रेवाड़ी-09 अगस्त – क्लेरिकल एसोसिएशन वेलफेयर सोसायटी संबंधित भारतीय मजदूर संद्य के बैनर तले चल रही लिपिकीय वर्ग की अनिश्चितकालीन हड़ताल बुधवार को 36वें दिन भी जारी रही। प्रदेशभर में विभिन्न विभागें के लिपिकीय वर्ग के कर्मचारी गत 5 जुलाई से अपने मूल वेतनमान 35400 रूपये लागू करने की मांग को लेकर धरनारत है। बुधवार को हड़ताल के 36वें दिन लिपिकीय एसोसिएशन की नुंह जिला कार्यकारिणी ने जिला प्रधान बलजीत सिंह ने अपने दर्जनो साथियों के साथ धरने को पूर्ण समर्थन दिया। उन्होंने कहा कि नुंह जिले में धारा 144 लगी होने के कारण कर्मचारियों ने रेवाड़ी जिला में चल रही लिपिकों की हड़ताल को समर्थन देने का निर्णय लिया है। क्रमिक भूख हड़ताल के 19वें दिन विभिन्न विभागों से 5 महिला कर्मचारियों मोनिका, सोनु शर्मा, मंजु कुमारी, प्रेमलता व ज्योति पत्नी मधुसूदन भूख हड़ताल पर बैठी और सरकार के खिलाफ जोरदार नारे लगाकर कड़ा रोष जताया। महिला साथियों ने फूल मालाएं पहनाकर उनका स्वागत किया। लिपिक एसोसिएशन के जिला प्रधान विकास यादव ने कहा कि जब तक सरकार हमारा हक नहीं दे देती, तब तक हम कार्यालयों में नहीं लौटेंगे। उन्होंने बताया कि सरकारी कार्यालयों में सबसे कमेरा वर्ग कहा जाने वाला लिपिकीय वर्ग पिछले लंबे समय से धरने पर बैठकर अपनी 35400 रूपये मूल वेतनमान लागू करने की मांग कर रहा है। बार-बार अवगत करवाने के बाद भी प्रदेश सरकार अभी तक लिपिकीय कर्मचारियों की मांगों को लेकर गंभीरता पूर्वक सुनवाई नहीं कर रही है। उन्होंने कहा कि प्रदेश की प्रगति व कर्मचारी हितों को देखते हुए सरकार को बिना किसी देरी के कार्य समीक्षा के आधार पर लिपिकों के मूल वेतनमान 35400 रूपये की मांग को पूरा करना चाहिए। उन्होंने विश्वास दिलाया कि लिपिकीय वर्ग के कर्मचारियों की मांगों को पूरा करवाने के लिए भारतीय मजदूर संघ पूरी तरह से प्रतिबद्ध है। उन्होंने आश्वस्त किया कि सभी कर्मचारी धैर्य व एकजुटता के साथ धरने पर जुटे रहे तथा सरकार जल्द ही उनकी जायज मांग को सरकार पूरा कर सकती है। उन्होंने बताया कि राज्य कार्यकारिणी के दिशा-निर्देशों अनुसार बुधवार को आयोजित होने वाले पैदल मार्च को रद्द कर दिया गया। लिपिकीय वर्ग कर्मचारियों के मान-सम्मान में कोई कमी नहीं छोड़ी जाएगीधरने में भारत मजूदर संघ के जिला प्रधान सावंत सिंह ने कहा कि जिसने आंदोलन में उतरकर अपने हकों की लड़ाई लड़ी है वो कभी खाली नहीं लौटा। लंबे समय से धरने पर बैठे कर्मचारियों का संघर्ष व उनकी एकजुटता रंग लेकर आएगीा। उन्होंने आश्वस्त किया कि लिपिकीय वर्ग कर्मचारियों के मान-सम्मान में कोई कमी नहीं छोड़ी जाएगी। भारतीय मजदूर संद्य लिपिकीय कर्मचारियों की 35400 रूपये की मांग को पूरा करवाने के लिए पूरी तरह से अटल है और कर्मचारियों को उनके जायज हक के साथ हड़ताल से पूरे सम्मानजनक तरीके से उठाया जाएगा। उन्होंने उपमुख्यमंत्री द्वारा हाल ही में लिपिकों की वेतनमान की मांग को लेकर दिये गए ब्यान पर बीएमएस की ओर से कड़ा विरोध जताया और कहा कि उपमुख्यमंत्री को लिपिकों की जायज मांग की खिलाफत करने की बजाय पुरजोर वकालत करनी चाहिए। धरने में बुधवार को नुंह की लिपिक रूकसिना, समय सिंह, अनुप सिंह, रोहतक की लिपिक प्रवीन कुमारी, गुरूग्राम के कर्ण सिंह, बिजेंद्र रंगा, अंकित शर्मा, डीसी कार्यालय के सहायक आजाद सिंह, बिजेंद्र यादव, योगेंद्र ढिल्लों, कुलदीप कुमार, लाजपत कौशिक, जगमाल सिंह, रोड़वेज के बीर सिंह, सिंचाई विभाग के रामनिवास बेनीवाल, एमडीयू, रोहतक के प्रोफेसर डॉ- महेश कुमार, ओमप्रकाश सैन ने भी अपने विचार रखे और सरकार से अविलंब धरनारत लिपिकों के सम्मानजनक मूल वेतनमान 35400 रूपये की मांग को पूरा करने की अपील की। Post navigation लिपिकों की हड़ताल से पूरे प्रदेश का शासन व प्रशासन बना पंगु ओवर ब्रिज को ट्रायल के लिए खोलने के 12 घंटे के अंदर ही इसका 10 फुट का हिस्सा टूटकर गिर पड़ा : विद्रोही