Tag: –प्रियंका सौरभ रिसर्च स्कॉलर इन पोलिटिकल साइंस

‘हाईकमान’ संस्कृति, लोकतांत्रिक मूल्यों का निरादर…..

एक बार राष्ट्रीय पार्टी के राज्य में सत्ता हासिल करने के बाद मुख्यमंत्री के चयन में पार्टी आलाकमान के पास असंगत रूप से बड़ा विवेक होता है, राज्य के विधायकों…

दिवाली का बदला स्वरूप …….

दिवाली के शुभ अवसर पर हमारे देश में रोशनी, मिठाईयां, सुख-समृद्धि और सौभाग्य की बात करने की परंपरा है लेकिन विडंबना ये है कि आज के दौर में दिवाली के…

तैयारी अफसर की, प्रश्न मंत्रियों के निजी जीवन के, सब इंस्पेक्टर पुलिस का पेपर बना मजाक, रद्द होना चाहिए

चेयरमैन की माफ़ी से क्या युवाओं के सपने पूरे हो जायेंगे, किसी ने आत्म हत्या कर ली तो जिम्मेवार कौन ? तैयारी अफसर की और प्रश्न मंत्रियों के निजी जीवन…

हरियाणा में सरकारी भर्ती परीक्षा में 5-10-20 नम्बर देना सीधा अत्याचार है.

सभी रिजर्वेशन के बाद मेरिट ही एकमात्र आधार होना चाहिए चयन का लेकिन जब ओपन केटेगरी में भी 5-10-20 अंक सोसिवेकनोमिक के आ जाएं तो मेरिट कहाँ जाए? पति नौकरी…

दरकता अमेरिकी लोकतंत्र और भारत की उम्मीदें

भविष्य में भारत- अमेरिका संबंध बिडेन प्रशासन के तहत कैसे रहेंगे ये अभी भविष्य के गर्त में है.भारत को संवेदनशील मुद्दों पर कड़ी बातचीत करने के लिए तैयार रहना चाहिए।…

धार्मिक दुकानों, मृत्युभोज और महंगी शादियां पर लगे प्रतिबन्ध

(अब हम सभी को ऑल इन वन धार्मिक स्थलों की आवश्यकता है) – — —-प्रियंका सौरभ रिसर्च स्कॉलर इन पोलिटिकल साइंस,कवयित्री, स्वतंत्र पत्रकार एवं स्तंभकार, कोरोना महामारी ने जहाँ पूरी…

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