दक्षिणी हरियाणा के किसान बाजरे की सरकारी खरीद 15 सितम्बर से शुरू करने पर बार-बार प्रदर्शन करके सरकार को ज्ञापन दे चुके है, लेकिन मुख्यमंत्री खट्टर व उनकी सरकार के कान पर जूं नही रेंंग रही : विद्रोही
किसानों की मांग पर भाजपा-खट्टर सरकार का रवैया बताता है कि भाजपा की न केवल कथनी-करनी में अंतर है अपितु भाजपा सरकार मानसिक रूप से किसान विरोधी सरकार है : विद्रोही

6 सितम्बर 2023 – स्वयंसेवी संस्था ग्रामीण भारत के अध्यक्ष एवं हरियाणा प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रवक्ता वेदप्रकाश विद्रोही ने आरोप लगाया कि भाजपा-जजपा सरकार किसान हित में दावे तो बहुत करती है, लेकिन किसानों की किसी मांग का समाधान करने की बजाय उस पर अपने निर्णय थोपती है। विद्रोही ने कहा कि हरियाणा का किसान जमीनी धरातल की वास्तविकता के मध्यनजर बाजरा फसल की न्यूनतम समर्थन मूल्य पर सरकारी खरीद 15 सितम्बर से करने की मांग कर रहा है, लेकिन सरकार पुरानी पम्पमरा के अनुसार 1 अक्टूबर से ही सरकारी खरीद शुरू करने पर अड़ी है।

दक्षिणी हरियाणा के किसान बाजरे की सरकारी खरीद 15 सितम्बर से शुरू करने पर बार-बार प्रदर्शन करके सरकार को ज्ञापन दे चुके है, लेकिन मुख्यमंत्री खट्टर व उनकी सरकार के कान पर जूं नही रेंंग रही और सरकारी अधिकारी 1 अक्टूबर से ही बाजरे की एमएसपी पर सरकारी खरीद की व्यवस्था करने का प्रबंध कर रहे है। वहीं किसानों की मांग है कि बाजरा फसल को भावांतरण योजना के तहत खरीदने की बजाय सरकारी एजेंंसिया 2500 रूपये प्रति क्विंटल के घोषित न्यूनतम समर्थन पर ही बाजरा खरीदे। विद्रोही ने कहा कि जब किसान ही एमएसपी पर बाजरा की सरकारी खरीद चाहता है तो फिर हरियाणा सरकार भावांतरण योजना पर खरीद करने पर क्यों अड़ी है?

भावांतरण योजना के तहत सरकारी खरीद करने से किसानों को प्रति क्विंटल 200 से 300 रूपये कम भाव से बाजरा बेचने को मजबूर होना पड़ेगा जो किसान की खुली लूट है। सरकार द्वारा निर्धारित समय पूर्व बाजरा की सरकारी खरीद शुरू करने व भावांतरण की बजाय एमएसपी पर खरीद करने की किसानों की मांग पर भाजपा-खट्टर सरकार का रवैया बताता है कि भाजपा की न केवल कथनी-करनी में अंतर है अपितु भाजपा सरकार मानसिक रूप से किसान विरोधी सरकार है। 

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