कृषि मंत्री जेपी दलाल ने गांव घुसकानी में किया जलभराव वाले क्षेत्र में जल निकासी प्रणाली का शुभारंभ
करीब सवा करोड़ रुपए की लागत की इस परियोजना से करीब 700 एकड़ सेमग्रम भूमि बनेगी उपजाऊ
सौर ऊर्जा पर आधार होगी यह परियोजना, बिजली का नहीं आएगा कोई खर्च

भिवानी, 11 जून। प्रदेश के कृषि एवं पशुपालन मंत्री जेपी दलाल ने कहा कि प्रदेश की जलभराव या सेम से प्रभावित भूमि को कृषि योग्य बनाकर किसानों को खुशहाल किया जाएगा। सौर ऊर्जा पर आधारित वॢटकल जल निकासी प्रणाली को जलभराव वाले क्षेत्रों में लागू किया जाएगा, जिससे बारिश ओर सेम का पानी निकालकर नजदीकी ड्रेन में डाला जाएगा। उन्होंने कहा कि प्रदेश के किसानों को किसी प्रकार का कोई नुकसान नहीं होने दिया जाएगा, किसान के नुकसान की भरपाई सरकार करेगी। किसानोंं को किसी प्रकार की चिंता करने की जरूरत नहीं है।

कृषि एवं पशुपालन मंत्री श्री दलाल शनिवार को अपने पैतृक गांव घुसकानी में करीब एक करोड़ दस लाख रुपए की लागत से बनी सौर ऊर्जा पर आधारित वॢटकल जल निकासी प्रणाली योजना का शुभारंभ करने के दौरान ग्रामीणों को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि प्रथम चरण में प्रदेश की एक लाख सेमग्रस्त व जलभराव की जमीन को सुधारने का लक्ष्य रखा गया है, जिसकी शुरुआत गांव घुसकानी से की गई है। धीरे-धीरे इस क्षेत्र के सभी जलभराव या सेमग्रस्त प्रभावित गांवों में इस योजना को लागू किया जाएगा ताकि जलभराव से किसान को किसी प्रकार का नुकसान न हो और वहां पर पानी निकासी करके खेती की जा सके। उन्होंने कहा कि प्रदेश की करीब दस लाख एकड़ भूमि ऐसी है, जहां पर जलभराव और सेम से प्रभावित है। उन्होंने कहा कि जिला भिवानी में करीब सवा लाख एकड़ भूमि जलभराव और सेमग्रस्त है, जिसमें मुख्यरूप से मिताथल, गुजरानी, जाटू लोहारी, मंढाणा, मुंढाल, तिगड़ाना, तालू, धनाना, चांग व आसपास के गांव शामिल हैं। इन गांवों में पाईप लाईन डालकर व पंपसेट लगाकर खेतों का पानी नजदीकी ड्रेन में डाला जाएगा। उन्होंने कहा कि यह परियोजना सौर ऊर्जा पर आधारित है, जिससे बिजली का कोई खर्च नहीं आएगा।

ग्रामीणों को संबोधित करते हुए श्री दलाल ने कहा कि प्रदेश सरकार गरीब, किसान, मजदूर व आमजन के लिए जन हितैषी नीतियां लागू कर रही है। सरकार बिना किसी भेदभाव से मेरिट के आधार पर युवाओं को रोजगार दे रही है। सरकार गरीब का हक मरने नहीं दे रही है। उन्होंने कहा कि आज हरियाणा प्रदेश में अन्य प्रदेशों की मुकाबले सबसे अच्छी किसान नीति लागू की जा रही है। किसान को उनकी फसल का पूरा भाव मिल रहा है, जो अब से पहले किसी सरकार के दौरान नहीं मिला है। इसी प्रकार से फसल खराब होने पर मुआवजा राशि किसानों के खातें में जा रही है। किसानों की खुशहाली के लिए नहरों व माईनरों की सफाई करवाई जा रही है ताकि टेल तक नहरी पानी पहुंचे ताकि किसान खुशहाल हो। उन्होंने किसानों से आह्वान किया कि वे मोटे अनाज की खेती को छोडक़र मच्छली पालन, पशुपालन, मधुमक्खी पालन, बागवानी,मशरूम, नेट हाऊस, पॉलीहॉऊस और फूड प्रोसेसिंग को अपनाएं ताकि उनकी आय बढ़े और युवाओं को नया रोजगार मिले।

