-कमलेश भारतीय हरियाणा के नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो के मुख्य प्रभारी व अम्बाला के एडीजीपी श्रीकांत जाधव ने मीडिया के रूबरू होते बताया कि जिन दिनों वे फतेहाबाद में एसपी तैनात थे , उन दिनों एक युवती ने अपना दर्द बयान किया कि नशे की गर्त में फंसे मेरे पिता ने नशे के पैसे चुकाने के लिए मुझे शरीर बेचने के लिए झोंक दिया । इस पर द्रवित होकर प्रयास नामक एनजीओ बनाई जिसे गुरुद्वारे ने सबसे पहले सहयोग दिया और इस तरह हमने कितने ही युवाओं का नशा छुड़ाया और उन्हें उनके गांवों में जाकर सम्मानित भी किया । आज मुझे हरियाणा भर में नशा मुक्ति अभियान का प्रभारी बनाया गया है । इसके लिए 26 जून को मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर व गृहमंत्री अनिल विज की मौजूदगी में स्टेट एक्शन प्लान जारी की गयी । फतेहाबाद का अनुभव मेरे बहुत काम आ रहा है । श्री जाधव ने बताया कि गांव स्तर पर मिशन टीमें बनाई गयी हैं और युवाओं को नशे से दूर करने के लिये धाकड़ कार्यक्रम चलाया जा रहा है । हिसार के हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय में भी यह कार्यक्रम आयोजित किया गया था । हरियाणा व हमारे समाज में फैल रहे नशे के कारोबार को रोकने व युवाओं को इससे मुक्त करने के लिए न केवल शिक्षा बल्कि स्वास्थ्य विभाग के सहयोग की जरूरत है । यह कोई इतना आसान काम भी नहीं लेकिन हमारे इरादे भी कम नहीं हैं । हमने अपनी मुहिम में पाच लाख छात्रों को जोड़ लिया है । लगभग 65000 नशा मुक्ति सूचना केंद्र बनाये गये हैं । एक सवाल के जवाब में श्रीकांत जाधव ने बताया कि हिमाचल , दिल्ली , राजस्थान , उत्तरप्रदेश और पंजाब सभी साथ लगते राज्यों की सीमाओं पर गहरी नजर रखी जा रही है । यहां तक कि उड़ीसा और झारखंड तक से ब्यूरो ने अपराधियों को पकड़ने में सफलता प्राप्त की और इस कारोबार से जुडे लोगों की 35 करोड़ रुपये की सम्पत्ति जब्त की । इसीलिए बुलडोजर ऑपरेशन भी चलाया ताकि इन्हें आर्थिक तौर पर चोट पहुंचाई जा सके । श्रीकांत जाधव हिसार में एसपी रहते ऑपरेशन स्ट्रे कैटल भी चला चुके हैं और इन्हे खूब सहयोग मिला था । वे जहां भी तैनात रहे जनता के सहयोग से कोई न कोई अभियान चलाते रहे । Post navigation भारत में बढ़ती बेरोजगारी, अर्थव्यवस्था पर भारी….. ब्लाक समिति की चेयर पर्सन निर्वाचित होने पर निकाय मंत्री से लिया आशीर्वाद