जिन किसानों ने बिजली नलकूप कनैक्शन लेने के लिए बिजली निगमों के पास पूरा पैसा जमा करवा रखा है, उन्हे कनैक्शन देने की बजाय सोलर पम्प कनैक्शन लेने को कहा जा रहा है : विद्रोही
किसान को बिजली नलकूप कनैक्शन लेना या सोलर पम्प कनैक्शन, यह खुद किसान का अधिकार है। सरकार उस पर अपनी मनमर्जी कैसे थोप सकती है? विद्रोही

16 जून 2023 – स्वयंसेवी संस्था ग्रामीण भारत के अध्यक्ष एवं हरियाणा प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रवक्ता वेदप्रकाश विद्रोही ने आरोप लगाया कि एक ओर हरियाणा भाजपा सरकार दक्षिणी हरियाणा के अहीरवाल क्षेत्र को प्रदेश के अन्य क्षेत्रों की तुलना में बराबर नहरी पानी नही देती है। वहीं शेष हरियाणा में 40 से 80 प्रतिशत जमीन नहरी पानी से सिंचित होती है जबकि दक्षिणी हरियाणा के रेवाडी, महेन्द्रगढ़ व गुरूग्राम जिले में मात्र 2 से 3 प्रतिशत ही जमीन नहरी पानी से सिंचित होती है जबकि 97 से 98 प्रतिशत जमीन बिजली व डीजल आधारित नलकूपों से सिंचित होती है। विद्रोही ने कहा कि अहीरवाल कीे विशेष परिस्थितियों के मध्यनजर बिजली नलकूप कनैक्शन देने में इस क्षेत्र को भाजपा सरकार बनने से पहले प्राथमिकता मिलती रही थी। लेकिन 2014 के बाद भाजपा राज आने के बाद अहीरवाल को बिजली नलकूप कनैक्शन मिलना ही एक मृगतृष्णा बन गया। भाजपा सरकार इस क्षेत्र को बिजली कनैक्शन देने के लिए लम्बे-चौड़े दमगज्जे तो मारती है, लेकिन बिजली नलकूप कनैक्शन नाम मात्र का देती है। अब तो भाजपा सरकार बिजली नलकूप कनैक्शन मांगने वाले उपभोक्ताओं को कनैक्शन देने की बजाय सोलर पम्प कनैक्शन देने को बाध्य कर रही है। 

विद्रोही ने कहा कि जिन किसानों ने बिजली नलकूप कनैक्शन लेने के लिए बिजली निगमों के पास पूरा पैसा जमा करवा रखा है, उन्हे कनैक्शन देने की बजाय सोलर पम्प कनैक्शन लेने को कहा जा रहा है। इसका उदाहरण देते हुए उन्होंने बताया कि कनीना के एक किसान को दक्षिणी हरियाणा बिजली वितरण निगम से 7 जून 2023 को क्रमांक संख्या एन-24-एस/9-265 दिनांक 09.05.2019 के आवेदन अनुसार 7.5 बीएसपी का टयूबवैल कनैक्शन दिया जायेगा, पर उसे बिजली कनैक्शन की बजाय सोलर पम्प का कनैक्शन मिलेगा और वह बिजली निगम की पोर्टल पर 15 जून 2023 तक सोलर पम्प का चयन कर ले और यदि उसने ऐसा नही किया तो उसको कनैशन नही मिलेगा। विद्रोही ने सवाल किया कि किसान को बिजली निगम जबरन सोलर पम्प कनैक्शन क्यों दे रहा है जबकि बिजली नलकूप कनैक्शन के लिए आवेदन किया था। दक्षिणी हरियाणा को एक ओर नहरी पानी नही दिया जा रहा तो वहीं बिलली नलकूप कनैक्शन देने में भी भाजपा सरकार मना करके उस पर दोहरी मार कर रही है। यह किसानों के साथ अन्याय है। किसान को बिजली नलकूप कनैक्शन लेना या सोलर पम्प कनैक्शन, यह खुद किसान का अधिकार है। सरकार उस पर अपनी मनमर्जी कैसे थोप सकती है?े बिजली निगमे दक्षिणी हरियाणा के किसानों पर अपनी मनमर्जी थोपने की बजाय किसान की इच्छानुसार बिजली नलकूप कनैक्शन दे ताकि यहां का किसान अपनी परिस्थितियों अनुसार अपने खेतों की सिंचाई कैसे हो, इसकी प्राथमिकता वह खुद तय कर सके।