कोरोना वायरस महामारी में सरकार व प्रशासन के आदेशों की जमकर धज्जियां उड़ने में लगे…….

सोहना! बाबू सिंगला. तू डाल-डाल, मैं पात-पात| जी हाँ उक्त कहावत सोहना कस्बे के दुकानदारों पर पूर्ण रूप से सटीक बैठती है जो इस कोरोना वायरस महामारी में सरकार व प्रशासन के आदेशों की जमकर धज्जियां उड़ने में लगे हुए हैं तथा अपनी दुकानों को बंद करने से बाज नही आ रहे हैं| ऐसा होने से कस्बे में कोरोना पर अंकुश लगने की बजाये विस्तार होने की सम्भावना बनी हुई है| जिससे स्थानीय नागरिक दहशत व बेचैनी में है| नागरिकों ने प्रशासन से ऐसे दुकानदारों के चालान व प्रशासनिक कार्यवाही किये जाने को कहा है ताकि सरकारी आदेशों की पालना हो सके और दुकानदारों को सबक मिल सके|

एक ओर जहाँ सोहना कस्बा कोरोना महामारी से जुंझ रहा है वहीँ दूसरी ओर दुकानदार अपनी हरकतों से बाज नही आ रहे| कस्बे में 100 से भी ज्यादा कोरोना संक्रमित मरीज अधिकारिक रूप से हैं जो अपने घरों में ही आइसोलेट होकर इलाज कर रहे हैं| सरकार व प्रशासन ने बढ़ते मरीजों को देखते हुए सोहना कस्बे के अंदरूनी इलाकों को 28 जुलाई तक के लिए पूर्ण रूप से सील कर दिया है जिसमे लोगों व वाहनों की आवाजाही पर पूर्ण रूप से पाबन्दी है| कस्बे के मुख्य मार्गों को बैरिकेटिंग लगाकर सील कर दिया गया है तथा शहर के अंदर आने के लिए कर्मचारी थर्मल स्कैनिंग कर रहे हैं| प्रशासन ने केवल मात्र आवश्यक वस्तुओं की बिक्री किये जाने की इजाजत दी है| जिसमे दवाई, सब्जी, किरयाना, दूध आदि शामिल है|

किन्तु इसके विपरीत कस्बे के दुकानदार सुबह 6 बजे ही बाज़ारों में पहुँचकर अपनी दुकानों को खोलकर सामान की बिक्री करना आरंभ कर डालते हैं| जिसमे आवश्यक वस्तुएं भी शामिल नही है| ऐसे दुकानदार चोरी-छुपे सामान की बिक्री करते हैं तथा यह सील-सिला देर शाम तक जारी रहता है| ऐसा होने से लालची दुकानदार सरकार व प्रशासन द्वारा दिए गए आदेशों की जमकर धज्जियां उड़ाने में लगे हैं|

वहीँ ड्यूटी मजिस्ट्रेट अजय पंगाल ने बताया कि ऐसे दुकानदारों के खिलाफ जो आवश्यक वस्तुओं के अलावा सामान की बिक्री कर रहे हैं उनके खिलाफ विभागीय कार्यवाही की जाएगी| जिसके लिए कर्मचारियों की नियुक्ति कर दी गई है|

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