डीसी की अनुपस्थिति में एसडीएम को सौंपा सीएम के नाम ज्ञापन

नारनौल, रामचंद्र सैनी

नारनौल शहर में याशी कंपनी द्वारा शहर के लोगों की प्रॉपर्टीओं की सर्वे करके प्रॉपर्टी आईडी के एसेसमेंट नोटिस में भारी खामियों का मुद्दा पिछले 2 दिनों से सोशल मीडिया की सुर्खिया बना हुआ था। जिसको लेकर आज मार्केट कमेटी के पूर्व चेयरमैन जेपी सैनी ने जिला प्रशासन के माध्यम से मुख्यमंत्री के नाम एक लिखित ज्ञापन प्रेषित किया है। पूर्व चेयरमैन ने यह ज्ञापन  डीसी की अनुपस्थिति में नारनौल के एसडीएम मनोज कुमार को सौंपा।

 ज्ञापन में पूर्व चेयरमैन जेपी सैनी ने कहा है कि नारनौल एरिया की प्रॉपर्टी सर्वे किसी याशी नामक कंपनी द्वारा की जा रही है । कंपनी  शहर के लोगों की प्रॉपर्टी की सर्वे करने के बाद असेसमेंट के जो नोटिस भेज रही है, उनमें भारी खामियां है। मुख्यमंत्री के नाम भेजे गए ज्ञापन में पूर्व चेयरमैन  सैनी ने कहा है कि नारनौल शहर के लोगों की प्रॉपर्टी की आईडी बनाने के बाद कंपनी ने जिन भी लोगों को एसेसमेंट के नोटिस भेजे हैं उनमें अभी तक एक भी नोटिस ऐसा सामने नहीं आ रहा है जो पूर्णरूपेण प्रॉपर्टी के अनुसार सही हो। ज्ञापन में कहा गया है किसी नोटिस में पुराने मालिक का नाम गलत है तो किसी में नए मालिक का नाम अपनी मनमर्जी से कुछ और ही लिख दिया गया है। इनके अलावा किसी भी प्रॉपर्टी के अनुसार मोहल्ले एवं वार्ड का मिलान नहीं हो रहा है । सबसे मोटी गलती तो नोटिस में प्रॉपर्टी के रकबा की है। जिन लोगों का रकबा अधिक है उनका कम दिखाया गया है और जिनका कम है उनका मौके से 2 गुना तक दिखाया गया है। अनेक नोटिस में मालिक का नाम पता तक नहीं है और कोरे ही उनके घर के बाहर चस्पा किए जा रहे हैं। जेपी सैनी ने ज्ञापन में कहा है कि सर्वे कंपनी की इस कमी का खामियाजा प्रदेश की सरकार को भुगतना पड़ रहा है। सोशल मीडिया पर लोग सरकार को कोस रहे हैं। विश्व सरकार की छवि को भारी नुकसान हो रहा है। उन्होंने अपने ज्ञापन में यह भी मांग की है कि कंपनी सरकार से सर्वे के पैसे ले रही है तो गलती  ठीक करवाने के लिए इस कंपनी को दोबारा से नारनौल की प्रॉपर्टी आईडी बनवाने के लिए डोर टू डोर जाने के निर्देश दिए जाएं ताकि आम लोगों में सरकार की छवि खराब ना हो।

आज अपना ज्ञापन सौंपने के बाद बताया कि पूर्व चेयरमैन जेपी सैनी ने बताया कि बड़ी हैरानी की बात है कि जब नगर परिषद के रिकॉर्ड में प्रॉपर्टी के मालिकों के पुराने नाम और उनके एरिया का रकबा लिखा हुआ है तो अब तमाम नोटिसों में पुराने मालिक के कॉलम में अनजान लोगों के नाम कहां से दर्शा दिए गए हैं। जिन्हें कोई जानता तक नहीं है। जेपी सैनी ने यह भी बताया कि शहर के आम लोग यह भी आरोप लगा रहे हैं कि कंपनी और नगर परिषद के अधिकारियों ने ऐसा जानबूझकर किया है, कियोंकि जो लोग अपने नोटिस ठीक करवाने जा रहे हैं उनके नाम पर उन्हें परेशान किया जा रहा है यहां तक की सुविधा शुल्क की डिमांड भी की जा रही है। पूर्व चेयरमैन जेपी सैनी ने इस मामले की उच्च स्तरीय जांच करवाने की मांग भी की है ।

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