गांवों व शहरों में हुए मतदान का प्रतिशत अलग-अलग देखा जाये तब स्थिति बहुत साफ है कि बदलाव की सोच के साथ मतदान करने वाले ग्रामीणों ने बडी तादाद में वोट किया है: विद्रोही

वहीं बदलाव की चाह रखने वाले मतदाताओं ने तो शहरी क्षेत्र में मतदान किया है, लेकिन भाजपा समर्थक शहरी मतदाताओं ने मतदान के प्रति रूचि नही दिखाई : विद्रोही  

26 मई 2024 – स्वयंसेवी संस्था ग्रामीण भारत के अध्यक्ष वेदप्रकाश विद्रोही ने हरियाणा में शांतिपूर्ण ढंग से लोकसभा चुनाव सम्पन्न होने पर प्रदेश के सभी नगारिकों को हार्दिक बधाई दी। जिस तरह हरियाणावासियों ने भयंकर गर्मी में भी  लगभग 65 प्रतिशत मतदान किया, वह बताता है कि हरियाणा का नागरिक कितना जागरूक व अनुशासित है।

विद्रोही ने कहा कि 65 प्रतिशत मतदान हरिायाणा की पुरानी रिवायत के अनुसार 5 से 6 प्रतिशत कम है, पर इसके लिए भयंकर गर्मी व शहरों में भाजपा समर्थकों की मतदान के प्रति उपेक्षा रही है। यदि गांवों व शहरों में हुए मतदान का प्रतिशत अलग-अलग देखा जाये तब स्थिति बहुत साफ है कि बदलाव की सोच के साथ मतदान करने वाले ग्रामीणों ने बडी तादाद में वोट किया है। वहीं बदलाव की चाह रखने वाले मतदाताओं ने तो शहरी क्षेत्र में मतदान किया है, लेकिन भाजपा समर्थक शहरी मतदाताओं ने मतदान के प्रति रूचि नही दिखाई। 

विद्रोही ने कहा कि हजारों वर्षो से सभी को पता है कि मई के अंतिम सप्ताह व जून की 1 से 3 तारीख तक धरती से सूर्य की दूरी बहुत कम रहने से भयंकर गर्मी पडती है, जिसे देसी भाषा में नौतपा कहा जाता है। सवाल उठता है कि इस तथ्य को जानते हुए भी चुनाव आयोग ने 20 मई तक सारा चुनाव सम्पन्न करवाने की बजाय एक जून तक क्यों खींचा, यह समझ से परे है। छह चरणों का चुनाव गवाह है कि चुनाव आयोग ने निष्पक्षता, स्वतंत्रता से चुनाव करवाने की अपनी संवैद्यानिक जिम्मेदारी निभाने की बजाय भाजपा को लाभ कैसे हो, इसके लिए अपनेे संवैद्यानिक अधिकारों का खुला दुरूपयोग किया है जो सभी नागरिकों के लिए बडी चिंता का विषय है।   

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