2500 दिनों में 50 लाख किसानों को लगभग 11000 करोड़ रुपये वितरित किए – मनोहर लाल

बड़ी दीर्घकालीन परियोजनाओं के लिए वर्ष 2021-22 में लगभग 8700 करोड़ रुपये का मीडियम टर्म एक्सपेंडिचर फ्रेमवर्क रिजर्व फंड बनाया

82,000 को सिर्फ मेरिट के आधार पर मिली सरकारी नौकरी- मुख्यमंत्री

चंडीगढ़ 30 अगस्त: हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल के कुशल नेतृत्व में राज्य सरकार ने अपने 2500 दिनों के कार्यकाल में भ्रष्टाचार मुक्त, पेपरलैस और फेसलेस शासन के एक नए युग की शुरुआत करने तथा जातिवाद, क्षेत्रवाद और जिलेवार भेदभाव से ऊपर उठते हुए हरियाणा के विकास की एक नई इबारत लिखी है। किसानों के हित के लिए कल्याणकारी योजनाओं से लेकर अंत्योदय की भावना से गरीब से गरीब व्यक्ति का उत्थान करके, युवाओं के लिए पर्याप्त रोजगार के अवसर प्रदान करके और आधारभूत संरचना पर जोर देते हुए हरियाणा के समग्र विकास को सुनिश्चित किया है। अब राज्य सरकार ऐसी योजनाओं पर ध्यान केंद्रित कर रही है, जिसमें ईज ऑफ लिविंग की दिशा में तेजी से आगे बढ़ते हुए प्रदेशवासियों के आर्थिक उत्थान के साथ-साथ हैप्पीनेस इंडेक्स को बढ़ाना है।

मुख्यमंत्री आज यहां राज्य सरकार के कार्यकाल के 2500 दिन पूरे होने के अवसर पर प्रेस वार्ता को संबोधित कर रहे थे।

श्री मनोहर लाल ने कहा कि मुझे यह कहते हुए गर्व हो रहा है कि हमारी सरकार ने पिछले 2500 दिनों में जिस तरह के विकास कार्य, अपनी तरह की नई पहल, लोगों के कल्याण के लिए नई परियोजनाओं की शुरुआत करने से लेकर भविष्य का रोड मैप तैयार करने जैसे कार्य किए हैं, पिछली सरकारें अपने 50 वर्षों के कार्यकाल में भी पूरा करने में विफल रही।

मुख्यमंत्री ने कहा कि वर्ष 2014 में जब उन्होंने मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ली थी, तब से 2500 दिनों में राज्य सरकार ‘सबका साथ सबका विकास-सबका विश्वास-सबका प्रयास’ और ‘हरियाणा एक हरियाणवी एक’ के मंत्र पर चलते हुए सभी 90 विधानसभा क्षेत्रों के समान विकास को सुनिश्चित करते हुए हरियाणा को विकास पथ पर तेजी से ले जाने के लिए समर्पित रूप से काम कर रही है।

पिछले 2500 दिनों में 50 लाख किसानों को लगभग 11000 करोड़ रुपये वितरित किए गए

मुख्यमंत्री ने कहा कि किसानों का हित सदैव राज्य सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता रही है। किसानों के कल्याण के लिए विभिन्न पहल और योजनाएं शुरू की गई हैं और इस विरासत को आगे बढ़ाते हुए विभिन्न योजनाओं के तहत 2500 दिनों में लगभग 50 लाख किसानों के खातों में 11000 करोड़ रुपये सीधे हस्तांतरित किए गए हैं।

किसानों और किसानी के हितों की रक्षा के लिए राज्य सरकार की प्रतिबद्धता को दोहराते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ने कृषि भूमि के आदान-प्रदान में किसानों को राहत प्रदान करते हुए स्टाम्प शुल्क में छूट दी गई है। अब प्रति डीड केवल 5000 रुपये का शुल्क ही लिया जाएगा। पहले इस पर 7 प्रतिशत पंजीकरण शुल्क लगता था।