कृषि मंत्री श्री दलाल ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारत की विदेशों में नई पहचान बनी और देश की साख बढ़ी है। यूक्रेन और रूस के बीच चले युद्ध के दौरान भारत के करीब 20 हजार युवा तिरंगे की बदौलत अपने देश सकुशल अपने वतन लौटे हैं। तिरंगे को देखने मात्र से दोंनो देशों की सेनाओं से युद्ध बंद किया और हमारे युवाओं को किसी प्रकार की हानि नहीं पहुंचाई, यह सब प्रधानमंत्री के कुशल नेतृत्व का परिणाम है। आज हमारा देश पूरी तरह सुरक्षित है और भारतीय सेना का मनोबल बढा है। उन्होंने ग्रामीणों से आह्वान किया कि वे किसी के बहकावे मेंं न आएं। देश व प्रदेश के विकास में अपना सहयोग दें।

कृषि मंत्री श्री दलाल को माटरसाईकिल के काफिले के साथ समारोह स्थल तक लाया गया। कृषि मंत्री का ढोल-नगाड़ों, फूल-मालाओं व पगड़ी पहनाकर गर्मजोशी के साथ स्वागत किया गया। कार्यक्रम को उप कृषि निदेशक डॉ. आत्माराम गोदारा व जिला भूमि संरक्षण अधिकारी डॉ. मुकेश यादव ने भी विभाग की तरफ से जलनिकासी परियोजना के बारे में जानकारी दी। गांव की तरफ से कमल सिंह, शिव कुमार शर्मा, धर्मबीर सिंह, जयपाल, हवा सिंह व तिगड़ाना निवासी दीपा तंवर ने कृषि मंत्री का स्वागत किया।

इस दौरान कृषि मंत्री ने ग्रामीणों को आश्वासन दिया कि गांव घुसकानी में किसी प्रकार की कोई समस्या नहीं रहने दी जाएगी। स्कूल के निर्माण का टेंडर हो चुका है, जिसका कार्य शीघ्र शुरु हो जाएगा। उन्होंने ग्रामीणों द्वारा रखी मांग को प्राथमिकता के आधार पर पूरा किया जाएगा। उन्होंने अनुसूचित जाति की चौपाल का निर्माण कार्य डी-प्लान से करवाने की घोषणा की।

कार्यक्रम के दौरान ग्रामीणों ने कृषि मंत्री के समक्ष गांव में पेयजल की समस्या रखी और इसके लिए जनस्वास्थ्य विभाग के एसडीओ को जिम्मेवार बताया। इस मामले को कृषि मंत्री ने गंभीरता से लेते हुए संबंधित एसडीओ को निलंबित करने के आदेश दिए। उन्होंने कहा कि गांव की सार्वजनिक समस्या के समाधान के लिए वे हर समय तत्पर हैं। उन्होंने अधिकारियों को भी निर्देश दिए कि ग्रामीणों की समस्याओं को गंभीरता से लेकर उनका समाधान करें।

इस अवसर पर अतिरिक्त कृषि निदेशक डॉ. कुलदीप गौतम, डीडीए डॉ. आत्माराम गोदारा, बीएससीओ डॉ. मुकेश यादव, एएससीओ अनिल राठी, डॉ. सर्वजीत सिंह, पशुपालन विभाग के एसडीओ डॉ. प्रदीप कुमार, कृषि अभियंता नसीब सिंह धनखड़, एसडीओ सतबीर सिंह, कृषि मंत्री के निजी सचिव जेपी दुबे, सतपाल सरपंच, कर्मबीर सिंह, जयभगवान दलाल, एडवोकेट संजय नेहरा, राजू राठी सहित भारी संख्या में ग्रामीण व महिलाएं व विभिन्न विभागों के अधिकारी मौजूद रहे।

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