-महिला आयोग लव जेहाद की परिभाषा से अनजान । चंडीगढ़ – एक ओर जहां पूरे देश मे भाजपा शासित राज्य सरकारें मुस्लिम लड़के के हिन्दू लड़की से विवाह को लव जेहाद बता कर इसके विरुद्ध कानून बना रहे हैं ।आरएसएस से जुड़े संगठन लव जेहाद के खतरे का दिनरात शोर मचा रहे हैं ।वहीं राष्ट्रीय महिला आयोग के लिए बहुचर्चित लव जेहाद कोई मुद्दा ही नहीं है, आयोग में इस बारे कोई सूचना या रिकॉर्ड तक भी नहीं है। पानीपत के आरटीआई एक्टिविस्ट एवं मज़दूर नेता पीपी कपूर ने गत 11नवम्बर को राष्ट्रीय महिला आयोग में छः सूत्री आरटीआई लगा कर लव जेहाद बारे सूचनाएं मांगी थी ।आयोग की लोक सूचना अधिकारी एवं अंडर सेक्रेटरी सुश्री बर्नाली शोम ने अपने 11दिसम्बर के पत्र द्वारा बताया कि आयोग ने लव जेहाद के मुद्दे पर अपनी मीटिंगों में कभी चर्चा तक नहीं की । लव जेहाद की समस्या बारे ना ही कोई अध्ययन रिपोर्ट बनाई है और न ही कभी सरकार को कोई सिफारिश भेजी है । लव जेहाद की क्या परिभाषा है, इसकी सूचना भी आयोग में नहीं है ।आयोग को प्राप्त सभी शिकायतों को विभिन्न शीर्षों से वर्गीकृत किया जाता है ।लेकिन लव जिहाद बारे शिकायतों का अलग से कोई वर्गीकरण नहीं किया गया ।आयोग के पास पूरे देश मे लव जेहाद बारे दर्ज एफआईआर व शिकायतों का ब्यौरा होने से भी आयोग ने इनकार किया है। आरटीआई एक्टिविस्ट पीपी कपूर ने कहा कि इस चौंकाने वाले खुलासे से स्पष्ट है कि कथित लव जेहाद कोई समस्या या मुद्दा नहीं बल्कि कुर्सी के लिए ध्रुवीकरण का आरएसएस,भाजपा का राजनीतिक एजेंडा है।शिक्षा,रोज़गार जैसे असली मुद्दों व मज़दूर किसानों की बदहाली से ध्यान बंटाने के लिए षडयंत्र पूर्वक फ़र्ज़ी मुद्दे बीजेपी द्वारा खड़े किए जा रहे हैं । गौरतलब है कि भाजपा शासित राज्यों यूपी, हिमाचल,मध्यप्रदेश में कथित लव जेहाद के विरुद्ध कानून बन चुका है ।जबकि हरियाणा सरकार भी जल्द ही इस बारे सख्त कानून बनाने जा रही है । Post navigation भाजपा ने की निगम चुनावों के लिए प्रत्याशियों की घोषणा फोटो खिंचवाने की राजनीति करने की बजाय खट्टर सरकार से समर्थन वापिस लें दुष्यंत चौटाला : रणदीप सिंह सुरजेवाला