        उन्होंने कहा कि फसलों के नुकसान की भरपाई के लिए मुख्यमंत्री बगवानी बीमा योजना और बाजार में फसल के कम दाम होने पर उसकी भरपाई के लिए भावांतर भराई योजना चलाई है।

ढांचागत सुधार

मुख्यमंत्री ने कहा कि इन 2500 दिनों में आधारभूत संरचना के मामले में काफी प्रगति की है। उन्होंने कहा कि लंबी अवधि की बड़ी परियोजनाओं के लिए वर्ष 2021-22 में लगभग 8700 करोड़ रुपये का मीडियम टर्म एक्सपेंडिचर फ्रेमवर्क रिजर्व फंड बनाया गया है। 17 नए राष्ट्रीय राजमार्गों घोषित किए गए, इनमें से 11 पर कार्य प्रगति पर है। लगभग 30,000 करोड़ रुपये की लागत से सराय काले खां-पानीपत के बीच रीजनल रैपिड ट्रांजिट सिस्टम कनेक्टिविटी की परियोजना बनाई गई है।

उन्होंने कहा कि लगभग 6000 करोड़ रुपये की लागत से पलवल-सोनीपत और सोहना-मानेसर के लिए हरियाणा ऑर्बिटल रेल कॉरिडोर स्वीकृत किया गया है। सोनीपत के बड़ी में161 एकड़ भूमि पर रेल कोच रिपेयर फैक्टरी स्थापित की जा रही है।

मुख्यमंत्री ने हिसार हवाईअड्डे को एक बड़ी परियोजना बताते हुए कहा कि इस हवाईअड्डे को विकसित करने की दिशा में लगातार कदम उठाए जा रहे हैं। एकीकृत एविएशन हब, हिसार न केवल हरियाणा के नागरिक उड्डयन क्षेत्र में क्रांति लाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा, बल्कि हवाई प्रशिक्षण, हवाई संचालन और मरम्मत आदि के क्षेत्र में रोजगार की अपार संभावनाएं भी सुनिश्चित करेगा।

उन्होंने कहा कि करनाल, गुरुग्राम, फरीदाबाद और पंचकूला को स्मार्ट सिटी के रूप में विकसित किया जा रहा है और हरियाणा में और भी नए स्मार्ट सिटी विकसित किए जाएंगे। बड़े शहरों के समग्र विकास को सुनिश्चित करने के लिए गुरुग्राम, फरीदाबाद और पंचकुला में मेट्रोपॉलिटन डेवलपमेंट अथॉरिटी स्थापित की गई है।

2500 दिन मिशन मेरिट पर केंद्रित, 82 हजार युवाओं को मेरिट पर मिली सरकारी नौकरी

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार के कार्यकाल में 82,000 से अधिक युवाओं को मेरिट के आधार पर सरकारी नौकरी दी गई है।

उन्होंने कहा कि हमने पेपर लीक या नकल के दोषी दो साल तक भर्ती परीक्षा से वंचित करने, दो से दस साल तक की सजा और पांच हजार से दस लाख रुपये तक के जुर्माने का प्रावधान किया है। इसके लिए हरियाणा लोक परीक्षा अनुचित साधन निवारण विधेयक, 2021 पारित करवाया गया है।

उन्होंने कहा कि युवाओं को सरकारी नौकरी के लिए बार – बार आवेदन न करना पड़े, इसके लिए एकल पंजीकरण  सुविधा शुरू की गई है। बार – बार परीक्षा व समय की बचत के लिए ‘ कॉमन पात्रता परीक्षा का प्रावधान किया है ।

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश के युवाओं को अधिक से अधिक रोजगार के अवसर उपलब्ध करवाने के लिए निजी क्षेत्र के उद्यमों में उन्हें 75 प्रतिशत आरक्षण दिया गया है । इसके अलावा, युवाओं को स्वरोजगार के अवसर देने के लिए प्रदेश में 2,000 हरहित स्टोर खोले जाएंगे । इनके अलावा 1718 पैट्रोल पंपों पर भी ये स्टोर खोले जाएंगे।

