– तत्कालीन खेल मंत्री के खिलाफ दर्ज है मामला,8 महीनो से अब तक चार्जशीट नही हुई दायर
— महिला कोच ने कहा,सच बोलने और अन्याय के खिलाफ आवाज उठाने का नतीजा निष्कासन से मिला

चंडीगढ़ , 17 अगस्त 2023 – हरियाणा के राज्य मंत्री संदीप सिंह पर खेल विभाग की महिला कोच द्वारा छेड़छाड़ और बलात्कार की कोशिश करने के आरोपों के साथ 8 महीने पहले चंडीगढ़ पुलिस में शिकायती दर्ज करवाई गई थी जिसके चलते चंडीगढ़ पुलिस ने धारा 354, 354ए, 354बी, 342,506 आईपीसी के तहत मामला दर्ज किया था और बाद में 509 आईपीसी को जोड़ा गया था।हालांकि इस पूरे मामले के लिए चंडीगढ़ पुलिस द्वारा स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम का गठन भी किया गया परंतु 8 महीनो में अब तक पुलिस द्वारा न तो चार्जशीट दायर की गई और न ही राज्यमंत्री संदीप सिंह को गिरफ्तार किया गया।पूरे मामले में अब नया मोड़ तब आया है जब महिला कोच को खेल विभाग के निदेशक द्वारा बिना कोई ठोस कारण बताए निष्कासित कर दिया गया। इस मामले को लेकर मुख्यमंत्री मनोहर लाल और राज्य मंत्री संदीप सिंह पर आरोप लगाते हुए महिला कोच ने चंडीगढ़ प्रेस क्लब में एक प्रेस वार्ता में पत्रकारों को संबोधित करते हुए बातचीत की और राज्यमंत्री संदीप सिंह के निलंबन की मांग की।उन्होंने कहा कि एक व्यक्ति पर गैर जमानती धाराओं में मामला दर्ज हैं परंतु उसपर कोई कार्यवाही न होते हुए शिकायतकर्ता को ही नौकरी से सस्पेंड किया गया है जो इस बात का संदेश देता है कि कोई भी महिला अपने साथ हुए अन्याय के लिए आवाज न उठाए।

महिला कोच का कहना है कि उनके ऊपर निरंतर मामले को वापिस लेने का दबाव बनाया जा रहा था ,अब भी उन्हे मुख्यमंत्री मनोहर लाल से मिलने का दबाव बनाया गया जबकि उन्होंने मामले को वापिस लेने और अपने बयानों से मुकरने से मना किया तो उन्हे खेल विभाग द्वारा सस्पेंड करके सच बोलने और अन्याय के खिलाफ आवाज उठाने का तोहफा दिया गया।उनका यह भी कहना हैं कि पहले उनकी ट्रेनिंग बंद की और अब उन्हे सस्पेंड ही कर दिया जोकि नियमो के विरुद्ध है।

महिला कोच का आरोप है कि उनका निष्कासन मुख्यमंत्री मनोहर लाल के इशारे पर हुआ है क्योंकि उन्होंने मुख्यमंत्री मनोहर लाल से मिलकर मामले को वापिस लेने के लिए मना कर दिया।इसके साथ ही जब हाल ही में संदीप सिंह को झंडा फहराने के लिए सरकार की ओर से भेजने के आदेश जारी हुए तो उन्होंने मुख्यमंत्री निवास के बाहर जाकर इसका विरोध भी दर्ज करवाने की कोशिश की परंतु जिस प्रकार से शुरू से ही मुख्यमंत्री मनोहर लाल राज्य मंत्री संदीप सिंह को बचाने में लगे है उससे यह साफ तौर पर सामने आ रहा है कि राज्य मंत्री संदीप सिंह पर कोई कार्यवाही न होना प्रदेश सरकार द्वारा संदीप सिंह को दिए संरक्षण का नतीजा है।

महिला कोच ने प्रेस वार्ता को संबोधित करते हुए यह भी कहा कि जो भाजपाई कुलदीप सेंगर द्वारा बलात्कार और पीड़िता के परिजनों पर अत्याचार, ब्रजभूषण सिंह के व्याभिचार पर आहत नही हुए वो आहत होने के शब्द ढूंढते फिर रहे हैं।ये वही भाजपाई हैं जिनके राज में हाथरस में एक बलात्कार पीड़िता दलित बेटी को पुलिस आधी रात को मिट्टी का तेल डालकर चिता मे जला डालती है।ये वही भाजपाई हैं जिनके खट्टर साहब एक शारीरिक शोषण के आरोपी को मंत्री बनाकर साथ लिए बैठे हैं और पीड़िता की प्रताड़ना की जा रही है।ये ‘बेटी बचाओ, बेटी पटाओ’ का नारा देने वाले महापुरुष की पार्टी जवाब दे।

एनसीआरबी की रिपोर्ट के अनुसार हरियाणा में खट्टर साहब की सरपरस्ती में एक साल में महिलाओं के खिलाफ अत्याचार में 27% कई वृद्धि क्यों हो गई?एक साल में महिलाओं के खिलाफ अत्याचार के 3658 मामले बढ़ गए जिनमे से 1716 अकेले बलात्कार के हैं।प्रदेश में महिला अपराधों के मामलों का पेंडेंसी रेट 93% पर पहुंच गया है और कनविक्शन रेट मात्र 18% है।असल मे जिस मुख्यमंत्री को महिलाओं के जीन्स पहनने पर ही आपत्ति हो उसकी पार्टी से और क्या उम्मीद हो सकती है?

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