जिले के केवल तीन छात्र ही यूक्रेन से निकालने की जद्दोजहद रहेगी
बसपा नेता ने यूक्रेन में फंसे भारतीय छात्र को जल्द भारत लाने की मांग

भारत सारथी/ कौशिक

नारनौल। जिले के 14 मेडिकल छात्र अभी भी यूक्रेन से नहीं लौटे हैं। इनमें से तीन छात्र यूक्रेन के सुम्मी शहर में हैं,जबकि शेष 11 यूक्रेन की सीमाओं पर आ चुके हैं और संभवत: बृहस्पतिवार को स्वदेश लौट आएंगे।

16 छात्र अभी तक घर लौट चुके हैं। यूक्रेन में फंसे छात्रों के स्वजन अभी तक भारी परेशानी में रहे हैं और उन्होंने सरकार से मदद की गुहार लगाई है। हालांकि बृहस्पतिवार के बाद जिले के केवल तीन छात्र ही यूक्रेन से निकालने की जद्दोजहद रहेगी और शेष सभी लौट चुके होंगे। यह हमारे लिए सबसे बड़ी राहत की खबर रहेगी।

खुफिया विभाग, प्रशासनिक अधिकारी भी इन छात्रों से लगातार संपर्क साध रहे हैं, ताकि उनकी मदद की जा सके। उनके स्वजनों को भी हिम्मत बंधाने के लिए जिले के अधिकारी उनके घरों में जा रहे हैं,ताकि उनको चिता से मुक्त किया जा सके। खबरची ने पड़ताल कर पता लगाया है कि जिले के 17नहीं, बल्कि 30 छात्र यूक्रेन में गए हुए थे। इनमें से 16 छात्र जैसे-तैसे कर वापस लौटने में कामयाब हो चुके हैं। इसके साथ ही यह भी पता लगाया गया है कि बुधवार दोपहर तक कौन छात्र कहां पर है। उपायुक्त के निर्देश पर सभी एसडीएम, सीटीएम, तहसीलदार, बीडीपीओ और डीडीपीओ की ड्यूटी लगाई गई है।

ये छात्र अभी भी हैं यूक्रेन के रास्ते में
  1. पियूष अटेली किव से लिव के लिए रवाना हो चुके हैं
  2. प्रदीप भोजावास(नांगल चौधरी) पौलेंड में हैं
  3. धीर सिंह वार्ड नंबर तीन पौलेंड में हैं
  4. अनमोल शर्मा नारनौल रोमानिया रोज गार्डन में हैं
  5. गौरव नहर कालोनी महेंद्रगढ़ हंगरी बार्डर मेडिकल कालोनी
  6. अजय कुमार शर्मा इसराना रोमानिया में हैं।
  7. आदित्य वर्मा वार्ड नंबर तीन कनीना रोमानिया में हैं।
  8. अंजली यादव रिवासा सुम्मी यूक्रेन में हैं।
  9. अरिदम बाग नारनौल रोमानिया में हैं।
  10. विपिन यादव आदर्श कालोनी महेंद्रगढ़ सुम्मी यूक्रेन में हैं।
  11. दीपक कुमार सतनाली हंगरी में हैं।
  12. अनिरुद्ध माजरा खुर्द रोमानिया में
  13. अभिमन्यु पाथेड़ा सुम्मी यूक्रेन में हैं।

14 अमित सुरहेती जाखल सलोवाकिया के रास्ते में

16 छात्र आ चुके हैं घर

भूषण अटेली. साक्षी छाबड़ा कनीना. दीपक मोहल्ला सैनीपुरा महेंद्रगढ़. विनिता जाटवास महेंद्रगढ़. तनुबाई सेहलंग

शीतल वार्ड चार नांगल चौधरी. अभिमन्यु रघुनाथपुरा. प्रवीण कुमार नारनौल. रितिका मालड़ाबास . हर्ष यादव सिहोर कनीना. अंकित गावड़ी जाट. हर्षवर्धन मोहल्ला सैनीपुरा . विशू मोहल्ला बास. सत्यवान यादव खासपुर

चार दिन तक भूखे-प्यासे रहे पियूष कीव से हुए रवाना

बमों की बरसात। जलते बड़े-बड़े भवन और भारी गोलाबारी के बीच यूक्रेन से बुधवार को राहत भरी खबर आई है। खारकीव में फंसे अटेली के मेडिकल छात्र पियूष को आखिरकार कीव में लिविया के लिए ट्रेन मिल गई है। उनके साथ 400 भारतीय छात्र भी इस दौरान साथ हैं। पिछले चार दिन से इन छात्रों को खाने-पीने का भारी संकट झेलना पड़ा है और भूखे प्यासे दर-दर भटक रहे थे।

