नौकरियों को लेकर युवाओं में हुड्डा परिवार के प्रति रोष, भाजपा के प्रति रूझान

जजपा,इनेलो व आप पार्टी भी नही चाह रहे कि लोकसभा के बाद विधान सभा में बने हुड्डा का दबदबा

ऋषिप्रकाश कौशिक/ भारत सारथी

रोहतक लोकसभा सीट पर केवल कांग्रेस और भाजपा की ही नही अपितु अन्य दलों की नजरे है। यहां पर इनेलो,जजपा अपने अपने नफे-नुक्सान के लिए मैदान में हैं। रोहतक लोकसभा सीट पर अन्य विपक्षी दल के वोटर भी अपना निशाना साध रहे है। इनेलो व जजपा का वोटर तो कांग्रेस के विरोध में है ही साथ में अंदर खाते आप पार्टी का वोटर भी भले ही गठबंधन कांग्रेस के साथ है लेकिन वो किसी भी सुरत में कांग्रेस के पक्ष में वोट देता नजर नही आ रहा है। आप को बता दे कि आप पार्टी के पदाधिकारी भले ही रोहतक लोकसभा में कहीं प्रचार में शामिल हो लेकिन वोअपने मतदाता तक कांग्रेस की पकड़ नही बनवाना चाहता क्योंकि उनको पता है कि यदि एक बार कांग्रेस के पक्ष में मतदाता जुड़ गया तो भविष्य में उनका प्रदेश में कोई वजूद नही है। वहीं इनेलो व जजपा के हार्ड कोर वोटर का भी यही हाल है वो भी खुल कर कांग्रेस के विरोध में खड़ा है। जिसका सीधा फायदा भाजपा को यू होता दिख रहा है कि एक तो बुथ पर जजपा और इनेलो के मजबूती से खड़ी होने से बुथों पर किसी प्रकार की गड़बड़ नही हो पायेगी दूसरा उनको भी पता है यदि यहां से कांग्रेस का प्रत्याशी विजयी होता है तो इसका असर विधान सभा में होना तय है।

स्पष्ट कहा जाये तो इनेलो जजपा व आप पार्टी के समर्थक भी नही चाहते कि हुड्डा परिवार यहां से दोबारा वापसी करे। अब बात यदि हुड्डा के राज की करे तो भूपेंद्र सिहं हुड्डा के राज में अनेक भर्तियों में फर्जीवाड़ा हुआ जिसके चलते भर्तिया रद्द भी हुई और उन पर पर्ची खर्ची के सरेआम आरोप लगे। और अब भी चुनाव प्रचार में उनके खास लोग गांव गांव जाकर युवाओं की लिस्ट तैयार कर रहे है जिससे अब एक बार पढ़े लिखे युवाओं को लग रहा है कि यदि हुड्डा की सरकार आती है तो वो पर्ची खर्ची का दौर फिर आ जायेगा। ऐसे में कभी युवाओं की पहली पंसद होने वाले दीपेंद्र हुड्डा अपने रैकिंग खो चुके है।

रोहतक लोकसभा चुनाव में भले ही दीपेंद्र हुड्डा की पकड़ मजबूत हो लेकिन कांग्रेस का घोषणा पत्र आमजन में अपील नही कर रहा है जिससे दीपेंद्र का चुनाव पिछड़ गया है। अब बात भाजपा प्रत्याशी अरविंद शर्मा की करे तो वो एक मंजे हुए खिलाड़ी की तरह अपने चुनाव प्रचार में केंद्र के बड़े नेताओं को बुलाकर यह दिखाने में कामयाब रहे कि उनकी भाजपा हाई कमान में अच्छी पकड़ है और उन्होंनें सबसे बड़ा मास्टर स्ट्रोक खेलते हुए केंद्र के बड़े नेताओं के सामने ही रोहतक में मैट्रो आने की गांरटी दे दी और साथ में यह भी कह दिया कि यदि मैट्रों नही ला पाया तो राजनीति छोड़ दूंगा। ऐसे छह हलको की बड़ी मांग की गारंटी देने से लोग को एक बार फिर अरविंद शर्मा पर भरोसा जताने को विवश हो रहे है। अरविंद शर्मा ने भी लोगों से अपील की है कि दस साल में भाजपा ने प्रदेश में सबको समान रूप से रोजगार देने का काम किया है इस मुहिम को जारी रखना। अरविंद शर्मा की मैट्रो की गारंटी और बिना पर्ची खर्ची की नौकरियों की बात एक बार फिर अरविंद के लिए पौ बारह करने वाली साबित होने जा रही है।

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