हरियाणा के प्रथम मुख्यमंत्री पंडित भगवतदयाल शर्मा की जीवनी हटाना स्वतंत्रता सेनानी का अपमान – नवीन जयहिंद

–प्रदेश सरकार ब्राह्मण समाज के पीछे हाथ धोकर पड़ी – जयहिंद
–सरकार पंडित भगवत दयाल शर्मा के नाम पर महिला कॉलेज की घोषणा पूरी करे – जयहिंद
–गौड़ संस्था की पहरावर जमीन पर भी सरकार डाल चुकी हैं बांधा – नवीन जयहिन्द

बंटी शर्मा

रोहतक – महान स्वतंत्रता सेनानी व हरियाणा के प्रथम मुख्यमंत्री पण्डित भगवतदयाल शर्मा की जीवनी को स्कूली पाठ्यक्रम से शिक्षा विभाग द्वारा हटा दिया गया है

पंडित भगवत दयाल शर्मा प्रदेश के अब तक के एकमात्र ब्राह्मण मुख्यमंत्री रहे हैं पंडित भगवत दयाल शर्मा की गिनती महान स्वतंत्रता सेनानियों में होती हैं

इस घटना के बारे में जब ब्राह्मण समाज के संगठनों को पता लगा तो समाज मे भारी गुस्सा देखने को मिला ब्राह्मण सभा के सदस्यों ने रोष व्याप्त जारी करते हुए कहा कि सरकार ने पण्डित जी के साथ हमेशा से सौतेला व्यवहार किया है, ना तो प्रदेश स्तर पर कभी उनकी जयंती मनाई जाती है और ना ही कभी उनकी पुण्यतिथि और अबतो हद हो गयी पण्डित जी के इस अपमान को हरियाणा की जनता सहन नहीं करेगी।

क्रांतिकारी नवीन जयहिंद ने कहा कि 5वी कक्षा के पाठ्यक्रम से पण्डित जी की जीवनी हटाकर सरकार उनके सँघर्ष को धूमिल करना चाहती है। परन्तु ऐसा किसी भी कीमत पर नही होने दिया जाएगा।

उन्होंने कहा कि सरकार ने 2020 में लागू किए गए पाठ्यक्रम से चुपचाप जीवनी को हटा दिया गया। ब्राह्मण समाज के प्रदेश के एकमात्र मुख्यमंत्री रहे पंडित भगवत दयाल की जीवनी पाठ्यक्रम से हटाने पर समाज मे काफी रोष है।

गौरतलब हैं कि देश की आजादी के बाद ओर 1966 में हरियाणा राज्य बनने से प्रदेश में अभी तक एक मात्र ब्राह्मण मुख्यमंत्री रहा हैं कुछ जालसाजों द्वारा पंडित जी का मुख्यमंत्री बनना अच्छा नही लगा और उनकी सरकार गिरा दी थी।

ब्राह्मण समाज के पीछे हाथ धोकर पड़ी प्रदेश सरकार – जयहिंद

प्रदेश में जब से मनोहर सरकार बनी हैं ब्राह्मण समाज को आशा के अनुसार उनका हक नही मिला इसके साथ ही प्रदेश सरकार द्वारा ब्राह्मण समाज के ही हकों पर डाका डालना निंदनीय कार्य हैं जिस पहरावर गांव में गौड़ संस्था की जमीन को सरकार स्वयं की जमीन बता रही थी और बाद में समाज द्वारा विरोध करने पर गौड़ संस्था की पहरावर जमीन को ब्राह्मण समाज की जमीन बताना इसका जीता जागता उदाहरण हैं

प्रदेश का ब्राह्मण समाज अपने आप को वर्तमान सत्ता में ठगा ठगा महसूस कर रहा हैं जयहिंद का कहना हैं कि सरकार को महान शूरवीर रहे क्रान्तिकारियो के जीवन की गौरव गाथा की प्रेरणा छात्रो को देनी चाहिए ताकि छात्र उनकी जीवनियों से प्रेरणा लेकर देश के लिए अच्छा कार्य करे लेकिन प्रदेश सरकार स्वयं को राष्टवादी सरकार कहती हैं और देश के महान स्वतंत्रता सेनानियो की जीवनी को किताबो से हटाकर क्या दर्शाना चाहती हैं

जयहिंद ने बताया कि पंडित भगवत दयाल के नाम से रोहतक में एक मात्र मेडिकल कालेज बना हुआ हैं और प्रदेश सरकार द्वारा बेरी में पंडित भगवत दयाल से महिला कॉलेज की घोषणा किए बड़ा अर्श बीत चुका हैं लेकिन अभी तक प्रदेश सरकार द्वारा प्रदेश के प्रथम मुख्यमंत्री पंडित भगवत दयाल शर्मा के नाम पर नही बनाना सरकार की मंशा पर सवाल खड़े करता हैं

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