रेवाड़ी, 3 फरवरी 2021 – स्वयंसेवी संस्था ग्रामीण भारत के अध्यक्ष एवं हरियाणा प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रदेश प्रवक्ता वेदप्रकाश ने केन्द्र सरकार, हरियाणा भाजपा खट्टर सरकार व केन्द्रीय मंत्री राव इन्द्रजीत सिंह से सार्वजनिक रूप से पूछा कि 28 फरवरी 2019 को मनेठी एम्स के लिए स्वीकृत 1299 करोड़ रूपये की बजट राशी कहां है? विद्रोही ने कहा कि मनेठी एम्स के लिए 28 फरवरी 2019 मेें 1299 करोड़ रूपये का बजट स्वीकृत करके एम्स निर्माण के लिए लम्बे-चौड़े दावे किये गए थे, लेकिन एम्स निर्माण के नाम पर विगत दो सालों से एक ईंट भी नही लगी है और अभी तक यह भीे नही मालूम है एम्स आखिर बनेगा कहां और बनेगा भी या नही।

विगत दो सालों से हरियाणा भाजपा सरकार मनेठी एम्स के लिए जमीन मामला सुलझाने की बजाय जमीन मुददे को फुटबाल बनाकर इधर-उधर किक मार रही है। सवाल उठता है कि जो सरकार एम्स स्वीकृति के दो साल बाद भी एम्स के लिए जमीन अधिग्रहित नही कर सकी है, वह सरकार एम्स निर्माण मेें कितनी गंभीर है, इस पर टिप्पणी बेमानी है। विद्रोही ने कहा कि जब माजरा के किसान एम्स के लिए 200 एकड़ जमीन देने को तैयार है तो सरकार इस जमीन को अधिग्रहित करने की बजाय मुआवजे के नाम पर जमीन लेने से क्यों भाग रही है?

जब एम्स जैसे प्रतिष्ठित स्वास्थ्य संस्थान का 1299 करोड़ रूपये का बजट कहां गया, यह कोई जानता ही नही है तो सहज अनुमान लगा ले कि मोदी सरकार की विभिन्न विकास परियोजनाओं और उनके लिए कथित रूप से आवंटित बजट की स्थिति क्या होगी। बजट रखते समय मोदी सरकार संसद में लम्बे-चौड़े दावेे ठोकती है, फर्जी आंकडों से जनता को मूर्ख बनाती है पर बजट में आंवटित धन कहां खर्च हुआ और नही हुआ तो क्यों नही हुआ, इसका जवाब देने में अपनी जवाबदेही से भाग जाती है।

 विद्रोही ने कहा कि इसी तरह कांग्रेस-यूपीए सरकार में बिनौला गुडग़ांव में स्वीकृत रक्षा विश्वविद्यालय पर मोदी सरकार ने विगत छह सालों में एक ईंट भी नही लगाई जबकि डिफेंस यूनिवर्सिटी बिनौला के लिए 200 एकड़ जमीन कांग्रेस शासन में ही अधिग्रहित करके उसकीे चारदीवारी बनाकर केन्द्र ने कब्जा भी ले लिया था। जब दक्षिणी हरियाणा के दीर्घकालिक प्रभाव वाले दो महत्वपूर्ण प्रोजेक्ट मनेठी एम्स व डिफेंस यूनिवर्सिटी बिनौला की यह स्थिति है तो सहज अनुमान लगा ले कि अन्य प्रोजेक्टस की स्थिति क्या होगी?

विद्रोही ने आरोप लगाया कि दक्षिणी हरियाणा के लिए कांग्रेस जमाने के महत्वपूर्ण प्रोजेक्टस पर विगत छह सालों में क्या तो काम ही शुरू नही हुआ और यदि हुआ है तो वह कछुआ गति से हो रहा है जिसमें महिनों का काम वर्षो में भी पूरा नही हो रहा है। चाहे केन्द्र की मोदी सरकार हो या हरियाणा की भाजपा खट्टर सरकार, उसका दक्षिणी हरियाणा के विकास कार्यो के प्रति सौतेला व्यवहार है। विद्रोही ने दक्षिणी हरियाणा के लोगों से अपील की कि वे गंभीरता से विचारे कि भाजपा को एकतरफा जनसमर्थन देने से उनको क्या मिला है? विगत छह सालों में भाजपा सरकार ने दक्षिणी हरियाणा को विकास के नाम पर केवल धोखा ही दिया है। 

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