अविश्वास प्रस्ताव के साथ कई फर्जी हल्फनामे की दी शिकायत.
डीसी ने जिला विकास अधिकारी नरेंद्र सारवान की डयूटी लगाई

फतह सिंह उजाला
पटौदी।
 पंचायत समिति फर्रुखनगर की चेयरमैन गीता यादव के खिलाफ 29 अक्टूबर को जिला उपायुक्त को सौंपे गए अविश्वास प्रस्ताव पर विपक्ष को मुंह की खानी पड़ सकती है। चेयरमैन गीता यादव ने विपक्ष की चाल पर पलटवार करते हुए 2 नवम्बर को जिला उपायुक्त गुरुग्राम को पंचायत समिति के कुल 22 सदस्यों में से 12 सदस्यों के हल्फनामें पेश करके अपना बहुमत सिद्ध करने का पक्ष रख दिया है।

चेयरमैन गीता यादव ने साथ ही समिति सदस्यों के फर्जी हस्ताक्षर करके उनके हल्फनामे देने वालों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई अमल में लाने की गुहार लगाई है। जिला उपायुक्त ने दोनों पक्षों द्वारा दिए गए हल्फनामों की जांच व आगामी कार्रवाई के लिए जिला विकास अधिकारी नरेंद्र सारवान की डयूटी लगाई है। नरेंद्र सारवान का कहना है कि एक सप्ताह के अंदर दोनों पक्षों के पंचायत समिति सदस्यों को बैठक के लिए आमंत्रित करके उक्त विषय की जांच की जाएगी।

जिला उपायुक्त अमित खत्री को दिए पत्र और हल्फनामें में गीता यादव चेयरमैन, समिति सदस्य नरपाल सिंह आदि ने बताया कि पंचायत समिति के नवनियुक्त वाइस चेयरमैन सोमप्रकाश यादव ग्रुप के सदस्यों द्वारा 29 अक्टूबर 2020 को उनके खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव दिया था। उक्त प्रस्ताव में 14 समिति सदस्यों के हल्फनामे सलग्न है। उनमें से कुछ सदस्यों के फर्जी या छह माह पुराने है। उन्होंने बताया कि उन्होंने अविश्वास प्रस्ताव के विरुद्ध 11 सदस्यों के हल्फनामे देकर अपना पक्ष रख दिया है। उनका किसी भी समिति सदस्य से किसी भी प्रकार का कोई मन मुटाव नहीं है।

पंचायत समिति सदस्य नरपाल ने बताया कि उसके नाम से फर्जी हस्ताक्षर  करके हल्फनामा अविश्वास प्रस्ताव के साथ सलग्न किया गया है। जो उनके खिलाफ एक ओच्छी राजनिति तो है उन्होंने चेयरमैन गीता यादव के खिलाफ कोई हल्फनामा नहीं दिया है। मामले की जांच के लिए उन्होंने भी जिला उपायुक्त, थाना फर्रुखनगर में फर्जी हस्ताक्षर मामले की जांच के बाद मुकदमा दर्ज करने की अपील की है।

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