हरियाणा में ‘‘कानून व्यवस्था का निकला दिवाला अपराधी बेखौफ, जनता भयभीत : रणदीप सिंह सुरजेवाला

संगठित अपराध को खट्टर सरकार का प्रत्यक्ष या परोक्ष संरक्षण : रणदीप सिंह सुरजेवाला

हिसार, 28 नवम्बर।  (प्रवीन कुमार)-   : हरियाणा अपराध की गिरफ्त में है। कानून व्यवस्था मृतप्राय है, चारों ओर गुंडों का शासन है, जनता भयभीत है और भाजपा-जजपा सरकार ‘गुम’ है। अपराधियों और गुंडों ने दुकानदारों व व्यापारियों से फिरौती लूटने व संपत्तियों पर कब्जा करने के अड्डे हरियाणा के शहरों में स्थापित कर लिए हैं। पुलिस के सरंक्षण में आपराधिक घटनाओं को बेखौफ होकर अंजाम दिया जाता है। यह बयान रणदीप सुरजेवाला, महासचिव भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस ने हिसार के कांग्रेस भवन में पत्रकार वार्ता के दौरान दिए।

उन्होंने कहा कि फिरौती मांगना, व्यापारियों की प्रॉपर्टी व दुकानों पर कब्जा करना और धमकाना आम बात है। पुलिस प्रशासन हाथ पर हाथ धरे बैठे रहता है। खुलेआम गुंडागर्दी है और कानून व्यवस्था का दिवाला पिट चुका है।

हिसार के ऑटो मार्केट व्यापारी विपिन थरेजा से 25 लाख रु. की फिरौती नामजद गुंडों द्वारा सरेआम मांगी जा रही है। ये वही बदमाश हैं, जिन्हें खट्टर सरकार में नाजायज तरीके से छोडक़र पेरोल पर भगा दिया गया और अब जान की आफत बने हैं।

एकमहीना आजाद नगर, हिसार में गुंडों द्वारा सतिंदर ठेकेदार को गोली मार दी। यही नहीं, पूरे हिसार में दुकानदार, व्यापारी व व्यवसायी भयभीत है तथा खौफ का आलम है।

23 नवंबर को हिसार के पड़ोस में जींद में जिस प्रकार प्रमुख व्यापारी श्याम सुंदर बंसल की गोली मारकर हत्या की, उसने अपने आप में प्रदेश के व्यापारी समुदाय में दहशत का माहौल पैदा कर दिया है।

सच यह है कि संगठित अपराध का बोलबाला अब पूरे प्रदेश में है और खट्टर सरकार हाथ पर हाथ रखे बैठी है। कल ही बड़ोदा, उचाना में तथा असंद में बैंक डकैती की घटनाओं ने भय का आलम पैदा कर दिया है। कैथल, मॉडल टाउन में एक व्यापारी दंपत्ति की हत्या तथा पुंडरी में व्यापारी से 50 लाख रु. मांगने का मामला दर्शाता है कि संगठित अपराध ने पूरे प्रांत में जड़ पकड़ ली है। सिवानी मंडी व तोषाम में भी व्यापारियों को गुंडों का निशाना बनाया जा रहा है। गुडग़ांव व फरीदाबाद में तो गैंग वार अब आम बात हो गई है।

अपहरण, डकैती, फिरौती व धमकाने जैसी आपराधिक घटनाओं को पूरे हरियाणा में एक संगठित गिरोह अंजाम दे रहा है। भाजपा-जजपा सरकार आँख मूंदे बैठी और अपराधियों को प्रत्यक्ष या परोक्ष संरक्षण दे रही है। सवाल यह है कि क्या प्रदेश में ‘अपराधियों का शासन’ है या फिर ‘गुंडों और बदमाशों’ का? श्री दुष्यंत चौटाला और मुख्यमंत्री, श्री मनोहर लाल खट्टर एक शब्द नहीं बोलते। समय आ गया है कि या तो गुंडों और बदमाशों के खिलाफ निर्णायक कार्रवाई हो, नहीं तो मुख्यमंत्री व उपमुख्यमंत्री को सत्ता में बने रहने का एक क्षण भी अधिकार नहीं।

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