-बिसरा दिए गए बलिदानियों की मिट्टी को साथ लेकर लौटेंगे
-कांग्रेस बताए देश से क्यों छुपाया वाइपर टापू का सच : धनखड़

गुरुग्राम – आजादी के अमृत महोत्सव पर स्वतंत्रता सेनानियों को याद करने “काला पानी” पहुंचे हरियाणा भारतीय जनता पार्टी के 129 सदस्यों के प्रतिनिधि मंडल ने वाइपर आइलैंड की उस मिट्टी को अपने माथे पर लगाया, जो आजादी के ऐसे सैकड़ों मतवालों के खून से सनी है, जिनको इतिहास में जगह नहीं दी गई। बिसरा दिए गए स्वतंत्रता सेनानियों की इस बलिदानी मिट्टी को सभी ने अपनी-अपनी झोलियों में भरा। प्रदेश अध्यक्ष ओमप्रकाश धनखड़ की अगुवाई वाला यह दल आईलैंड की मिट्टी लेकर दो दिन बाद हरियाणा लौटेगा।

प्रदेश अध्यक्ष के अनुसार अमृत महोत्सव पर इन बलिदानियों की गाथा पूरे प्रदेश में घर-घर तक पहुंचाई जाएगी तथा चैन गैंग जेल के नाम से कुख्यात इस वाइपर आईलैंड की सच्चाई जनता के सामने रखी जाएगी। पूरी टीम सेलूलर जेल और उस स्थान पर भी पहुंची, जहां सैकड़ों स्वतंत्रता सेनानियों को बंदी बनाकर वर्षों तक रखा गया और अनेक को फांसी के फंदे पर लटका दिया गया। अडेमान पहुंची हरियाणा भाजपा की पूरी टीम ने यहां एक संकल्प भी लिया कि कांग्रेस द्वारा स्वतंत्रता सेनानियों के साथ किए गए अन्याय को भी जनता के सामने रखकर कांग्रेस की उस विचारधारा को सामने लाया जाएगा, जिसके चलते हजारों स्वतंत्रता के नायकों का नाम सामने नहीं आने दिया गया।

हरियाणा प्रदेश अध्यक्ष ओपी धनखड़ के नेतृत्व में जो 129 सदस्यीय दल इस समय अंडमान निकोबार में मौजूद है, उनमें प्रदेश के लगभग सभी जिलों का प्रतिनिधित्व है। अंबाला जिले से 8, भिवानी से 8, गुरुग्राम से 17, झज्जर से 16, रेवाड़ी से 12, रोहतक से 16, चरखी दादरी से 3, फरीदाबाद से एक, चंडीगढ़ से एक, हिसार से 6, जींद से 4,करनाल से 4, कुरुक्षेत्र से 5, महेंद्रगढ़ से 5, मेवात से 4, पलवल से 3, पंचकुला से 1 और सिरसा से 5 सदस्य शामिल है। इसी तरह पानीपत से 5 और यमुनानगर से 3 भाजपा पदाधिकारी हैं। काला पानी की यात्रा पर मौजूद उक्त सभी नेताओं को प्रदेश अध्यक्ष ने उन स्थानों पर बैठकर वहां अंग्रेजी शासन की क्रूरता का शिकार हुए और कांग्रेस द्वारा उपेक्षित किए गए स्वतंत्रता सेनानियों के बारे में बताया और निर्देश दिए कि इन वीरों की गाथा हरियाणा के घर-घर तक पहुंचानी है।

धनखड़ ने कहा कि कांग्रेस से यह सवाल किए जाने चाहिए कि उसने क्यों देश को भारत चैन गैंग जेल का सच की सच्चाई बताई गई? क्यों कांग्रेस ने देश से वाईपर टापू का इतिहास छुपाया? और कांग्रेस किस मलेशियाई कम्पनी को वीर बलिदानों के स्मारक भूमि बेच रही थी? प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि ये सवाल कांग्रेस से कभी नहीं पूछे गए, लेकिन आजादी के 75वें वर्ष को जब देश अमृत महोत्सव के रूप में मना रहा है तो ये सवाल पूछे जाने चाहिए।

….यह है वाइपर आईलैंड का सच
ओमप्रकाश धनखड़ ने कहा कि अंग्रेजों द्वारा सबसे पहले वर्ष 1858 में झांसी की रानी के 200 वीर सैनिकों को वाइपर टापू पर लाया गया था। बाद में यहां कराची से भी 736 लोगों को लाकर उनके साथ क्रूरता की गई। अंग्रेज़ इस वाइपर टापू पर चैन से सात-सात स्वतंत्रता सेनानियों को बांध देते थे और मृत्यु होने पर ही खोलकर समंदर में फैंक देते थे। इसी तरह यहां महिला और पुरुष जेल तथा फांसी घर बनाया गया, जहां सैकड़ों लोगों को शहीद किया गया। अनेकों को फांसी पर लटका दिया गया। पुरी के राजा किशन देव सिंह और मणिपुर, नागालैंड के राजाओं को यहां बंदी बनाकर रखा गया, लेकिन भारत की पुस्तकों में इन महान स्वतंत्रता सेनानियों का जिक्र तक नहीं है। हजारों किलोमीटर दूर अंडमान में भाजपा टीम उस स्थान पर भी पहुंची, जहां महान स्वतंत्रता सेनानी वीर सावरकर को कई सालों तक अंग्रेजों ने बंदी बनाकर रखा था। ओमप्रकाश धनखड़ और सभी सदस्यों ने सावरकर स्थल पर पहुंचकर उनके कदमों पर चलकर देश सेवा करने का संकल्प लिया।

प्रदेश मीडिया सह प्रमुख अरविंद सैनी ने बताया कि अंडमान से लौटकर पूरी भाजपा टीम बलिदानियों की गाथाओं को घर घर पहुंचाएगी और बताएगी कि किस तरह कांग्रेस ने हजारों वीरों के बलिदान को छुपाकर उनके साथ अन्याय किया।

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