शहीदों के शौर्य पर ग्रहण लगाती कांग्रेस : जवाहर यादव

भारतीय सेना के 20 सैनिकों ने बीते दिनों भारत-चीन सीमा पर मातृ भूमि की रक्षा करते हुए सर्वोच्च बलिदान दिया, जिस पर शहीदों के परिवारों और देश को नाज है, लेकिन शहीदों के शौर्य पर कांग्रेस नकारात्मक माहौल से ग्रहण लगाने का काम कर रही है।

मीडिया रिपोर्टस के अनुसार हमारी बिहार रेजिमेंट के 100 रणबांकुरो ने अपने अदम्य साहस का परिचय देते हुए चीन के 350 सैनिकों को मार भगाया, हमारे 20 सैनिकों ने सर्वोच्च बलिदान दिया, वहीं चीन के भी 40 सैनिकों को भारतीय सेना ने मार गिराया, दुश्मन को ज्यादा क्षति पंहुचाने और 20 जवानों द्वारा बलिदान के शौर्य गान और सेना की पीठ थपथपा कर मनोबल बढाने की बजाय कांग्रेस नकारात्मक माहौल से वीरों के बलिदान पर ग्रहण लगाने का काम कर रही है।

परेशान चीन अपने 40 सैनिकों की मौत को ना निगल पा रहा है ना उगल, भारत माँ के सपूत कर्नल संतोष के पिता, बेटे की शहादत पर गर्व करते हुए कहते है कि जब रिश्तेदार मुझसे पूछते थे कि एक ही बेटा है वो भी सेना में भेज दिया, तो उनको कर्नल संतोष खुद जवाब देते और कहते “जीवन तो सभी जीते है” लेकिन “मौत मीनिंगफुल” होनी चाहिए।

वहीं संतोष की पत्नी ने पति के बलिदान पर गर्व करते हुए कहा कि मेरे दो बेटे है, मैं दोनो को सेना में भेजूंगी। शहीद नायब सूबेदार सतनाम सिंह की माँ जसबीर कौर और बेटी संदीप कौर ने पार्थिव शरीर चंडीगढ पंहुचने पर कांधा देते हुए अमर शहीद के लिए नारे लगाती है,वहीं एक शहीद की पत्नी अपने सुहाग के चिन्ह ख़ुद अपने शरीर से उतार अपने पति के पार्थिव शरीर को समर्पित करती है ।

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