राज्य चौकसी ब्यूरो द्वारा 15 जांचें पूरी कर अंतिम रिपोर्ट सरकार को भेज दी…..

चार राजपत्रित अधिकारियों, 7 अराजपत्रित अधिकारियों तथा सात प्राइवेट व्यक्तियों के विरुद्ध आपराधिक मुकद्दमा दर्ज करने का सुझाव

चंडीगढ़, 20 अप्रैल -हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल की भ्रष्टाचार के प्रति जीरो टोलरेंस नीति पर कार्य करते हुए राज्य चौकसी ब्यूरो द्वारा सरकार के आदेशों पर फरवरी, 2022 के दौरान दो नई जांचें दर्ज की गई और इसके अलावा, ब्यूरो ने 15 जांचें पूरी कर अंतिम रिपोर्ट सरकार को भेज दी।

ब्यूरो के एक प्रवक्ता ने आज यहां यह जानकारी देते हुए बताया कि ब्यूरो ने इनमें से चार जांचों में चार राजपत्रित अधिकारियों, 7 अराजपत्रित अधिकारियों तथा सात प्राइवेट व्यक्तियों के विरुद्ध आपराधिक मुकद्दमा दर्ज करने का सुझाव दिया है। इसी प्रकार, दो जाचों में दो अराजपत्रित अधिकारियों के विरुद्ध विभागीय कार्रवाई करने की सिफारिश की है तथा एक जांच में एक राजपत्रित अधिकारी व एक अराजपत्रित अधिकारी के विरूद्घ विभागीय कार्रवाई व आपराधिक मुकद्दमा दर्ज करने तथा दो प्राइवेट व्यक्तियों के विरुद्ध आपराधिक मुकद्दमा दर्ज करने का सुझाव दिया है।

प्रवक्ता ने बताया कि इसके अलावा ब्यूरो द्वारा तीन विशेष चेंकिग/तकनीकी जांच की रिपोर्ट भी सरकार को भेजी गई, जिसमें संबंधित 2 कार्यों में तीन राजपत्रित अधिकारियों, दो अराजपत्रित अधिकारियों तथा संबंधित एजेंसी से 16,84,573 रुपये वसूलने की सिफारिश की गई।

प्रवक्ता ने बताया कि इसी अवधि के दौरान जिन 12 अधिकारियों, कर्मचारियों व उनके सहयोगियों को 1,000 रुपये से 1,40,000 रुपये तक की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार कर उनके विरुद्घ भ्रष्टïाचार निवारण अधिनियम,1988 के तहत मामले दर्ज किए गए, उनमें नगर निगम, फरीदाबाद के अधीक्षक अभियंता रवि शर्मा व लेखाकार रवि शंकर को 1,40,000 रुपये, खाद्य एवं आपूर्ति विभाग, फरीदाबाद के वजन एवं मापन अनुभाग के निरीक्षक राजबीर सिंह को 60,000 रुपये, केन्द्रीय सहकारी बैंक बाटा, पलवल के शाखा प्रबंधक उजेन्द्र सिंह को 25,000 रुपये, दक्षिण हरियणा बिजली वितरण निगम, छैंसा, फरीदाबाद के लाइन मैन, मान सिंह को 26,000 रुपये, हरियाणा परिवहन जींद के नाजर श्री भगवान को 10,000 रुपये, चीका, कैथल के थाना प्रबंधक, निरीक्षक जयवीर को 5,000 रुपये, दक्षिण हरियणा बिजली वितरण निगम,पलवल के एएलएम, हरि ओम को 5,000 रुपये, नगर निगम, गुरुग्राम के लिए सर्वेक्षक का कार्य कर रहे मैसर्ज यशी कंसल्टिंग सर्विस प्राईवेट लिमिटेड की अंशु पराशर को 2,000 रुपये, केन्द्रीय थाना फरीदाबाद के उप-निरीक्षक जय चन्द को 1,000 रुपये की रिश्वत लेते हुए पकड़ा जाना शामिल है।  इसके अलावा, ब्यूरो ने शिकायत के आधार पर थाना सदर नूंह के सहायक उप-निरीक्षक महेश व एसडीएम कार्यालय रादौर के सेवानिवृत लिपिक रणजीत सिंह के विरूद्घ शिकायत के आधार पर मामले दर्ज किए गए हैं।

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