Haryana Chief Minister Mr. Manohar Lal addressing Digital Press Conference regarding preparedness to tackle Covid-19 in the State at Chandigarh on March 23, 2020.

कोरोना के चलते कल उपायुक्त कार्यालय से विज्ञप्ति आई, जिसमें लिखा था कि गुरुग्राम में पहले तीन सौ-चार सौ लोगों के टैस्ट होते थे, अब दस गुणा बढ़ गए हैं। तीन हजार टैस्ट प्रतिदिन हो रहे हैं, जबकि कल ही चंडीगढ़ से आई मुख्यमंत्री की विज्ञप्ति में गुरुग्राम में 2400 टैस्ट प्रतिदिन होने की बात लिखी गई है। अब विचारनीय प्रश्न यह है कि किस आंकड़े को सच माना जाए।

भारत सारथी/ऋषि प्रकाश कौशिक

कोरोना महामारी का जोर सारी दुनिया में तो है ही लेकिन हम बात करें हरियाणा की तो हरियाणा भी अछूता नहीं है और विशेष रूप से हरियाणा के तीन जिले गुरुग्राम, फरीदाबाद और सोनीपत अत्याधिक चर्चा में रहते हैं। गुरुग्राम तो जिस प्रकार विकास में पहले नंबर पर है हरियाणा में, उसी प्रकार शायद कोरोना में भी है।

कोरोना के चलते कल उपायुक्त कार्यालय से विज्ञप्ति आई, जिसमें लिखा था कि गुरुग्राम में पहले तीन सौ-चार सौ लोगों के टैस्ट होते थे, अब दस गुणा बढ़ गए हैं। तीन हजार टैस्ट प्रतिदिन हो रहे हैं, जबकि कल ही चंडीगढ़ से आई मुख्यमंत्री की विज्ञप्ति में गुरुग्राम में 2400 टैस्ट प्रतिदिन होने की बात लिखी गई है। अब विचारनीय प्रश्न यह है कि किस आंकड़े को सच माना जाए।

गुरुग्राम की जनता के दिमाग में यह बात आ चुकी है कि कोरोना से बचाव हमें स्वयं करना है। शासन-प्रशासन से आशाएं बहुत कम दिखाई दे रही हैं। इसके पीछे कारण भी हैं, जो जनता ने हमें बताए। उनका कहना है कि गुरुग्राम में प्रतिदिन मरीजों की संख्या बढ़ती जाती है, जैसा हमें समाचार पत्रों से ज्ञात होता है।

यह भी बताया जाता है कि इतने कंटेंटमेंट जोन बना रखे हैं। वर्तमान में गुरुग्राम 89 कंटेंटमेंट जोन हैं। स्वास्थ्य विभाग के दिशा-निर्देशों के अनुसार कंटेंटमेंट जोन में सेनेटाइज होना चाहिए, आसपास के क्षेत्र के लोगों की जांच की जानी चाहिए, आदि-आदि अनेक निर्देश हैं किंतु उनकी पालना प्रशासन की ओर से होती नजर नहीं आ रही।

जिला बार एसोसिएशन के पूर्व अध्यक्ष और भाजपा चौ. संतोख सिंह से इस बारे में पूछा तो उनका कहना था कि मैं आपकी बात से सहमत हूं। माना कि सेनेटाइजेशन के काम में बहुत कमियां हैं और यह भी माना कि स्वास्थ्य विभाग के दिशा-निर्देशों का पालन प्रशासन नहीं कर पा रहा है परंतु आप यह भी देखिए कि यह इतनी बड़ी आपदा है, प्रशासन के पास साधन सीमित हैं और वह अपने सीमित साधनों में अत्याधिक काम करने का प्रयास कर रहा है। फिर भी जनता को जागरूक करने में तो प्रशासन सफल रहा ही है और जनता जागरूक हो गई है तथा अपना ध्यान स्वयं रख रही है। अत: हम कोरोना पर विजय पा ही लेंगे।

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