कोरोना व महंगाई का असर पुतलों पर भी

गुडग़ांव, 12 अक्तूबर (अशोक): अधर्म पर धर्म की विजय का संदेश देने वाले त्यौहार दशहरा पर लंकाधिपति रावण, मेघनाद और कुंभकर्ण के पुतलों का दहन आगामी 15 अक्टूबर को किया जाएगा।

रावण, मेघनाथ और कुंभकरण के पुतले कारीगरों द्वारा बना दिए गए हैं। अब वे उन्हें अंतिम रुप देने में जुटे हैं। कारीगरों का कहना है कि इस बार कोरोना महामारी कम होने से काम में तेजी अवश्य आई है लेकिन पुतलों के निर्माण में लगने वाली सामग्री की कीमतों में काफी अधिक वृद्धि हो गई है। अधिकांश लोग रावण के पुतले की ही मांग कर रहे हैं।

महंगाई के कारण रावण के पुतले का कद भी काफी कम कर दिया गया है। हालांकि इन पुतलों को बनाने में इस वर्ष ज्यादा खर्च आ रहा है, क्योंकि पुतलों के निर्माण में इस्तेमाल की जाने वाली सामग्रियों की कीमतें पिछले वर्ष की तुलना में काफी बढ़ गई हैं। इसकी वजह से पुतलों के दाम भी बढ़ गए हैं और उनकी ऊंचाई भी कम कर दी गई है, ताकि ये पुतले खरीददारों की पहुंच के भीतर रहें। अधिकांशत: कारीगर उत्तरप्रदेश से ही पुतले बनाने के लिए गुडग़ांव आते हैं।

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