भारत सारथी/ कौशिक

नारनौल। शहर स्थित नसीबपुर जेल में सामने आए एक लाख रुपए के रिश्वत कांड में जेल अधीक्षक अनिल जांगड़ा और उप अधीक्षक कुलदीप हुड्‌डा के जांच में शामिल नही होने व ड्यूटी से भी गैरहाजिर होने पर स्टेट विजिलेंस ने उनकी गिरफ्तारी के वारंट जारी कर दिए हैं। साथ ही दोनो के घर व जेल पर नोटिस भी चस्पा कर दिए हैं। इसके साथ-साथ जेल अधीक्षक के घर पर हुई रेड के दौरान उनकी गिरफ्तारी में चूक होने पर इस केस के जांच अधिकारी व नूहं विजिलेंस के इंस्पेक्टर अजीत सिंह को सस्पेंड कर दिया गया है।

गौरतलब है कि बीती 9 दिसंबर को स्टेट विजिलेंस की टीम ने इंस्पेक्टर अजित सिंह के नेतृत्व में नारनौल जेल के जेल वार्डर राजन को एक कैदी के भाई से चक्की से बाहर निकालने के नाम पर 1 लाख रुपए की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों जेल परिसर से ही गिरफ्तार था। राजन से पूछताछ के बाद जेल के एक अन्य वार्डर गजे सिंह को गिरफ्तार किया गया। जेल में कैंटीन चलाने वाले वार्डर विवेक के सरकारी गवाह बनने के बाद मामला हाई प्रोफाइल हो गया। जिसमें जेल अधीक्षक अनिल जांगड़ा व उप अधीक्षक कुलदीप हुड्‌डा का नाम भी रिश्वत लेने में सामने आया। उप अधीक्षक कुलदीप हुड्डा को  एफआईआर में भी नामजद किया गया है। जैसे-जैसे आगे बढ़ी रिश्वत कांड की असली परतें उठ गई। इस पर उप अधीक्षक कुलदीप हुड्‌डा ने गिरफ्तारी से बचने के लिए नारनौल कोर्ट में अग्रिम जमानत लगाई, जो खारिज हो गई। वहीं 15 दिसंबर अल सुबह विजिलेंस टीम ने इंस्पेक्टर अजीत सिंह के नेतृत्व में रेवाड़ी स्थित जेल अधीक्षक अनिल जांगड़ा के घर रेड की। लेकिन इस रेड की जानकारी लीक होने की वजह से जेल अधीक्षक अनिल जांगड़ा रेड से कुछ देर पहले ही मुंह अंधेरे घर से फरार हो गए।

*दोनों अधिकारियों के गिरफ्तारी वारंट जारी:
फिलहाल जेल अधीक्षक अनिल जांगड़ा और उप अधीक्षक कुलदीप हुड्‌डा भूमिगत हो गए है। विजिलेंस ने दोनों की गिरफ्तारी को लेकर पिछले एक सप्ताह में कई ठिकानों पर छापेमारी की, लेकिन वो हाथ नही आये। विजिलेंस ने अब इन दोनों के घरों पर उक्त रिश्वत कांड मामले की जांच में शामिल होने के लिए नोटिस चस्पा किए है। इसके साथ ही नसीबपुर जेल एवं रेवाड़ी जेल में भी इसी तरह के नोटिस लगाए गए है और वहां के अधिकारियों एवं कर्मचारियों को भी हाजिर होने पर जांच में शामिल करवाने के लिए आवश्यक दिशा-निर्देश दिए हैं। 

रेड फेल होने की गाज गिरी इंस्पेक्टर पर:
नारनौल जेल रिश्वतकांड में 2 वार्डरों को गिरफ्तार करने बारे एक को सरकारी गवाह बनाकर अधिकारियों का पर्दाफाश करने वाले नूहं विजिलेंस के इंस्पेक्टर अजीत सिंह को 15 दिसंबर को रेवाड़ी जेल स्थित जेल अधीक्षक अनिल जांगड़ा के घर पर की गई रेड की जानकारी लीक होने व जेल अधीक्षक की गिरफ्तारी नही होने पर इंस्पेक्टर अजित सिंह को सस्पेंड कर दिया गया है। अब इस केस की जांच का जिम्मा विजिलेंस इंस्पेक्टर नवल किशोर शर्मा को दिया गया है।

इस संबंध में विजिलेंस इंस्पेक्टर नवल किशोर शर्मा ने कहा कि जेल सुपरिटेंडेंट और डिप्टी जेलर को जांच में शामिल कराने के लिए उनके घरों एवं जेल में नोटिस लगा दिए गए हैं। साथ ही गिरफ्तारी वारंट भी ले लिए गए हैं। मामले की जांच जारी है।

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