सैयद शाहपुर गवर्नमेंट स्कूल पर लॉक और 5 घंटे रोड जाम

टीचर्स की कमी पर 30 अगस्त के बाद 22 को दूसरी बार ताला

आनन-फानन में ग्रुप डी कर्मचारी सहित गेस्ट टीचर की नियुक्ति

15 दिन में पर्याप्त संख्या में टीचर प्रतिनियुक्ति का दिया आश्वासन

आधा दर्जन गांवों के ग्रामीण फिर 15 दिन के बाद करेंगे रोड जाम

फतह सिंह उजाला

पटौदी । पटौदी विधानसभा क्षेत्र के गांव सैयद शाहपुर के गवर्नमेंट हाई स्कूल पर गुरुवार को एक बार फिर से लॉक लगा दिया गया । स्कूल में कार्यरत टीचर्स के अचानक ट्रांसफर के बाद यहां बनी टीचर्स की कमी के कारण बच्चों की पढ़ाई ठप होने से गुस्साए ग्रामीणों के द्वारा गुरुवार को खोड़, नानू कला, शाहपुर, मालपुरा होते हुए रेवाड़ी जाने वाले सड़क मार्ग को भी 5 घंटे तक जाम किए रखा गया।

गवर्नमेंट हाई स्कूल सैयद शाहपुर में लॉक सहित सड़क मार्ग जाम किया जाने की सूचना मिलते ही पर्याप्त संख्या में पुलिस बल भी मौके पर पहुंच गया। इसी बीच में स्कूल में तालाबंदी की सूचना खंड शिक्षा अधिकारी डॉक्टर धर्मपाल तक भी पहुंच गई। गुरुवार को प्रातः काल से ही हो रही बरसात की परवाह नहीं करते हुए गांव सैयद शाहपुर तथा आसपास के दो अन्य गांव के ग्रामीण तथा स्कूल में पढ़ने वाले बच्चों के अभिभावक पूर्व घोषणा के मुताबिक स्कूल के बाहर पहुंचे और तालाबंदी कर दी। इस दौरान ग्रामीणों और अभिभावकों के द्वारा स्कूल में टीचर की प्रतिनियुक्ति की मांग को लेकर शासन-प्रशासन सहित शिक्षा विभाग की हीला हवाली के विरोध में जमकर नारेबाजी की गई । इस दौरान स्कूल में पढ़ने वाले सभी छात्र छात्राएं भी अपनी मांगों के समर्थन में अभिभावकों के साथ नारेबाजी करते हुए सड़क के बीचो बीच बरसात के बावजूद डटे रहे ।

गुरुवार को पूर्व सरपंच पवन शहरावत, लाल सिंह, पवन डागर, राम भतेरी, सुनीता, पूजा , सुमित, कविता, संतोष, सविता ,रमेश , आशा सहित बड़ी संख्या में महिलाएं और पुरुष अभिभावक ठंडे मौसम के बावजूद गर्म मिजाज के साथ सड़क पर उतर आए । इन सभी के द्वारा एक ही मांग की गई स्कूल में जल्द से जल्द पर्याप्त संख्या में टीचिंग स्टाफ उपलब्ध करवाया जाए । ग्रामीणों के मुताबिक स्कूल में आठ टीचिंग स्टाफ की नियुक्ति पहले से थी , इनमें से अचानक 7 अध्यापकों का तबादला किया जाने के कारण यहां केवल मात्र एक अध्यापक संस्कृत विषय का ही रह गया। ऐसे में एक अध्यापक सभी कक्षा दसवीं तक के छात्रों को किस प्रकार से पढ़ाने में कामयाब हो सकेगा ? यह भी अपने आप में अबूझ पहेली से कम नहीं है।

