किसी भी कीमत पर गौचर भूमि में कूड़ा-कचरा नहीं डालेगा.
फर्रूखनगर क्षेत्र की जनता ने किया राव का आभार प्रकट  .
राव बोले इलाके के लोगों की मंशा के अनुरूप काम होगा

फतह सिंह उजाला

पटौदी। गुरूग्राम लोकसभा सांसद एवं केन्द्रीय राज्य मत्री राव इंद्रजीत सिंह के अथक प्रयासों से  नगरपालिका फर्रुखनगर की 25 एकड़ गौचरभूमि  पर नगर निगम गुरुग्राम के कूडा डाले जाने का मामला रद्ध हो गया है । क्षेत्र की जनता ने मंत्री का आभार प्रकट किया ।

गौचर भूमि में कूड़ा डालने के मामले को लेकर इलाके के गणमान्य लोगो का पांच सदस्यीय एक प्रतिनिधिमंडल गुरुग्राम लोस क्षेत्र से सांसद एवं केन्द्रीय मन्त्री माननीय राव इंद्रजीत सिंह से मिला और समस्या से अवगत कराया । राव से मिलने पहुंचे प्रतिनिधि मण्डल मे प्रमुख कार्यकर्ता चन्दन राव बाबड़ा, पार्षद नरेश राव एडवोकेट, पार्षद जितेन्द्र सैनी एवं देशराज प्रधान शामिल रहे । उन्होंने नगर निगम गुरुग्राम द्वारा  गौरचण भूमि फरुखनगर में कूडा डाले जाने के  विरोध में इलाके की तरफ से एक ज्ञापन भी सौंपा था  । राव इन्द्रजीत सिहं  ने प्रतिनिधि मंडल को आश्वासन दिया कि वह इस मामले में क्षेत्र की जनता के साथ है। इस विषय पर उन्होने आश्वासन दिया कि किसी भी कीमत पर फरुखनगर की गौचर भूमि में कूड़ा नहीं डालने दिया जाएगा । इलाके के लोगों की मंशा के अनुरूप काम होगा । नियमों को ताक पर रखकर नगर निगम गुरुग्राम का कूडा डाले जाने की कार्यवाही को लेकर क्षेत्र के लोगों में भारी आक्रोश था । जिसके  विरोध स्वरुप क्षेत्र के लोगों की पंचायते बुला रोष प्रकट करने का दौर चल रहा था

देश राज प्रधान, नरेश राव पार्षद,  जय भगवान लम्बरदार, चांदन सिंह बावडा, जितेन्द्र सैनी पार्षद, पूर्व नगर पार्षद नीरू शर्मा, राव मामन सिंह, नन्द किशोर यादव, राव बाल किशन ताजनगर, सरपंच गोविंद फाजिलपुर, मनोज सरपंच मौक्लवास, विजय पंडित, धर्मबीर कौशिक खडेवला, पूर्व वाईस चेयरमैन सुरेश गुरावलिया, दीपक राव, सतीश यादव, ज्ञानचन्द आदि ने आभार प्रकट करते हुए बताया कि निगम का कूडा फर्रुखनगर में ना डाला जाये, इस विषय को लेकर वे सीएम से बात करेंगे । ताकि क्षेत्र के लोगों को किसी प्रकार की समस्या का सामना नही  करना पड़ेगा ।  

ज्ञापन मे कहा गया है था कि नगरपालिका फर्रुखनगर के अंर्तगत 25 एकड़ भूमि गौचारे के लिए  तत्कालीन भूपतियों द्वारा चकबंदी के समय छोडी थी। गौचरण का भूजल मीठा है। जबकि इसके अलावा सारी जगह नमकीन पानी है।समय समय पर इस भूमि पर डिग्री कॉलेज, खेल का मैदान, पार्क, गरीब परिवारों को प्लाट आंवटित करने के अलावा इस भूमि को समतल करके कृषकों को पटटे पर देने  के कार्य के लिए कई बार प्रयास किये गए। लेकिन लेकिन तत्कालीन सरकारों  द्वारा गौ चारे की भूमि का हवाला देकर उक्त मांगो को अस्वीकृत कर दिया गया। इस भूमि में जन स्वास्थ्य एवं अभियांत्रिकी विभाग द्वारा 8 टयूबैल पेयजल के लिए लगाए  हुए  है। जिससे शहर में पेयजल सप्लाई होता रहा। उन्होने बताया कि   गौचारे के  चारो तरफ आबादी बसी हुई। लेकिन नगर निगम गुरुग्राम इस भूमि पर अपना कूडा कचरा डालने पर तुला हुआ था  । निगम द्वारा कूडा डालने के लिए तैयार प्रौजेक्ट के तहत जेसीबी, ट्रैक्टर, ट्राली के माध्यम से कार्य भी शुरु करवा दिया गया था  । क्षेत्रवासियों के विरोध के बाद नपा पार्षदों ने जनहित को ध्यान में रखते हुए निगम द्वारा भेजे गए प्रस्ताव  को सर्वसम्मति से नामंजूर कर दिया। उन्होंने बताया कि राव इन्द्रजीत सिंह के अथक प्रयासों से नगर निगम का कूडा फर्रूखनगर में डलने से रूका है ।

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