अगले माह हरियाणा आएगा क्यूबा देश का प्रतिनिधिमंडल.
क्यूबा के साथ सूचना प्रोद्योगिकी, फार्मा और विमानन क्षेत्र में भी सहयोग की संभावनाएं तलाशी जाएंगी

चंडीगढ़, 2 अप्रैल- हरियाणा में विदेशी निवेश को आकर्षित करने और राज्य के आर्थिक विकास में वृद्धि के उद्देश्य से निर्यात को बढ़ावा देने के प्रदेश सरकार के प्रयासों के फलस्वरूप लैटिन अमेरिका देशों क्यूबा और चिली ने हरियाणा से बासमती चावल की खरीद के लिए रूची व्यक्त की है। इसके लिए क्यूबा देश का प्रतिनिधिमंडल अगले माह हरियाणा का दौरा करेगा। 

विदेश सहयोग विभाग के प्रवक्ता ने आज यह जानकारी देते हुए बताया कि हैफेड के चेयरमैन श्री कैलाश भगत, प्रबंध निदेशक श्री ए. श्रीनिवास और विदेश सहयोग विभाग के सलाहकार श्री पवन चौधरी ने भारत में क्यूबा के राजदूत एलेजांद्रो सिमंकास मारिन तथा चिली के राजदूत श्री जुआन अंगुलो के साथ बैठक कर हरियाणा के साथ विभिन्न क्षेत्रों में परस्पर सहयोग पर चर्चा की।

बैठक के दौरान क्यूबा और चिली ने हरियाणा से बासमती चावल की खरीद के लिए रूची व्यक्त की है। इसके अलावा, क्यूबा द्वारा सूचना प्रोद्योगिकी, फार्मा और विमानन क्षेत्र में भी सहयोग करने की संभावनाएं तलाशी जाएंगी। इसलिए क्यूबा देश का प्रतिनिधिमंडल अगले माह हरियाणा का दौरा करेगा।

क्यूबा और चिली के द्वारा हरियाणा से बासमती चावल की खरीद करने से एक ओर जहां प्रदेश के निर्यात का ग्राफ बढ़ेगा तो वहीं दूसरी ओर इन देशों के साथ हरियाणा के व्यापारिक और द्विपक्षीय संबंधों में भी मजबूती आएगी।

क्यूबा और चिली देशों के राजदूत ने हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल की सोच और दूरदर्शिता की भी सराहना करते हुए कहा कि हार्ट टू हार्ट कनेक्ट रिलेशनशिप की जो पहल श्री मनोहर लाल ने की है वह अपने आप में अनूठी और प्रशंसनीय है।

चिली देश के राजदूत श्री जुआन अंगुलो ने कहा कि हम पहले से भी भारत सरकार के साथ मिलकर कार्य कर रहे हैं और हमें खुशी है कि हरियाणा ने हमसे संपर्क किया है। निश्चित तौर पर क्यूबा हरियाणा के साथ अपने संबंधों को आगे बढ़ाएगा।

प्रवक्ता ने बताया कि हरियाणा सरकार निरंतर अन्य देशों के साथ द्विपक्षीय संबंधों को बढ़ावा देने के लिए अथक प्रयास कर रही है। इसी कड़ी में अफ्रीकी देशों के साथ हरियाणा-अफ्रीका कॉन्कलेव सीरीज़-1 का आयोजन किया गया था और 27 मार्च, 2022 को सूरजकुण्ड, फरीदाबाद में लैटिन अमेरिका और कैरेबियन देशों के प्रतिनिधिमंडल के साथ भी बैठक की गई थी, जिसमें 11 देशों के प्रतिनिधिमंडल ने भाग लिया था।

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