पियूष के मोबाइल की बैटरी जवाब दे चुकी है। इस कारण फोन बंद हो गया है। पियूष के पिता सुरेंद्र सिंह पर पिछले चार दिन कयामत की तरह गुजरे हैं। रूस की सेनाएं लगातार खारकीव पर हमला कर रही हैं और यूक्रेन में सबसे ज्यादा तबाही भी खारकीव में ही हुई है। पियूष भी इसी शहर में फंसा हुआ था। भारतीय दूतावास बंद हो चुका है और इस वजह से छात्रों को दूतावास के अधिकारियों से संपर्क साधने में भी भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। पियूष व उसके साथी छात्र जैसे-तैसे खारकीव से कीव तक पहुंचे और कीव में बुधवार सुबह एक ट्रेन लिविया के लिए मिल गई। इस ट्रेन में 400 भारतीय छात्र यात्रा कर रहे हैं। सुरेंद्र सिंह बताते हैं कि ये छात्र

बुधवार रात तक पौलेंड बार्डर पहुंचेंगे। यहां पर पौलेंड से भारतीय दूतावास की बस उन्हें पौलेंड हवाई अड्डे तक लेकर जाएगी। संभावना है कि बृहस्पतिवार सुबह तक ये छात्र भारत लौट सकेंगे।

यूक्रेन से लौटे छात्र से घर जाकर मिले एसडीएम

एसडीएम दिनेश बुधवार को रूसी सेना के आक्रमण के कारण यूक्रेन में फंसे महेंद्रगढ़ के दीपक के घर जाकर उनसे मुलाकात की। उन्होंने अन्य छात्रों के संबंध में भी जानकारी हासिल की। गौरतलब है कि रूसी सेना द्वारा यूक्रेन पर हुए आक्रमण के कारण भारत से पढ़ाई करने गए छात्र वहां पर फंस गए थे। यूक्रेन में सभी एयरपोर्ट बंद होने के कारण छात्रों को अन्य देशों के माध्यम से भारत लाया जा रहा है। इस कार्य के लिए भारत सरकार ने कई मंत्रियों की जिम्मेदारी यूक्रेन के आसपास के देशों में लगाई हुई है। शहर महेंद्रगढ़ का दीपक पुत्र राजेश मंगलवार को सरकार के प्रयासों से अपने घर सकुशल पहुंच गया। उनके सकुशल पहुंचने की सूचना पर एसडीएम दिनेश सुबह उनके घर जाकर उनका हालचाल पूछा। दीपक ने हरियाणा सरकार के प्रयासों की सराहना की। उन्होंने बताया कि यूक्रेन में हालत बहुत खराब है। विभिन्न देशों के छात्र वहां फंसे हुए हैं। आसपास के देशों में अपने मंत्रियों की जिम्मेदारी लगाकर भारतीय छात्रों को वहां से निकालने में भारत सरकार ने काफी बड़े कदम उठाए हैं।

यूक्रेन में फंसे भारतीय छात्र को जल्द भारत लाने की मांग

बहुजन समाज पार्टी के नेता समाजसेवी अतरलाल एडवोकेट ने यूक्रेन युद्ध में भारतीय छात्र की मौत तथा अन्य छात्रों की वतन वापसी में हो रही देरी पर चिता प्रकट करते हुए केंद्र तथा राज्य सरकार से भारतीय छात्रों तथा नागरिकों की तत्काल सकुशल भारत लाने की मांग की है। इस संबंध में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी तथा हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहरलाल को भेजे दो अलग-अलग ज्ञापनों के बारे में जानकारी देते हुए अतरलाल ने कहा कि युद्ध शुरू होने के सात दिन बाद तक भी सरकार देश के सभी छात्रों व नागरिकों को भारत लाने में विफल रही है। परिणामस्वरूप हमला ग्रस्त यूक्रेन में छात्र व नागरिक दहशत तथा मौत के साए में जीने को मजबूर हैं। उन्होंने कहा कि यूक्रेन में करीब 18 हजार भारतीय छात्र हैं। इनमें से काफी छात्र अभी यूक्रेन में फंसे हुए हैं। उन्होंने कहा कि सभी छात्रों को सकुशल लाना सरकार का दायित्व तथा जिम्मेवारी है। इसलिए सरकार को सभी भारतीयों को सुरक्षित निकालने के लिए कारगर और त्वरित प्रयास करने चाहिए। उन्होंने यूक्रेन में मेडिकल की पढ़ाई कर रहे सभी छात्रों को यहां भारत के मेडिकल कालेजों में समायोजित करने की मांग भी की।

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