– पोते ने अपना धर्म निभाया, दादा ने हंसते-हंसते आशीर्वाद दिया – दिग्विजय
दिग्विजय ने कहा कि हमारी राजनीति राहें अलग है क्योंकि इनेलो से हमारे परिवार को निकाला गया था और उसके बाद ही जननायक जनता पार्टी का गठन हुआ।

चंडीगढ़, 7 दिसंबर। एक वैवाहिक कार्यक्रम में पूर्व मुख्यमंत्री ओमप्रकाश चौटाला द्वारा अपने पोते उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला को आशीर्वाद दिए जाने की तस्वीर के सवाल के जवाब में जननायक जनता पार्टी के प्रधान महासचिव दिग्विजय चौटाला ने कहा है कि आशीर्वाद लेने वाले आशीर्वाद ले गए और जलने वाले जलते रह गए हैं। उन्होंने कहा कि दादा ने अपने पोते को हंसते-हंसते आशीर्वाद दिया है और एक पोते के नाते दुष्यंत चौटाला ने उनके पैर छूकर अपना धर्म निभाया है। दिग्विजय चौटाला ने कहा कि इस बात को लेकर विवाद बनाना सही नहीं है। उन्होंने कहा कि विवाद पैदा करने की कोशिशों से दादा के प्रति हमारे आदर में कोई असर नहीं पड़ेगा, वे हमारे आदरणीय हैं और हमेशा रहेंगे। दिग्विजय मंगलवार को सिरसा में पत्रकारों से रूबरू थे। 

जेजेपी प्रधान महासचिव ने कहा कि जो पार्टी खुद को असुरक्षित महसूस करती है उन्हें भड़ास से भरे बयान जारी करने पड़ते हैं जबकि हमने कभी कुछ नहीं कहा। दिग्विजय ने कहा कि एक शादी समारोह था, जिसमें हमारे दादा जी वहां थे और हमारा धर्म बनता है कि जब वे मिले तो उनके पैरों के हाथ लगाकर उनका आदर सम्मान करें और खुद के लिए बड़े-बुजुर्गों का आशीर्वाद लें। उन्होंने कहा कि दादा जी का आशीर्वाद हंसते-हंसते हुए उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला को मिला है।  

जेजेपी प्रधान महासचिव ने आगे कहा कि पूर्व सीएम ओपी चौटाला जी हमारे आदरणीय हैं और हमेशा रहेंगे। उनके प्रति हमारा आदर कभी कम नहीं होगा, चाहे कोई कितने ही ऐसे बयान जारी करें। दिग्विजय ने कहा कि हमारी राजनीति राहें अलग है क्योंकि इनेलो से हमारे परिवार को निकाला गया था और उसके बाद ही जननायक जनता पार्टी का गठन हुआ।

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