कहा : एचसीएस भर्ती में पिछड़ा वर्ग क्रीमीलेयर के युवाओं से ₹1000 शुल्क की जबरन उगाही का तुगलकी फरमान
बोले : केंद्र सरकार द्वारा OBC क्रीमीलेयर की आय सीमा ₹8 लाख,जबकि हरियाणा में यह ₹6 लाख क्यों?
खट्टर-दुष्यंत सरकार में पिछड़ा वर्ग लगातार उपेक्षा व शोषण का शिकार।

भाजपा-जजपा सरकार हरियाणा के पिछड़ा वर्ग के हकों पर लगातार कुठाराघात कर रही है। सरकार ने अब HCS भर्ती में पिछड़ा वर्ग क्रीमीलेयर के युवाओं से ₹1000 शुल्क की जबरन उगाही का तुगलकी फरमान जारी किया है। सरकार पिछड़ा वर्ग के युवाओं के भविष्य को बर्बाद करने के लिए कोई कोर कसर नहीं छोड़ रही है। भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस महासचिव व सांसद रणदीप सिंह सुरजेवाला ने एक बयान जारी करते हुए हरियाणा की भाजपा-जजपा सरकार पर हमला बोला है।

सुरजेवाला ने कहा कि हरियाणा में मौजूदा सरकार ने नॉन-क्रीमीलेयर की वार्षिक आय सीमा केंद्र द्वारा निर्धारित 8 लाख की बजाय 6 लाख रुपये रखी है। इसमें कर्मचारियों के वेतन, व्यापारी और किसान की आय समेत सभी स्रोतों से प्राप्त आय को सकल वार्षिक आय की गणना में जोड़ा जा रहा है।इससे न केवल तृतीय एवं चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी बल्कि किसान एवं छोटे व्यापारी भी क्रीमीलेयर की श्रेणी में आ गए हैं।इससे इन परिवारों के बच्चे को भी शिक्षण संस्थानों में आरक्षण का लाभ नहीं मिल रहा है। केंद्र सरकार के अधीन कार्मिक एवं प्रशिक्षण विभाग हर तीन साल में आय सीमा को लेकर बदलाव करता है। लेकिन पिछले छह वर्षों से आय सीमा की समीक्षा नहीं हुई है। इतना ही नहीं, हरियाणा में आय सीमा बढ़ाना तो दूर इसके विपरित केंद्र द्वारा निर्धारित आठ लाख की आय सीमा को घटाकर छह लाख रुपये कर दिया। इससे पिछड़ा वर्ग में भारी रोष है।

उन्होंने कहा कि यह विसंगति केंद्र द्वारा जारी दिशा-निर्देशों का भी खुला उल्लंघन है। केंद्र में अपनी ही पार्टी की सरकार की बात भी न मान कर हरियाणा सरकार पिछड़ा वर्ग से दुश्मनी निकाल रही है। केंद्र द्वारा क्रीमी लेयर की मौजूदा परिभाषा एवं आय सीमा को हरियाणा में भी लागू किया जाए ताकि एकरूपता बनी रहे और पिछड़ा वर्ग को उनका अधिकार मिल सके। मेहनतकश समाज पिछड़ा वर्ग पर मोदी और खट्टर सरकार ने अन्याय के साथ साथ घोर भेदभाव और अत्याचार सबसे ज्यादा किया है।

उन्होंने कहा कि भाजपा और आएसएस लगातार नौकरियों में आरक्षण समाप्ति के षड्यंत्र कर रही है।कांग्रेस सरकार द्वारा नौकरियों की भर्ती के लिए दिए जाने वाले बैकवर्ड क्लास के बैकलॉग को भी मोदी सरकार ने खत्म कर दिया। वोट लेने के समय तो भाजपा के नेता बैकवर्ड के लोगों का इस्तेमाल कर लेते हैं लेकिन गरीबों की स्कीमों और भलाई के समय पीछे हट जाते हैं।

सुरजेवाला ने कहा कि 26 जनवरी 1952 से आज तक केवल कांग्रेस पार्टी ने ही पिछड़ा वर्गों को आगे बढाने के लिए आरक्षण का अधिकार दिया। साल 1952 में कांग्रेस सरकार ने पिछड़ा वर्ग को 2 प्रतिशत आरक्षण दिया जो साल 1980 तक चला। फिर साल 1980-81 में कांग्रेस की सरकार ने उसे 10 प्रतिशत तक बढ़ाकर श्रेणी 1,2,3 और 4 तक देने का फैसला किया। साल 1995-96 में कांग्रेस की सरकार ने कांग्रेस के वरिष्ठ नेता स्व.शमशेर सिंह सुरजेवाला की अध्यक्षता में पिछड़ा मंडल कमीशन की रिपोर्ट लागू करके बैकवर्ड ए में 16 प्रतिशत और बैकवर्ड बी में 11 प्रतिशत आरक्षण व क्लास 3 व 4 में 27 प्रतिशत आरक्षण निर्धारित किया। उसके बाद साल 2005 में फिर कांग्रेस की सरकार आई। फिर हमने कांग्रेस सरकार एक कमेटी बनाई तो साल 2013-14 में श्रेणी 1 और श्रेणी 2 में 10 प्रतिशत से बढ़ाकर 15 प्रतिशत के आरक्षण का प्रावधान किया।अब कांग्रेस के 2024 चुनावी घोषणा पत्र में बैकवर्ड की श्रेणी 1,2,3 और 4 में 27 प्रतिशत आरक्षण का प्रावधान किया जायेगा।

सुरजेवाला ने पिछड़ा वर्ग के युवाओं की ओर से भाजपा जजपा सरकार से कुछ मांगे की :-

  1. सरकार तुरंत वापिस ले HCS भर्ती में पिछड़ा वर्ग क्रीमीलेयर के युवाओं से ₹1000 शुल्क की जबरन उगाही का तुगलकी फरमान!
  2. ओबीसी क्रीमी लेयर आय सीमा केंद्र सरकार के बराबर ₹8 लाख करे खट्टर दुष्यंत सरकार।
  3. पिछड़ा वर्ग बैकलॉग तुरंत भरे सरकार।

सुरजेवाला ने कहा कि नए सिरे से कानून लिखेंगे और हर किसी की तकदीर लिखेंगे। खट्टर सरकार का काम है नौकरी से हटाना और कांग्रेस का काम है रोजगार देना। कांग्रेस की सरकार बनते ही बैकवर्ड के बैकलॉग भरेंगे। एचएसएससी और एचएसएससी की कमेटी में एक एससी और एक बैकवर्ड के सदस्य को शामिल करने का काम किया जाएगा।और पिछड़ा वर्ग के हितों को सुरक्षित करने के लिए हर संभव प्रयास किया जाएगा।

error: Content is protected !!