जाट ही होगा भाजपा का प्रदेश प्रधान, सुभाष बराला है मुख्यमंत्री के प्रत्याशी, धनखड़ की राष्ट्रीय अध्यक्ष नाड्डा से समीपता है जग जाहिर, कैप्टन अभिमन्यु की दिल्ली दरबार में पुख्ता पकड़, चालू सप्ताह में हो जायेगी नाम की घोषणा 

ईश्वर धामु  

चंडीगढ।  दिल्ली, छत्तीसगढ़ और मणीपुर के बाद अब भाजपा हरियाणा के प्रदेश प्रधान के नाम की घोषणा कभी भी कर सकती है। यह तय मान रहे हैं कि हरियाणा का नया प्रदेश प्रधान जाट समुदाय से ही होगा।

अभी तक प्रथम दृष्टि में तीन ही नाम सामने आ रहे हैं। दौड़ में सबसे आगे वर्तमान में प्रदेश प्रधान सुभाष बराला का नाम चल रहा है। परन्तु उनके साथ पूर्व कृषि मंत्री ओम प्रकाश घनखड़ और पूर्व वित्तमंत्री कैप्टन अभिमन्यु का नाम भी दौड़ में बराबर चल है। इन तीनों में एक तो समानता यह है कि तीनों ही जाट समुदाय से हैं और दूसरे तीनों ही विधानसभा चुनाव हार चुके हैं।

सुभाष बराला का प्लस प्वाईंट यह है कि मुख्यमंत्री मनोहरलाल उनको स्पोर्ट कर रहे हैं। मुख्यमंत्री ने बराला को दोबारा प्रदेश प्रधान बनवाने के लिए अपनी पूरी ताकत लगाई हुई बताते है। हालांकि प्रदेश प्रधान पद के लिए सांसद नायब सिंह सैैनी का नाम भी चला था। पर भाजपा जाट को हटा कर सैनी को आगे नहीं लाना चाहती। कारण कि चुनाव के बाद भाजपा की नजरें जाट वोटरों पर जमी हुई है। वर्तमान में अगर प्रदेश का रातनैतिक परिदृष्य को देखें तो पाते हैं कि सभी पार्टियों के नेता जाट वर्ग को रिझाने में लगे हुए हैं। इसलिए भाजपा की नजरें भी जाटों पर टीकी हुई है।

राजनैतिक चर्चाकारों का कहना है कि अब भाजपा का प्रदेश प्रधान का नाम मुख्यमंत्री बनाम अन्य में फंस कर रह गया है। परन्तु भाजपा के दिल्ली दरबार में ओम प्रकाश धनखड़ और कैप्टन अभिमन्यु की पकड़ भी कमजोर नहीं है। लेकिन कैप्टन और धनखड़ मुख्यमंत्री की पशंद नहीं है। क्येाकि इन दोनो नेताओं का राजनैतिक कद मुख्यमंत्री मनोहरलाल के बराबर माना जाता है। अगर धनखड़ और कैप्टन चुनाव जीत जाते तो निसंदेह दोनों ही मुख्यमंत्री की कुर्सी पर अपना दावा पेश करते और मनोहरलाल इतनी आसानी से मुख्यमंत्री नहीं बन पाते। लेकिन दोनों के चुनाव हार जाने से हालात बदल गए।

भाजपा से जुड़े सूत्र बताते हैं कि अभी पार्टी की राष्ट्रीय कार्यकारिणी का भी गठन होना है। राष्ट्रीय कार्यकारिणी में हरियाणा को भी प्रतिनिधित्व मिलना है। इसके लिए कैप्टन अभिमन्यु का नाम लिया जा रहा है। कारण कि कैप्टन एक बार राष्ट्रीय प्रवक्ता रह चुके हैं। लेकिन कैप्टन अभिमन्यु से जुड़े सूत्रों का कहना है कि वें अब हरियाणा की राजनीति में ही सक्रिए रहना चाह रहे हैं। इसलिए केंद्रीय कार्यकारिणी में स्थान पाने के इच्छुक नहीं हैं।

दूसरी और पूर्व कृषिमंत्री ओम प्रकाश धनखड़ और राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नाड्डा के समीपता जग जाहिर है। उनकी दोस्ती पुरानी है। बताते हैं कि अब भी नाड्डा हरियाणा के बारे में धनखड़ की सलाह ले लेते हैं। ऐसे में यह सम्भावनाएं जताई जा रही है कि अगर जेपी नाड्डा ने अपनी चलार्ई तो हरियाणा के नए प्रदेश प्रधान ओम प्रकाश धनखड़ होंगे।

पर अभी तक पार्टी की ओर से कोई भी संकेत नहीं दिए जा रहे हैं। इस तरह भाजपा प्रदेश प्रधान का पद कई कुंडलियो में फंसा हुआ है। 

error: Content is protected !!