अंत्योदय की भावना से अंतिम व्यक्ति को लाभ पहुंचाना

मुख्यमंत्री ने कहा कि किसी भी कल्याणकारी सरकार का यह संवैधानिक और नैतिक दायित्व है कि वह गरीबों की हर संभव मदद करे ताकि उनका आर्थिक उत्थान सुनिश्चित हो सके और उन्हें मुख्यधारा में लाया जा सके।  इसलिए अंत्योदय के लक्ष्य को पूरा करने के लिए श्रमिकों, गरीबों और अनुसूचित जाति और पिछड़े वर्ग से सबंधित लोगों, महिलाओं तथा बुजुर्गों के कल्याण और उत्थान के लिए कई कदम उठाए गए हैं।

उन्होंने कहा कि हम सबसे पहले उन लोगों पर ध्यान केंद्रित कर रहे हैं जिनकी आय सबसे कम है। ऐसे परिवारों के जीवन स्तर को ऊपर उठाने के लिए ‘मुख्यमंत्री अंत्योदय परिवार उत्थान योजना’ लागू की गई है। इसके प्रथम चरण में सबसे गरीब 2 लाख परिवारों की पहचान करके उनकी न्यूनतम वार्षिक आय 1 लाख रुपये करने का लक्ष्य है। उन्होंने कहा कि अब तक 48,000 परिवारों की पहचान की जा चुकी है, हमारा लक्ष्य ऐसे प्रत्येक परिवार की वार्षिक आय कम से कम 1.80 लाख रुपये करने का लक्ष्य रखा है।

उन्होंने कहा कि बीपीएल परिवारों की वार्षिक आय सीमा 1.20 लाख रुपये से बढ़ाकर 1.80 लाख रुपये कर दी गई है, ताकि अधिक से अधिक परिवारों को कल्याणकारी योजनाओं का लाभ मिल सके।

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना के तहत 27 लाख परिवारों के 1.22 करोड़ लोगों को नवंबर 2021 तक मुफ्त राशन दिया जाएगा। विभिन्न सामाजिक सुरक्षा पेंशन योजनाओं के तहत दी जा रही पेंशन राशि को बढ़ाकर  2500 रुपये प्रति माह की है।

उन्होंने कहा कि राज्य में सभी कोविड-19 रोगियों का इलाज और टीकाकरण नि:शुल्क किया जा रहा है। बीपीएल परिवारों के कोरोना मरीजों का निजी अस्पतालों में भी मुफ्त इलाज किया गया। होम आइसोलेशन में रहे कोरोना मरीजों को 5-5 हजार रुपये की आर्थिक सहायता दी जा रही है।

उन्होंने कहा कि कोविड-19 महामारी के कारण अनाथ हुए बच्चों के पुनर्वास और आर्थिक सहायता के लिए मुख्यमंत्री बाल सेवा योजना शुरू की गई है।  इसके तहत प्रति बच्चा 2500 रुपये मासिक सहायता दी जा रही है।

भ्रष्टाचार के प्रति जीरो टॉलरेंस

मुख्यमंत्री ने कहा कि व्यवस्था परिवर्तन का मुख्य उद्देश्य भ्रष्टाचार पर रोक लगाना था। हमने एक – एक कर भ्रष्टाचार के सभी रास्तों को बंद किया। फिर चाहे सी.एल.यू. क नाम पर लूट को बंद करना था, सरकारी नौकरियां सिर्फ मेरिट बेस पर देने का प्रकल्प था या अध्यापकों के तबादलों में ऑनलाइन सिस्टम लाने का संकल्प था, चाहे मिट्टी के तेल के खेल को बंद कर हर गरीब को मुफ्त गैस सिलेंडर देने की सोच थी, या गरीबों के राशन, पैंशन, वजीफों, सब्सिडी में चल रहे फर्जीवाड़े को आई.टी. का प्रयोग करके खत्म करने की बात थी।

