Haryana Chief Minister Mr. Manohar Lal addressing Digital Press Conference regarding preparedness to tackle Covid-19 in the State at Chandigarh on March 23, 2020.
 28 को पानीपत में होगी किसान आंदोलन के दूसरे चरण की घोषणा

चंडीगढ़, 23 जुलाई। भारतीय किसान यूनियन के प्रदेशाध्यक्ष रतनमान ने कहा कि केंद्र सरकार की ओर से लाए गए कथित किसान हितैषी तीनों अध्यादेशों को लेकर किसानों में भ्रम की स्थिति बनी हुई है। जिसकों लेकर प्रदेश के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने तुरंत श्वेत पत्र जारी करके स्थिति को स्पष्ट करना चाहिए।

भाकियू के तत्वाधान में इस मामले को लेकर जिला उपायुक्तों को प्रदर्शन करके ज्ञापन भी सौंपे जा चुके है। इसके उपरांत भी सरकार चुप्पी साधे हुए है। प्रदेश सरकार ने 28 जुलाई से पूर्व इस संबंध में स्थिति को स्पष्ट नही किया गया तो आने वाली 28 जुलाई को पानीपत स्थित भाकियू मुख्यालय में आयोजित होंने वाली प्रदेश स्तरीय मासिक किसान पंचायत में आंदोलन के दूसरे चरण के तहत प्रदेशव्यापी बड़ा आंदोलन शुरू करने की घोषणा की जाएगी। दूसरे चरण के आंदोलन की अंतिम रूपरेखा प्रदेश स्तरीय किसान पंचायत में तैयार की जाएगी।

उन्होंने कहा कि संसद का सत्र शुरू होंने से पूर्व एक रणनीति के तहत प्रदेश के सभी सांसदों के घरों के बाहर किसान पंचायत बिठाने का निर्णय भी लिया जा सकता है। जिसकी जिम्मेंदारी प्रदेश सरकार की होगी। भाकियू प्रदेश अध्यक्ष रतनमान ने कहा कि किसानों के मुद्दों पर राजनीति नही होनी चाहिए। इससे किसानों के हितों पर ठेस पंहुचती है। मुख्यमंत्री मनोहर लाल से केंद्र के तीनों अध्यादेशों पर बने संसय को दूर करने के लिए रतनमान ने किसान संगठनों सहित सभी राजनेतिक दलों के नेताओं के साथ जल्द ही सांझी किसान पंचायत आयोजित किए जाने का आह्वान किया। ताकि किसानों के सामने इन अध्यादेशों के संबंध में बनी भ्रम की तस्वीर साफ हो सके। उन्होंने कहा कि इस स्थिति में प्रदेश सरकार ने फसलों के घोषित समर्थन मुल्य पर खरीद गांरटी का अविलंब कानून बनाना चहिए। ताकि किसान के हित सुरक्षित रह सके।

error: Content is protected !!