आठवीं की छात्रा सिमरन ने उत्तीर्ण की राष्ट्रीय छात्रवृत्ति परीक्षा. छात्रा खुशी में क्लियर किया नवोदय विद्यालय का एग्जाम. दोनों छात्राएं मऊ लोकरी हाई स्कूल में कर रही हैं पढ़ाई फतह सिंह उजालापटौदी । मेहनत इतनी खामोशी से करो… कि सफलता शोर मचा दे । कोरोना महामारी के दौरान बीते 1 वर्ष में पटौदी देहात के मऊ लोकरी गवर्नमेंट हाई स्कूल की छात्राओं के द्वारा कुछ ऐसा ही किया गया कि आज स्कूल की मुख्य अध्यापिका सहित स्कूल स्टाफ और गांव में खुशी का माहौल है। शुक्रवार को स्कूल परिसर में इन दोनों छात्राओं सिमरन और खुशी का स्कूल की मुख्य अध्यापिका राजबाला सहित अध्यापक वर्ग में महेंद्र सिंह, राम सिंह, ललित, किशोर, सुदेश, सरोज, रेखा यादव के द्वारा अभिनंदन और प्रोत्साहन किया गया । स्कूल की मुख्य अध्यापिका सरोज बाला ने बताया की छात्रा सिमरन पुत्री गणपत कक्षा आठ की छात्रा के द्वारा हाल ही में राष्ट्रीय छात्रवृत्ति एग्जाम क्लियर किया गया है । अब छात्रा सिमरन को इस योजना के तहत कक्षा नवमी से कक्षा बारहवीं तक प्रतिमा 1000 की छात्रवृत्ति प्रदान की जाएगी । इसी प्रकार से छात्रा खुशी पुत्री विजयपाल के द्वारा नवोदय विद्यालय के एंट्रेंस एग्जाम क्लियर किए गए हैं । नया शिक्षा सत्र आरंभ होते ही अब छात्रा खुशी फर्रुख नगर स्थित नवोदय विद्यालय में कक्षा 9 में अपना एडमिशन करवाएगी । उन्होंने बताया कोरोना महामारी के दौरान स्कूलों में अवकाश और अनलॉक होने के बाद स्कूल खुलने पर इन दोनों छात्राओं की पढ़ाई के प्रति लगन और निष्ठा को ध्यान में रखते हुए स्कूल प्रबंधन ने दोनों छात्राओं को गणित-अंग्रेजी जैसे विषयों में पढ़ाई करने के लिए प्रोत्साहित करते हुए इन्हें अपनी पढ़ाई बाधा रहित करने के लिए पूरा सहयोग किया। इसके साथ ही दोनों छात्राओं ने एकाग्र चित्त होकर अपनी पढ़ाई को जारी रखा । जिसका परिणाम यह सामने आया है कि छात्रा सिमरन ने राष्ट्रीय छात्रवृत्ति परीक्षा उत्तीर्ण की और छात्रा खुशी के द्वारा नवोदय विद्यालय के एंट्रेंस एग्जाम क्लियर किए गए। उन्होंने कहा ग्रामीण अंचल में भी पहले के मुकाबले अब अध्यापक वर्ग और छात्र-छात्राएं किसी भी प्राइवेट स्कूलों के मुकाबले पढ़ाई के क्षेत्र में टक्कर देने के लिए तैयार हैं। अभिभावकों को भी अपने बच्चों को प्राइवेट स्कूलों की बजाए सरकारी स्कूलों में एडमिशन दिलवाना चाहिए। सरकारी स्कूलों का बोर्ड का परीक्षा परिणाम प्राइवेट स्कूलों से कहीं अधिक बेहतर और श्रेष्ठ बीते कई वर्षों से सभी के सामने आ रहा है । गरीब परिवार की दोनों छात्राएंराष्ट्रीय छात्रवृत्ति के लिए चयनित छात्रा सिमरन और नवोदय विद्यालय में एडमिशन लेने वाली छात्रा खुशी दोनों के ही परिवार की आर्थिक स्थिति बहुत ज्यादा अच्छी नहीं है । स्कूल परिसर में जब छात्रा सिमरन से राष्ट्रीय छात्रवृत्ति एग्जाम को लेकर बात की गई तो वह भवुक भी हो गई । उसने अपनी इस उपलब्धि का सारा श्रेय मुख्य अध्यापिका सरोज बाला सहित अध्यापकों को दिया । सिमरन के मुताबिक स्कूल में अतिरिक्त कक्षाएं लगाकर सभी अध्यापकों के द्वारा राष्ट्रीय छात्रवृत्ति परीक्षा में उत्तीर्ण करने के लिए प्रोत्साहित किया गया और भरोसा दिलाया गया कि वह इस परीक्षा को बिना किसी परेशानी के पास कर सकती है । छात्रा सिमरन के पिता एक हादसे में गहरे कुएं में गिर गए थे, जिसके कारण उनकी कमर में गंभीर चोटें आई और सिमरन के पिता गणपत आज पूरी तरह से सीधे खड़े होने में भी सक्षम नहीं है। फिर भी उन्होंने मनरेगा में मजदूरी कर कर अपनी दो लड़कियों और एक लड़के की पढ़ाई को तमाम परेशानियों को झेलते हुए जारी रखा । इसी प्रकार से छात्रा खुशी के पिता विजयपाल की भी आर्थिक स्थिति बहुत ज्यादा अच्छी नहीं है । वह भी मेहनत मजदूरी करने वाले साधारण ग्रामीण है ,लेकिन फिर भी खुशी की पढ़ाई के लिए खुशी-खुशी हर परेशानी को झेलते चले आए। जिसका परिणाम आज यह सामने आया है कि छात्रा खुशी आगामी सत्र से नवोदय विद्यालय में रहकर कक्षा बारहवीं तक अपनी पढ़ाई पूरी कर सकेगी। Post navigation नवजात की देखभाल और पुनर्जीवन पर कार्यशाला आयोजित काबू में नहीं कोरोना : गुरुग्राम में 864 नए पॉजिटिव केस, पटौदी के 67