ग्रामीणों के मुताबिक इससे पहले पटौदी के एसडीएम प्रदीप कुमार को भी लिखित में अवगत कराया जा चुका था कि गवर्नमेंट हाई स्कूल सैयद शाहपुर में बीते करीब 3 सप्ताह से अध्यापक उपलब्ध नहीं है । स्कूल से अध्यापकों का तबादला किया जाने के बाद अन्य किसी टीचर कि यहां पर नियुक्ति भी नहीं की गई है । स्कूल में आसपास के 3 गांवों के लगभग 130 छात्र-छात्राएं पढ़ने के लिए आते हैं और अध्यापक नहीं होने के कारण अर्धवार्षिक परीक्षाएं पास करना और इसके बाद बोर्ड एग्जाम में बैठना और बोर्ड एग्जाम को पास करना छात्र छात्राओं के लिए गंभीर चुनौती बन गया है। इसी मौके पर गुस्साई महिला अभिभावकों के द्वारा सवाल किया गया कि एक तरफ तो सरकार का दावा और नारा है कि बेटी पढ़ाओ दूसरी तरफ स्कूल में टीचिंग स्टाफ ही उपलब्ध नहीं है ।

एसडीएम के नाम सौंपे गए पत्र में ग्रामीणों के द्वारा साफ साफ कहा गया है कि अध्यापकों की कमी के कारण छात्र वर्ग का भविष्य पूरी तरह से अंधकार में होता जा रहा है । 20 सितंबर तक स्कूल में टीचिंग स्टाफ उपलब्ध नहीं करवाया गया, तो 20 सितंबर के बाद सकूल में कभी भी तालाबंदी की जा सकती है । गुरुवार को ग्रामीणों और अभिभावकों के द्वारा स्कूल में तालाबंदी करते हुए अपनी मांगों के समर्थन में नारेबाजी करते हुए स्कूल के सामने ही सड़क मार्ग को अवरुद्ध कर जाम कर दिया गया । मौके पर पहुंचे खंड शिक्षा अधिकारी के द्वारा स्कूल में छात्र छात्राओं को पढ़ाने के लिए ग्रामीणों के मुताबिक एक ग्रुप डी कर्मचारी जो कि कथित रूप से चपरासी के पद पर है तथा एक गेस्ट टीचर उपलब्ध करवाया गया । लेकिन अभी भी 5 अध्यापकों की कमी स्कूल में बनी हुई है । खंड शिक्षा अधिकारी डॉ धर्मपाल के द्वारा 15 दिन में अन्य अध्यापकों की प्रतिनियुक्ति का आश्वासन जिया जाने के बाद ही ग्रामीणों के द्वारा अपना आंदोलन वापस लिया गया।

15 दिन बाद फिर  तालाबंदी सड़क जाम
गुरुवार को खंड शिक्षा अधिकारी डॉ धर्मपाल के द्वारा आगामी 15 दिन में गवर्नमेंट हाई स्कूल सैयद शाहपुर के छात्र छात्राओं की पढ़ाई सुचारू रूप से कराने के दृष्टिगत अन्य अध्यापकों की नियुक्ति या प्रतिनियुक्ति पर भेजने के आश्वासन पर भी ग्रामीणों के द्वारा प्रतिक्रिया व्यक्त करते चेतावनी भी दी गई है। ग्रामीणों का कहना है कि 15 दिन इंतजार किया जाएगा और इसके बाद यदि पर्याप्त संख्या में अध्यापकों की प्रतिनियुक्ति नहीं की गई तो गांव सैयद शाहपुर ,लोचबका, बसतपुर, तेलपुरी, नानू और मालाखेड़ा के ग्रामीणों के द्वारा अपने अपने गांवों से होकर गुजरने वाले सड़क मार्ग को जाम कर दिया जाएगा । यदि ऐसे हालात बने और ग्रामीणों को सड़क मार्ग के लिए मजबूर होना पड़ा , तो इसके लिए शासन प्रशासन सहित शिक्षा विभाग और शिक्षा विभाग के अधिकारी भी जिम्मेदार रहेंगे। 

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