सरकार को अपने विकास कार्यों पर भरोसा है तो बरोदा से उपचुनाव ख़ुद लड़ें खट्टर, मैं उनके सामने चुनाव लड़ने को तैयार • स्वाभिमानी है बरोदा की जनता, उसे नहीं चाहिए अपराध, लूट-खसोट और घोटालों की सरकार में हिस्सेदारी- हुड्डा• ज़िम्मेदार पद पर बैठकर मुख्यमंत्री को नहीं करनी चाहिए सत्ता में हिस्सेदारी जैसी हल्की टिप्पणी- हुड्डा• चीन और कोरोना से परेशान है पूरी दुनिया और करप्शन, क्राइम व कास्टिज्म की चपेट में है हरियाणा की जनता- हुड्डा• गोहाना में शहीद हुए पुलिसवालों के परिजनों को यूपी की तरह 1-1 करोड़ रुपये आर्थिक मदद और सरकारी नौकरी दे सरकार- हुड्डा• भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने दोनों पुलिसवालों के घर जाकर शहीदों को दी श्रद्धांजलि, परिवार के प्रति प्रकट की संवेदनाएं 5 जून, सोनीपतः पूर्व मुख्यमंत्री और नेता प्रतिपक्ष भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने मौजूदा मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर को चुनौती देते हुए कहा कि अगर सरकार को अपने विकास कार्यों पर भरोसा है तो CM खट्टर को ख़ुद बरोदा उप-चुनाव में बतौर उम्मीदवार उतरना चाहिए। अगर खट्टर उप-चुनाव लड़ते हैं तो मैं उनके सामने चुनाव लड़ने के लिए तैयार हूं। अगर ऐसा होता है तो 2024 के बजाए बरोदा उप-चुनाव में ही सरकार के विकास कार्यों और उसकी लोकप्रियता का फ़ैसला हो जाएगा। नेता प्रतिपक्ष ने मुख्यमंत्री खट्टर के बरोदा में दिए बयान को गैर ज़िम्मेदाराना करार दिया। मुख्यमंत्री ने कहा था कि अगर बरोदा की जनता सरकार में हिस्सेदारी चाहती है तो बीजेपी को वोट दे। भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने कहा कि ज़िम्मेदार पद पर बैठकर मुख्यमंत्री को ऐसी हल्की बयानबाज़ी नहीं करनी चाहिए। उन्हें हिस्सेदारी का प्रलोभन देने के बजाय बरोदा की जनता को आश्वासन देना चाहिए था कि वो यहां का विकास करवाएंगे, क्योंकि वो बरोदा समेत पूरे हरियाणा के मुख्यमंत्री हैं। हुड्डा ने कहा कि 6 साल राज करने के बाद भी मुख्यमंत्री के पास बरोदा में गिनवाने के लिए एक भी काम नहीं है। जबकि कांग्रेस सरकार के दौरान बरोदा में बिजली, पानी, रोजगार, सड़क, स्कूल, स्वास्थ्य, सिंचाई, कृषि और व्यापार हर क्षेत्र में जमकर विकास हुआ। सच तो ये है कि बरोदा ही नहीं बीजेपी सरकार के पास पूरे हरियाणा में गिनवाने के लिए कोई भी बड़ा काम नहीं है। बीजेपी सरकार ने प्रदेश पर कर्ज़ को बढ़ाकर 60 हज़ार करोड़ से 2 लाख करोड़ कर दिया। बावजूद इसके बीजेपी ने पूरे कार्यकाल में कोई बड़ी यूनिवर्सिटी, मेडिकल कॉलेज, बड़ा संस्थान, बड़ा उद्योग, नयी रेलवे लाइन या मेट्रो लाइन स्थापित नहीं की। मौजूदा सरकार से ग़रीब, मध्यम वर्ग, मजदूर, दुकानदार, व्यापारी और कर्मचारी समेत हर वर्ग दुखी है। सबसे ज़्यादा मार किसान पर पड़ रही है। एक तरफ कोरोना तो दूसरी तरफ तेल की कीमतें और सरकार की नीतियां किसान की दुश्मन बन बैठी हैं। बीजेपी 2022 तक किसान की आय दोगुनी करने का वादा करती है। लेकिन, लगातार खेती की लागत को दोगुना करने की दिशा