपुर टीटाणा ,पानीपत निवासी डॉ. संजीव कुमारी एवं जर्मनी में सॉफ्टवेयर इंजीनियर के रूप में कार्यरत उनकी बहन शिखा बटार ( मूलतः गांव ढाणी पाल, हिसार ) द्वारा रचित पुस्तक ‘आशाओं की शिखा’ का विमोचन आज श्री दुष्यंत चौटाला, उपमुख्यमंत्री हरियाणा सरकार के कर कमलों द्वारा नई दिल्ली में किया गया। इस पुस्तक में डॉक्टर संजीव कुमारी के साथ उनकी सह कवयित्री शिखा बटार है। जो अंतरराष्ट्रीय स्तर पर यूरोपियन कंपनी में सॉफ्टवेयर इंजीनियर है। इस पुस्तक में रचनाकार बहनों ने भारतीय समाज, पर्यावरण, प्रेम, जीवन, धर्म, संस्कृति, घर, परिवार, नारी, प्रकृति व राजनीति आदि विषयों पर अपनी सृजन क्षमता का लोहा मनवाया हैं। विभिन्न अनछुए पहलुओं को कविताओं में उतारा है। जो काव्य संसार में अनूठा प्रयोग है। सृजन क्षेत्र में इससे पूर्व डाक्टर संजीव कुमारी की प्रसिद्ध पर्यावरणीय सतसई ‘झड़ते पत्ते‘ पुस्तक “ इंडिया बुक आॅफ रिर्कोडस” में दर्ज है व हरियाणा साहित्य अकादमी द्वारा 2018 में “ श्रेष्ठ कृति ” पुरस्कार से नवाजी जा चुकी है। “ तिसाया जोहड़” व “ हरियाणा के लोकगीत”, हरियाणा साहित्य अकादमी पंचकूला के सौजन्य से प्रकाशित हैं। “हरियाणा लोकगीतों के झरोखे से” हरियाणा ग्रंथ अकादमी पंचकूला से प्रकाशन में है। इसके अतिरिक्त पर्यावरण अध्ययन पर भी उनकी पुस्तकें प्रकाशित हैं। डॉक्टर संजीव कुमारी “एशिया बुक ऑफ रिकॉर्ड होल्डर” भी हैं। पुस्तक विमोचन के अवसर पर चौधरी अनंत राम तंवर राष्ट्रीय उपाध्यक्ष जजपा, सानवी वजीरपुर टीटाणा, बनवारी लाल बटार ढाणी पाल, अनिल गुर्जर बड़सी व अन्य मौजूद रहे। Post navigation नववर्ष की पूर्व संध्या पर ऑन-लाईन अंतराष्ट्रीय कवि सम्मेलन 31 को अब दिल्ली-जयपुर हाईवे शाहजहांपुर बार्डर पर पूरी तरह बंद