टिकट की टेंशन …… … आखिर टिकट की कृपा कहां पर अटक गई ?

कांग्रेस टिकट को लेकर नामांकन से 48 घंटे पहले बना असमंजस

नामांकन में दिन दो लेकिन गिनती के कुछ ही घंटे बाकी

पल – पल बीतने के साथ में बढ़ती चली जा रही है हलचल

कृपा होने का इंतजार 42 दावेदार और उनके समर्थकों में बना

फतह सिंह उजाला 

पटौदी । वर्ष 2024 के विधानसभा चुनाव एक भी अपने आप में अपने ही तरीके से याद किए जाते रहेंगे। इसका मुख्य कारण है नामांकन के अंतिम दिन से 2 दिन पहले या कहीं कुछ घंटे पहले ही टिकट सहित उम्मीदवारों के नाम का खुलासा किया जा रहा है । समाचार लिखे जाने तक मंगलवार को भाजपा के द्वारा 21 उम्मीदवारों के नाम सार्वजनिक किए गए , लेकिन दो उम्मीदवारों के नाम अभी भी रहस्य बने हैं। इसके मुख्य मुकाबला वाली पॉलीटिकल पार्टी कांग्रेस के बाकी बचे टिकट के दावेदारों में पल पल बीतने के साथ ही हलचल चरम पर पहुंचती जा रही है। इसी प्रकार से आरक्षित पटौदी विधानसभा सीट पर जननायक जनता पार्टी के द्वारा अपने उम्मीदवार की घोषणा कर दी गई । बाकी बची अन्य किसी भी पॉलीटिकल पार्टी के द्वारा अपने-अपने पत्ते नहीं खोले गए।

भाजपा उम्मीदवारों के नाम की घोषणा होने के साथ ही यह चर्चा आम होने लगी की, आखिर कांग्रेस की टिकट की कृपा कहां अटक गई है ? टिकट की कृपा कब होगी, कैसे होगी या जो भी कोई बाधा बनी है, उसका क्या समाधान किया जाए ? अथवा हो सकता है । कृपा तो कृपा है , अब यह चाहे पॉलीटिकल पार्टी के द्वारा की जाए या फिर पार्टी के वरिष्ठ नेताओं के द्वारा की जाए या फिर संबंधित उम्मीदवार की टिकट के लिए पैरवी करने वाले नेताओं के माध्यम से की जाए। अथवा किसी ज्योतिषीय उपाय के साथ कृपा हो जाए । दिन ढलने के साथ-साथ बस यही कयास लगाए जाने आरंभ हो गए कि जैसे भी हो कांग्रेस टिकट के लिए अब कृपा हो ही जानी चाहिए।

आरक्षित पटौदी विधानसभा सीट पर कांग्रेस टिकट के लिए कृपा चाहने वालों की संख्या 42 है। अंतिम समय में टिकट की कृपा प्राप्त करने के लिए तीन उम्मीदवारों के नाम की चर्चा और शोर सुनाई दिया। मंगलवार दिन छिपने के साथ, किस पर मंगलकारी होगा ? अंतिम समय में दो ही दावेदारों के नाम कांग्रेस टिकट की कृपा के लिए मुकाबले में बनकर सामने आ आ गए। इसमें भी कांग्रेस टिकट के लिए एक दावेदार दंपति का कांग्रेस की टिकट की कृपा प्राप्त करने के अधिकांश दावेदारों के द्वारा अपने-अपने तरीके से विरोध और नाराजगी जाहिर की गई। कुल मिलाकर कांग्रेस का प्रदेश नेतृत्व, कांग्रेस का केंद्रीय नेतृत्व, कांग्रेस की चुनाव कमेटी और कांग्रेस की स्क्रीनिंग कमेटी में  भी असमंजस  बना हुआ है। कि अंतिम दो कांग्रेस टिकट की कृपा चाहने वालों में से किस उम्मीदवार पर कृपा की जाए । कथित रूप से पेच यह फंसा हुआ बताया गया है कि कांग्रेस पार्टी आरक्षित विधानसभा क्षेत्र पटौदी में अपनी हार की हैट्रिक की आशंका को लेकर सबसे अधिक चिंतित बताई गई है । अब यह तो भविष्य के गर्भ में है कि कांग्रेस टिकट की कृपा या कृपा की कृपा से कांग्रेस की टिकट किसकी झोली में पहुंचेगी।

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