भारत सारथी/ कौशिक

नारनौल। जिले के गांव दोस्तपुर में एक शहीद की पत्नी के साथ मानवता को शर्मसार करने की घटना सामने आई है। गत 12 अप्रैल की शाम एक शहीद की विधवा के घर में घुसकर चार-पांच हमलावरों ने बेरहमी से मारपीट की। महिला को डंडों से पीटा गया। हमलावर दीवार फांदकर अंदर आए थे। महिला का बेटा भी फौज में है। उसकी शिकायत पर नांगल चौधरी थाना में केस दर्ज किया गया है। हमला घर में लगे सीसीटीवी कैमरे में कैद हो गया है। आरोप पड़ोस में ही रहने वाले युवक और उसके साथियों पर लगा है। पीड़ित महिला प्रेम देवी के पति लांस नायक खुशीराम 1997 में असम में ऑपरेशन रेनो के दौरान शहीद हो गए थे।

दीवार फांदकर घर में घुसे और महिला को पीटा

वीडियो फुटेज के अनुसार, हमलावर शनिवार शाम करीब 4 बजकर 24 मिनट पर घर में दाखिल हुए। वे दीवार फांदकर घर में घुसे और महज 30 सेकंड में पूरी घटना को अंजाम देकर फरार हो गए। हमलावरों ने महिला को कमरे से बाहर खींचा और आंगन में डंडों से पीटा। महिला के पैरों पर कई आरोपियों ने डंडे बरसाए। इस दौरान महिला चीखती-चिल्लाती रही, लेकिन हमलावरों पर इसका कोई असर नहीं पड़ा। हमले में महिला गंभीर रूप से घायल हो गई, विशेषकर उनके पैरों में गहरी चोटें आई हैं। बाद में पड़ोसियों ने आकर महिला को उठाया।

पड़ोस के युवक पर मारपीट का आरोप, 7 अप्रैल को भी दी थी शिकायत

घटना के बाद पड़ोसियों ने घायल अवस्था में महिला को घर के भीतर ले जाकर प्राथमिक सहायता दी और तुरंत उनके बेटे को सूचना दी। पीड़िता का बेटा कृष्ण कुमार भारतीय सेना में राष्ट्रीय राइफल श्रीनगर में तैनात हैं और वर्तमान में गुड़गांव में रहते हैं। उन्होंने बताया कि हमलावर उनका पड़ोसी रोहित है, जो राजस्थान के नीमराणा क्षेत्र से संबंध रखता है, और पूर्व में भी उन्हें धमकियां दे चुका है। 7 अप्रैल को भी पुलिस थाने में एक शिकायत दी गई थी, लेकिन कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई। कृष्ण कुमार ने पुलिस को सौंपी गई शिकायत में बताया कि उनके परिवार को लगातार खतरा बना हुआ है। उन्होंने बताया कि घर में पहले से ही सीसीटीवी कैमरे लगे हुए थे, जिससे हमलावरों की पहचान करना संभव हो सका है। उन्होंने पुलिस से जल्द से जल्द गिरफ्तारी की मांग की है, साथ ही परिवार की सुरक्षा सुनिश्चित करने की भी अपील की है।

स्थानीय लोगों और सैनिक संगठनों में रोष

इस मामले ने स्थानीय लोगों और सैनिक संगठनों में रोष पैदा कर दिया है। लोगों का कहना है कि अगर एक शहीद की विधवा सुरक्षित नहीं है, तो आम नागरिकों की सुरक्षा की क्या उम्मीद की जा सकती है। फिलहाल पुलिस ने मामला दर्ज कर लिया है और आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए प्रयास शुरू कर दिए हैं।

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