मृतका के भाई की शिकायत पर ससुराल पक्ष पर मामला दर्ज. पुलिस ने शव को फंदे से उतरवा पोस्ट मार्टम के लिए भेजा फतह सिंह उजाला पटौदी। गांव खुर्रमपुर की ढाणी राम जी लाल में शनिवार को पुलिस ने एक महिला को हत्या करके फांसी के फंदे पर लटकाये जाने के मामले में मृतका के पति, सास, ससुर के खिलाफ मृतका के भाई की शिकायत पर विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज करके जांच शुरु कर दी है। मामले की सत्यता की जांच के लिए एफएसएल टीम ने भी मौके की तहकीकात के बाद साक्ष्य जुटाये। मृतका के परिजनों की मौजूदगी में पुलिस ने शव को फंदे से उतरवा कर पोस्ट मार्टम के लिए भेज दिया। समाचार लिखे जाने तक किसी की गिरफ्तारी नहीं हुई थी। घटना की सूचना मिलते ही ग्रामीणों की मौके पर भीड़ जमा हो गई।पुलिस को दिए बयान में विजय पुत्र बलबीर सिंह निवासी धारुहेडा जिला रेवाड़ी ने बताया कि उसने अपनी बहन बबन पुत्री बलबीर सिंह की शादी सुनील उर्फ मोनू निवासी ढ़ाणी रामजीलाल के साथ करीब 12 वर्ष पहले की थी। शादी के कुछ समय उपरांत ही मोनू उर्फ सुनील व उसके माता पिता बबन के यह कह कर प्रताड़ित करने लगे कि तेरी तो दूसरी शादी हो रही है। तेरे घर वालों ने कम दहेज दिया है। मारपीट करके यह धमकी भी देते थे कि तुझे मार कर अपने लड्के की दूसरी शादी कर देंगे। इस प्रकार की प्रताड़ना व जान बचाने के लिए बबन अपनी बड़ी बहन जोकि पडो़स में ही रहती है उसके घर पहुंच जाती थी। मारपीट, दहेज प्रताडना को लेकर कई बार पंचायत भी कई। जिसमें बबन के ससुराल वालों ने माफी मांग कर आगे कानूनी कार्रवाई नही करने की गुजारिस की। वर्ष 2015-16 में जिले सिंह पुत्र रामेहर, कमलेश पत्नी जिले सिंह, सुनील उर्फ मोनू पुत्र जिले सिंह के खिलाफ थाना फर्रुखनगर में दी लिखित शिकायत पर भी उपरोक्त दोषियों ने पांच गांवों के बीच में आगे प्रताडित ना करने सम्बंधित मांफी मांगी और पंचायती तौर पर फैंसला भी हुआ। दिनांक 12 जून 2021 को सुबह साढे 7 बजे सूचना मिली की बबन ने फांसी लगा ली है। सूचना के उपरांत वह अपनी बहन बबन के घर ढाणी राम जी लाल पहुंचा और मौके पर कमरे के दरवाजे के साथ लगी खिडकी की एंगल से बंधी चुन्नी से बबन का मृतक शरीर लटका हुआ था। उसके दोनों पैर जमीन पर टिके और मुडे हुए थे। उन्होंने तुरंत पुलिस को सूचना दी। उपरोक्त दोषियों ने उसकी बहन बबन को कम दहेज लाने, रुपयों की मांग पूरी नहीं करने के बदले मर्डर करके फांसी के फंदे से लटका दिया । Post navigation मतपेटी पहुंचते ही पंचायती चुनाव का बाजार गरम … आखिर कौन है विकास और सुविधाओं का दुश्मन