बंधवाड़ी मामले में एनजीटी द्वारा गठित कमेटी की चौथी बैठक आयोजित

बंधवाड़ी में 1 फरवरी 2023 से नहीं डाला जाएगा प्रतिदिन का कचरा
लीगेसी वेस्ट को समयबद्ध तरीके से प्रोसेस करने की रूपरेखा पर किया गया विचार
वेस्ट टू एनर्जी प्लांट लगाने का कार्य होगा 1 जनवरी से शुरू
20 नवंबर के बाद घरों से नहीं उठाया जाएगा मिश्रित कचरा, सूखा व गीला कचरा करना होगा अलग-अलग

गुरूग्राम, 16 नवंबर। गुरूग्राम जिला के बंधवाड़ी में पड़े लीगेसी वेस्ट तथा लीगेसी लीचेट की समस्या का समाधान करने के लिए एनजीटी द्वारा हरियाणा राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के चेयरमैन श्री पी राघवेंद्र राव की अध्यक्षता में गठित कमेटी की चौथी बैठक बुधवार को गुरूग्राम के लोक निर्माण विश्राम गृह मंे आयोजित की गई। इस बैठक में पिछली बैठक में लिए गए निर्णयों की समीक्षा के साथ भावी रणनीति पर विचार-विमर्श किया गया। हरियाणा के मुख्य सचिव श्री संजीव कौशल चण्डीगढ़ से वीडियों कॉन्फें्रसिंग के माध्यम से इस बैठक से जुडे़।

बैठक में निर्णय लिया गया कि 1 फरवरी 2023 से बंधवाड़ी लैंडफिल साईट पर प्रतिदिन का फै्रस कचरा नहीं डाला जाएगा। बंधवाड़ी में 31 जनवरी 2023 जीरो वेस्ट डम्ंिपंग की समय सीमा निर्धारित की गई है। इसके लिए गुरूग्राम नगर निगम ने प्लान तैयार कर ली है। कमेटी के चेयरमैन पी राघवेंद्र राव ने गुरूग्राम की भांति फरीदाबाद नगर निगम को भी उनके यहां प्रतिदिन निकलने वाले फै्रस कचरा का निपटारा करने की प्लान तैयार करने के निर्देश दिए हैं। गुरूग्राम से प्रतिदिन लगभग 1200 मीट्रिक टन तथा फरीदाबाद से लगभग एक हजार मीट्रिक टन कचरा उत्पन्न होता है।

गुरूग्राम नगर निगम आयुक्त मुकेश कुमार आहुजा ने प्रेजेंटेशन देते हुए कमेटी को बताया कि 31 जनवरी 2023 तक गुरूग्राम में प्रतिदिन के फै्रस कचरे को प्रोसेस करने के लिए 1200 मीट्रिक टन की क्षमता सृजित की जाएगी। इसके लिए गुरूग्राम जिला में सात जगहों पर फै्रस वेस्ट को प्रोसेस करने के लिए विकेंद्रीकृत ईकाइयां स्थापित की गई हैं। ये ईकाइयां बेरी बाग, बादशाहपुर, सेक्टर 44, बीडब्ल्यूजी, दरबारीपुर में शुरू हो चुकी हैं। उल्लावास तथा साउथ सिटी-2 में भी ऐसी ईकाइयां स्थापित की गई हैं लेकिन लोगांे के ऐतराज की वजह से वहां पर प्रोसेसिंग का कार्य फिलहाल रूका हुआ है। इन दोनो जगहों पर लगभग 150 मीट्रिक टन फै्रस वेस्ट की प्रोसेसिंग हो पाएगी। उन्होंने बताया कि इन ईकाइयों के संचालन पर ऐतराज करने वाले लोगों को समझाया जा रहा है कि वहां पर ईकाई के आसपास के क्षेत्रों से ही प्रतिदिन का फै्रस कचरा लाकर उसी दिन उसकी प्रोसेसिंग होगी और रात को वहां पर कचरा नहीं डालने दिया जाएगा। वहां पर केवल सैग्रीगेटिड अर्थात् अलग-अलग किया हुआ कचरा ही प्रोसेसिंग के लिए लाया जाएगा। इन स्थानों पर बाहर के क्षेत्रों से कचरा नहीं लाया जाएगा और यह व्यवस्था पूर्ण रूप से अस्थाई तौर पर की जा रही है। इसके अलावा, कार्टरपुर के निकट भी मैटिरियल रिक्वरी फैसिलिटी विकसित करने का कार्य प्रगति पर है जहां पर 50 मीट्रिक टन वेस्ट प्रोसेस होगा और यह ईकाई 15 दिसंबर तक शुरू हो जाएगी। उन्हांेने बताया कि दौलताबाद तथा बेगमपुर खटौला में भी उस क्षेत्र के आसपास के फै्रस कचरे को प्रोसेस करने के लिए लगभग 700 मीट्रिक टन क्षमता की ईकाइयां लगाई जा रही हैं।