में काम कर रही है। पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि आज देश और प्रदेश की जनता 5-C से घिरी हुई है। चीन और कोरोना से तो पूरी दुनिया ही परेशान है। लेकिन हरियाणा की जनता पर करप्शन, क्राइम और कास्टिज्म की अलग मार पड़ रही है। कांग्रेस सरकार में जो हरियाणा विकास, निवेश, खेलकूद और रोजगार में अव्वल हुआ करता था, वो आज क्राइम, करप्शन, बेरोजगारी और नशे में टॉप पर है। क्राइम का आलम ये है कि आज ना आमजन सुरक्षित है और न ही पुलिस वाले। सरेआम हत्याएं हरियाणा में आम बात हो गई है। उन्होंने कहा कि गोहाना में जिन दो पुलिसवालों की हत्या की गई है उनके परिवारों की मांग मानते हुए सरकार को उन्हें यूपी की तरह 1-1 करोड़ रुपये आर्थिक मदद और परिवार में एक-एक सरकारी नौकरी देनी चाहिए। भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने ड्यूटी के दौरान शहीद हुए दोनों पुलिसवालों के घर जाकर उन्हें श्रद्धांजलि दी और परिजनों के प्रति अपनी संवेदनाएं प्रकट की। हुड्डा ने कहा कि क्राइम ही नहीं करप्शन के मामले में भी बीजेपी सरकार नए रिकॉर्ड स्थापित कर रही है। धान ख़रीद, माइनिंग और शराब घोटाला सबके सामने है। घोटालों की जांच के लिए सरकार के भीतर ही किसी तरह का समन्व्य देखने को नहीं मिलता। शराब घोटाले की जांच को एसआईटी और एसईटी के फेर में उलझा कर रफा-दफा कर दिया गया। आजतक असली दोषियों पर कोई कार्रवाई नहीं हुई। बाकी घोटालों की भी जांच करने के बजाय, उन्हें ढंकने का काम किया गया। भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने इसके बाद गोहाना में भी प्रेस वार्ता की। इस दौरान उनके साथ पूर्व सांसद धर्मपाल मलिक, पूर्व स्पीकर कुलदीप शर्मा, पूर्व केंद्रीय मंत्री जयप्रकाश, पूर्व मंत्री अशोक अरोड़ा, विधायक जगबीर मलिक, सुरेन्द्र पंवार, जयवीर वाल्मीकि, पूर्व विधायक जयतीर्थ दहिया, सुखबीर फरमाना, स्व. विधायक श्री कृष्ण हुड्डा के बेटे जितेंद्र हुड्डा, पार्टी नेता प्रदीप गौतम, सुरेन्द्र शर्मा, सुरेन्द्र दहिया, प्रदीप सांगवान, मनोज रिढाऊ, अशोक सारोहा, रवि इंदौरा, अशोक छाबड़ा, निखिल मदान, कमल हसीजा, कर्नल रोहित चौधरी, कमला भांवड़, रणदीप दहिया, संजीव दहिया, जयवीर आंतिल, अशोक नरवाल, सतीश कौशिक, डॉक्टर कुलबीर, बिजेंद्र मलिक, भूपेन्द्र गहलोत, संजय खत्री, नीलम बाल्यान, भरपाई चहल, कमलेश पांचाल, देवेन्द्र कादियान, जयपाल कादियान, कृष्ण मलिक, शीला अंतिल, रीना मलिक, हवा सिंह ठेकेदार, प्रमोद भगत, सुशील मलिक, जगबीर मलिक, पवन बंसल, बिजेंद्र गर्ग, सोनू प्रजापति, इंदुराज नरवाल, साहिल नरवाल, रविन्द्र मोर, जोगेंद्र दुभेट्टा, धर्मवीर चोपड़ा, सत्यप्रकाश शर्मा, रणजीत कौशिक, संतोष गुलिया, ललित दीवान, सुरेश भारद्वाज, हरेंद्र सैनी, सतीश चेयरमैन, सतबीर निर्माण, वीरेंद्र सांगवान, अनिल निम्बडिया,जंगशेर नूरण खेड़ा समेत कई नेता, कार्यकर्ता मौजूद थे।* Post navigation प्रदेश में 1000 पार्क-व्यायामशालाएं स्थापित करने का लक्ष्य: मनोहर लाल एसडीएस कार्यालय के क्लर्क को विजिलेंस की टीम ने सोमवार को गिरफ्तार किया