दिवाली की रात को पूर्व सरपंच के परिवार पर किया था हमला. हमलावरों द्वारा फायरिंग में परिवार के 6 लोग हो गए थे घायल. तीन की मौत पहले ही हो चुकी और अब चौथे ने भी तोड़ा दम. दो गंभीर घायल लोग अभी भी जिंदगी और मौत से लड़़ रहे फतह सिंह उजाला पटौदी । पटौदी विधानसभा क्षेत्र के ही मानेसर नगर निगम इलाके के गांव कासन में दीपावाली की रात की गई फायरिंग में पूर्व सरपंच के परिवार के घायल हुए आधा दर्जन लोगों में से चौथे व्यक्ति ने भी सोमवार को उपचार के दौरान दम तोड़ दिया । ताबड़तोड़ की गई फायरिंग में घायल होने वाले 3 लोगों की पहले ही मौत हो चुकी है । सोमवार को फायरिंग में घायल और अस्पताल में उपचाराधीन 40 वर्षीय बलराम की मौत होने की सूचना जैसे ही पीड़ित परिवार और ग्रामीणों को मिली तो ग्रामीणों का गुस्सा पुलिस प्रशासन के खिलाफ फूट पड़ा। परिजनों सहित ग्रामीणों ने मंेदांता अस्पताल के बाहर ही पुलिस प्रशासन पर हमलावरों को गिरफ्तार नहीं करने के मुद्दे को लेकर जमकर बवाल काटा । इतना ही नहीं सोमवार को दम तोड़ने वाले बलराम का शव लेने से भी इनकार कर दिया। गौरतलब है कि दीपावली की रात कासन गांव में पूर्व सरपंच के घर हमलावरों के द्वारा फायरिंग की वारदात को अंजाम दिए जाने की घटना पूरी तरह से सीसीटीवी कैमरे में भी कैद हो गई । इतना ही नहीं सीसीटीवी में हमलावरो के चेहरे साफ पहचाने जा सकते हैं और हमलावरों को फायरिंग के लिए रिवाल्वर के मैगजीन भी बदलते हुए देखा जा सकता है । इस प्रकार के सीसीटीवी फुटेज वायरल भी हो चुके हैं । पीड़ित परिजनों ने सोमवार को मृतक बलराम का शव लेने से इनकार करते हुए दो टूक शब्दों में कहा जब तक पुलिस द्वारा हमलावर आरोपियों का एनकाउंटर नहीं किया जाएगा , तब तक मृतक बलराम का दाह संस्कार भी नहीं करेंगे । बवाल काट रहे ग्रामीणों सहित पीड़ित परिवार के सदस्यों ने यहां तक कहा यदि इस प्रकार का हमला या वारदात यूपी में होती तो योगी सरकार अब तक ऐसे दुर्दांत हमलावरों-अपराधियों का एनकाउंटर भी कर चुकी होती । लेकिन हरियाणा सरकार और पुलिस प्रशासन बदमाशों पर नकेल नहीं कस पा रहा है । वही पीड़ित परिवार को अभी भी लगातार धमकियां मिल रही हैं । इधर सूत्रों के मुताबिक पुलिस के द्वारा इस संगीन वारदात में भागीदार 8 आरोपियों को दबोचा जा चुका है और पुलिस प्रशासन का दावा है कि मुख्य आरोपी के बहुत नजदीक पुलिस के हाथ पहुंच चुके हैं । उसको कभी भी काबू में किया जा सकता है । वही पीड़ित परिवार के द्वारा सवाल उठाए गए कि जब सभी हमला करने वालों की पहचान हो चुकी है और यह सभी 1997 से अपराधिक वारदातों में सक्रिय हैं । ऐसे में पुलिस इस प्रकार के दुर्दांत अपराधियों पर इनाम घोषित क्यों नहीं कर रही है ? पीड़ित परिवार के ही सदस्य के मुताबिक 21 वर्षीय विकास को हमलावरों के द्वारा 20 गोलियां मारी गई, जिसके कारण उसकी मौके पर ही मौत हो गई थी। वहीं 8 वर्षीय बच्चे दक्ष को भी गोलियां मारी । परिवार की ही महिला पर भी हमला किया गया , लेकिन परिवार के पालतू कुत्ते के द्वारा बदमाशों पर झपट्टा मारने के कारण गोली कुत्ते को लगी । कासन गांव के पूर्व सरपंच के परिवार पर हमला करने वालों की पहचान मनीष रिंकू दीपक और अमित के रूप में पहले ही की जा चुकी है । ताबड़तोड फायरिंग में घायलों में से अभी तक विकास, सोमपाल और प्रवीन की पहले ही मात हो चुकी है। वहीं सूत्रों का कहना है कि पुलिस के द्वारा जिन आठ लोगों को गिरफ्तार किया गया है वह सभी फायरिंग की वारदात में शामिल बताए गए हैं । आरोप है कि पुलिस के द्वारा दबोचे जा चुके यह आठ आरोपी सरपंच परिवार पर हमला करने से पहले कई दिनों तक रेकी करते रहे थे । दीपावली की रात की गई फायरिंग में एक के बाद एक 4 मौत एक ही परिवार में होने के बाद अब देखना यह है कि पुलिस प्रशासन कितनी जल्दी और किस हद तक वारदात को अंजाम देने वाले दुर्दांत अपराधियों को अपनी गिरफ्त में लेने में कामयाब हो सकेगा। Post navigation रेवाड़ी-दिल्ली के बीच सभी पैसेंजर ट्रेनों के संचालन की मांग एनजीटी-डीसी को ठेंगा…बढ़ते प्रदूषण पर लगाम के विरुद्ध जन स्वास्थ्य विभाग हुआ बेलगाम