बंधवाड़ी लैंडफिल साईट पर 10 ऐकड़ जमीन खाली होने पर वहां वेस्ट टू एनर्जी प्लांट लगेगा और उसके बाद साथ की साथ कचरे की ना केवल प्रोसेसिंग होगी बल्कि उससे बिजली उत्पन्न करने का कार्य भी हो सकेगा। श्री आहुजा ने बताया कि गुरूग्राम जिला में लोगों को जागरूक किया जा रहा है कि 20 नवंबर के बाद घरों से केवल सैग्रीगेटिड अर्थात् अलग-अलग किया हुआ कचरा ही उठाया जाएगा। जिस घर में सूखा व गीला कचरा अलग-अलग नहीं होगा वहां से कचरा नहीं उठाया जाएगा। कमेटी के चेयरमैन पी राघवेंद्र राव ने फरीदाबाद नगर निगम को भी गुरूग्राम की तर्ज पर मिश्रित कचरा घरो से नहीं उठाने की समय सीमा तय करने के आदेश दिए हैं।

बैठक में लीगेसी वेस्ट के नए सीरे से किए गए ड्रॉन सर्वे की रिपोर्ट भी रखी गई। हरियाणा राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के क्षेत्रीय अधिकारी कुलदीप सिंह ने बताया कि ड्रॉन सर्वे में 40 से 45 लाख मीट्रिक टन लीगेसी वेस्ट होने का अनुमान है। इस पर कमेटी के चेयरमैन पी राघवेंद्र राव ने कहा कि किसी ऐसी ऐजेंसी से कचरे का घनत्व चैक करवाया जाए जो इस साईट से किसी भी रूप में जुड़ी हुई ना हो। बैठक में राष्ट्रीय पर्यावरण अभियंत्रिकी अनुसंधान संस्थान (एनईईआरआई) नागपुर से घनत्व चैक करवाने पर सहमति बनी। इसके साथ बैठक में सभी ने माना कि कमेटी की बैठक के शुरू होने के बाद बंधवाड़ी लैंडफिल साईट पर कचरे की मात्रा कम हुई है। लीगेसी वेस्ट को प्रोसेस करने के बारे में बैठक में विस्तार से चर्चा हुई। उन्होंने बताया कि कम से कम 20 लाख मीट्रिक टन लीगेसी वेस्ट को प्रोसेस करने के लिए टेंडर अलाट कर दिए जाएंगे और एक जनवरी 2023 से पहले उन्हें वर्क अलाट कर दिया जाएगा।