उन्होंने कहा कि हाल ही में राज्य सरकार ने आउटसोर्सिंग से जुड़ी सेवाओं में ठेका प्रथा बंद करने के लिए हरियाणा कौशल रोजगार निगम ‘ बनाने का निर्णय लिया है । इसी प्रकार कर्मचरियों की सब समस्याओं के निपटान के लिए मानव संसाधन विभाग बनाने की स्वीकृति दी है । परिवहन विभाग में भ्रष्टाचार पर रोक लगाने के लिए ‘ ऑप्रेशन शुद्धि ‘ के तहत डी.टी.ओ. के पद बनाए ।

सुशासन सुधार

मुख्यमंत्री ने कहा कि सुशासन का अर्थ है कि प्रशासन में पारदर्शिता व जवाबदेही हो, जो पक्षपात रहित हो और जिसमें गरीब की सुनी जाए । हम जनसेवा के पहले दिन से ही इस बात के लिए जुट गये कि प्रशासनिक प्रक्रिया में जवाबदेही हो, सरकारी कामकाज करवाने में बिचौलियों की दखलांदाजी न हो और लोगों को अपने कामों के लिए सरकारी कार्यालयों के चक्कर न काटने पड़ें।  इसके लिए सुशासन हेतु नई प्रभावी पहल की गई जिसे केंद्र सरकार ने भी सराहा।

उन्होंने कहा कि सुशासन के लिए की गई नई-नई कारगर पहलों का परिणाम है कि राष्ट्रपति श्री राम नाथ कोविंद ने हरियाणा को डिजिटल इंडिया अवार्ड 2020 से सम्मानित किया था।

विवादों को दूर करने के लिए विवादों से समाधान

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य के लोगों द्वारा उठाई गई हर एक शिकायत को दूर करने और प्रत्येक विभाग के लंबे समय से लंबित मुद्दों को हल करने के उद्देश्य से ‘विवादों से समाधान’ शुरू किया गया।

उन्होंने कहा कि हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण (एचएसवीपी), हरियाणा राज्य औद्योगिक एवं अवसंरचना  विकास निगम (एचएसआईडीसी), हरियाणा राज्य कृषि विपणन बोर्ड (एचएसएएमबी), नगर एवं ग्राम आयोजना विभाग आदि के ब्याज, दंडात्मक ब्याज, वैट व जीएसटी, परिवहन कर, खनन बकाया और स्टांप शुल्क जैसे सरकारी बकायों व अन्य विवादों के निपटान के लिए विवादों का समाधान शुरू किया गया।

मुख्यमंत्री ने कहा कि कई योजनाओं के क्रियान्वयन में हरियाणा सरकार अन्य राज्यों के लिए रोल मॉडल बना है।राज्य के गांवों को ‘लाल डोरा’ से मुक्त बनाने का अभियान जो विशेष रूप से हरियाणा सरकार द्वारा शुरू किया गया था, बाद में केंद्र सरकार द्वारा प्रधानमंत्री स्वामित्व योजना के नाम से पूरे देश में लागू किया गया। अब तक 1710 गांव लाल डोरा मुक्त किए जा चुके हैं।

जल संरक्षण को बढ़ावा देने के लिए उठाए कई कदम

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा जल संरक्षण को बढ़ावा देने के लिए कई कदम उठाए जा रहे हैं। इसके अलावा, रिड्यूस, रिसाइकिल व रीयूज की नीति पर काम कर रहे हैं। राज्य सरकार ने गंदे पानी का सदुपयोग करने के लिए ट्रीटेड वेस्ट वाटर पॉलिसी बनाई है।

श्री मनोहर लाल ने कहा कि फसल विविधीकरण के तहत धान की फसल के स्थान पर वैकल्पिक फसल की बुवाई के लिए  मेरा पानी मेरी विरासत योजना शुरू की गई है। इसके अन्तर्गत फसल विविधीकरण अपनाने वाले किसानों को 7000 रुपये प्रोत्साहन राशि दी जा रही है। इसके अलावा,  राज्य सरकार द्वारा पानी के उचित प्रबंधन के लिए जल द्विवार्षिक योजना भी शुरू की गई है।

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