पूर्व मंडल आयुक्त अशोक गर्ग को भावपूर्ण विदाई, 41 महिला सफाई कर्मियों का सम्मान

हिसार – वानप्रस्थ सीनियर सिटीजन क्लब हिसार में रविवार को एक गरिमामय समारोह का आयोजन किया गया। समारोह में हाल ही में सेवानिवृत्त हुए हिसार मंडल के पूर्व आयुक्त श्री अशोक गर्ग को भावपूर्ण विदाई दी गई और नगर निगम हिसार की 41 महिला सफाई कर्मियों को सम्मानित किया गया। यह समारोह मानवीय संवेदना, सामाजिक सम्मान और सेवा-भाव का एक प्रेरक संगम बनकर उभरा।
कार्यक्रम का शुभारंभ क्लब के महासचिव डॉ. जे. के. डांग के स्वागत भाषण से हुआ। उन्होंने कहा— “अशोक गर्ग एक संवेदनशील प्रशासक और मानवीय अधिकारी रहे हैं। उन्होंने समाज के उस वर्ग की पीड़ा को पहचाना, जिसकी आवाज़ शायद ही कभी कोई सुनता है।”


डॉ. डांग ने गर्ग द्वारा लिखित चर्चित पुस्तक ‘ज़हर जो हमने पीया’ का भी उल्लेख किया, जिसमें इन्हीं 41 महिला सफाई कर्मियों के संघर्ष और जीवंत साहस की सच्ची कहानियाँ दर्ज हैं। इस पुस्तक को इन महिलाओं के जीवन का अत्यंत मार्मिक दस्तावेज़ बताया गया।
41 असली नायिकाओं को मिला सम्मान
मंच पर मौजूद सफाई कर्मियों को शॉल और मालाएँ पहनाकर सम्मानित किया गया।
ये वही महिलाएँ हैं जो रोज़ सुबह शहर को स्वच्छ और सुरक्षित बनाए रखने के लिए अपना जीवन समर्पित करती हैं—
अनसुनी, मगर असल ज़िंदगी की नायिकाएँ।
महिलाओं द्वारा प्रस्तुत सांस्कृतिक कार्यक्रमों ने पूरे वातावरण को उत्साह और भावनाओं से भर दिया।
मंच संचालन कर रही डॉ. सुनीता श्योकंद ने कहा— “गर्ग जी ने उपेक्षित वर्ग के बीच जाकर उनकी समस्याएँ समझीं और उन्हें सम्मान तथा पहचान दिलाने का कार्य किया।”
“सफाई कर्मी समाज का सबसे जरूरी हिस्सा” — अशोक गर्ग

अपने अध्यक्षीय संबोधन में पूर्व मंडल आयुक्त श्री अशोक गर्ग ने कहा—
“शहर को स्वच्छ रखने में सफाई कर्मचारियों का योगदान अमूल्य है, लेकिन उनकी समस्याओं को सुनने वाला कोई नहीं था। सम्मान इनके भी उतने ही हक़ का है जितना हमारे।”
गर्ग ने बताया कि आयुक्त रहते हुए उन्होंने सफाई कर्मियों के छोटे समूह बनाकर उनसे निरंतर संवाद बनाया, और उन्हें मुख्यधारा के सांस्कृतिक आयोजनों — अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस, स्वतंत्रता दिवस और गणतंत्र दिवस — से जोड़ा।
गर्ग ने गुरु जांभेश्वर विश्वविद्यालय ऑडिटोरियम में हुए कार्यक्रम की याद साझा करते हुए कहा— “उनके चेहरों पर गर्व और आत्मविश्वास देखकर लगता था कि मेहनत रंग ला रही है।”

उन्होंने यह भी याद किया कि हिसार से उनके स्थानांतरण के समय कर्मचारी भावुक हो उठे थे और कई की आंखें नम थीं।
महिलाओं की आवाज़ में कृतज्ञता
सफाई कर्मियों की ओर से बोलते हुए श्रीमती मनजीत ने भावुक होकर कहा— “गर्ग साहब के समय लगता था कि हमारा भी अस्तित्व है। हमारी बात सुनी जाती थी, समस्याओं का समाधान होता था। पहली बार हमें लगा कि हम भी सम्मान के हकदार हैं।”
समाजसेवियों ने की पहल की सराहना

श्रीमती राज गर्ग, सुनीता रहेजा और सुषमा गांधी ने भी अपने विचार व्यक्त करते हुए सफाई कर्मियों के योगदान और गर्ग की कार्यशैली की सराहना की।
पूर्व आयुक्त डॉ. युधवीर ख्यालिया ने कहा— “प्रशासनिक इतिहास में ऐसे अधिकारी बहुत कम हुए हैं जिन्होंने इस वर्ग को दिल से समझकर, उनके लिए वास्तविक काम किया हो।”
वानप्रस्थ क्लब का गौरवपूर्ण क्षण
क्लब की कार्यकारिणी और डॉ. ख्यालिया ने शॉल व बुके भेंट कर अशोक गर्ग का सम्मान किया।
क्लब की महिला सदस्याओं ने 41 महिला सफाई कर्मियों को मालाएं पहनाकर गौरवान्वित किया।
समापन संबोधन में क्लब अध्यक्ष डॉ. एस. के. अग्रवाल ने कहा— “गर्ग जी जैसे अधिकारी समाज के आदर्श हैं। इन महिलाओं को सम्मान दिलाना अपने आप में एक महान कार्य है और वानप्रस्थ क्लब को गर्व है कि आज हम इस सार्थक पहल का हिस्सा बने।”
तीन घंटे तक चले इस प्रेरणादायक समारोह में 150 से अधिक सदस्य उपस्थित रहे। अंत में सभी अतिथियों को स्वादिष्ट जलपान परोसा गया।