नगर निगम आयुक्त मुकेश आहुजा ने बताया कि कचरे को प्रोसेस करने के बाद निकलने वाले आरडीएफ के निपटारे के भी प्रबंध किए जा रहे हैं। उन्होंने बताया कि लगभग 300 मीट्रिक टन आरडीएफ मुरथल के वेस्ट टू एनर्जी प्लांट को भेजा जाएगा। इसके अलावा, राजस्थान के श्री सीमेंट के साथ हर महीने लगभग 2 हजार मीट्रिक टन आईडीएफ की खपत के लिए समझौता किया गया है। उन्होंने बताया कि वेस्ट टू एनर्जी प्लांट लगाने के लिए बंधवाड़ी मंे 10 ऐकड़ भूमि से आने वाली एक दिसंबर तक पूरा आरडीएफ उठा लिया जाएगा।बैठक में कचरे से निकलने वाले कम्पोस्ट तथा प्लास्टिक का पुनः प्रयोग करने पर भी चर्चा की गई। निगम आयुक्त श्री आहुजा ने बताया कि सन् 2019 में नगर निगम ने के के प्लास्टिक नामक कंपनी के साथ समझौता किया था कि वह सड़क बनाने के कार्य में 8 से 10 प्रतिशत प्लास्टिक का प्रयोग करेगी। अब उस कंपनी का एचपीसीएल-मित्तल एनर्जी लिमिटेड (एचएमईएल) के साथ करार हुआ है। शुरू में वह कंपनी 10 मीट्रिक टन प्लास्टिक को बिटुमिनस के साथ मिलाकर सड़क निर्माण में प्रयोग करेगी। श्री आहुजा ने कहा कि धीरे-धीरे इस क्षमता को 20 मीट्रिक टन क्षमता तक ले जाया जाएगा। उन्होंने बताया कि कम्पोस्ट को खाद के रूप में प्रयोग करने के लिए नगर निगम, वन विभाग तथा किसानांे को देने की संभावनाओं का पता लगाया जाएगा।

बैठक में लीचेट प्रबंधन पर भी चर्चा की गई जिसमें हरियाणा राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के क्षेत्रीय अधिकारी कुलदीप सिंह ने बताया कि बंधवाड़ी में 400 केएलडी लीचेट को ट्रीट किया जा रहा है। निगम के अधिकारियों ने बताया कि लगभग 500 केएलडी लीचेट का निपटारा एसटीपी के माध्यम से किया जा रहा है। कमेटी के चेयरमैन पी राघवेंद्र राव ने कहा कि 1 जनवरी 2023 तक लीगेसी वेस्ट के साथ ज्यादात्तर लीगेसी लीचेट का निपटारा करने का प्रयास करें और इस तिथि को कम से कम मात्रा में लीगेसी लीचेट बचना चाहिए।

बैठक में बताया कि गया बंधवाड़ी में वेस्ट टू एनर्जी प्लांट लगाने के लिए ड्राफट ईपीसीसी नगर निगम को दे दिया गया है। इको ग्रीन कंपनी की ओर से संजय शर्मा ने आज फिर कमेटी को आश्वस्त किया कि 31 दिसंबर 2022 तक वेस्ट टू एनर्जी प्लांट लगाने का धरातल पर कार्य शुरू हो जाएगा।

बैठक में बंधवाड़ी लैंडफिल साईट पर इमरजेंसी फायर प्लान के बारे में चर्चा की गई जिसमें बताया गया कि सीपीसीबी की गाईड लाईन के अनुसार फायर प्लान 25 नवंबर तक तैयार करके चण्डीगढ मुख्यालय को स्वीकृति के लिए भेज दी जाएगी। निगमायुक्त श्री आहुजा ने बताया कि 1 जनवरी 2023 से उस प्लान को लागू करने का कार्य शुरू हो जाएगा।

यह भी बताया गया कि नगर निगम संशोधित एक्शन प्लान तैयार कर रहा है। इसे कमेटी की बैठक में जल्द रखा जाएगा। ध्यान रहे कि एनजीटी द्वारा गठित इस कमेटी को 31 दिसंबर 2022 तक की बंधवाड़ी लैंडफिल साईट पर जमा कचरे की समस्या के समाधान की रूपरेखा तैयार करके 15 जनवरी 2023 तक एनजीटी में प्रस्तुत करनी है।

इस अवसर पर चेयरमैन पी राघवेंद्र राव के अलावा उपायुक्त निशांत कुमार यादव, मण्डल वन अधिकारी राजीव तेजियान, प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के क्षेत्रीय अधिकारी कुलदीप सिंह, नगर निगम के आयुक्त मुकेश आहुजा, संयुक्त आयुक्त नरेश कुमार, कमेटी के सदस्य बाबुराम भी उपस्थित थे।


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