डॉ राजेन्द्र प्रसाद की पुण्य तिथि प्ररेणा दिवस के रुप में मनाई.
हिन्दू अधिनियम पारित करते समय उन्होंने कड़ा रुख अपनाया

फतह सिंह उजाला
पटौदी। 
भारत रत्न एंव देश के प्रथम राष्ट्रपति डॉ राजेन्द्र प्रसाद की पुण्य तिथि पर खंड के गांव जमालपुर में ग्रामीणों ने प्ररेणा दिवस के रुप में मनाया और उनके चित्र पर पुष्पमाला अर्पित करके  श्रद्धाजंलि दी तथा  उनके दिखाएं मार्ग पर चलने की शपथ ली।

इस मौके पर जिला पार्षद राव विजय पाल संटी जमालपुर, आजाद सिंह नाधा जिला पार्षद रेवाड़ी के कहा कि भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के प्रमुख क्रांतिकारी एवं भारतीय संविधान के निर्माण में अहम भूमिका निभाले वाले डा. राजेंद्र प्रसाद शर्मा ने देश के स्वतन्त्र होने के बाद संविधान  लागू होने पर उन्होंने देश के पहले राष्ट्रपति का पदभार सँभाला। राष्ट्रपति के तौर पर उन्होंने कभी भी अपने संवैधानिक अधिकारों में प्रधानमंत्री  या कांग्रेस को दखलअंदाजी का मौका नहीं दिया और हमेशा स्वतन्त्र रूप से कार्य करते रहे। हिन्दू अधिनियम पारित करते समय उन्होंने काफी कड़ा रुख अपनाया था।

राष्ट्रपति के रूप में उन्होंने कई ऐसे दृष्टान्त छोड़े जो बाद में उनके परवर्तियों के लिए उदाहरण बन गए । आज की युवा पीढ़ी को डा. सहाब के जीवन से प्ररेणा लेकर देश, समाज के उत्थान के लिए आगे आना होगा। तब ही समाज में फैली कुररितियों का अंत संभव है।  इस मौके पर रतन सिंह, रवि पंच बांस लाम्बी, रविंद्र मोहल्डा, जयवीर सिंह, राजपाल रावत, दीपक पंवालिया, रोहित रावत, राहुल आफरिया, नरेंद्र सिंह जांगडा आदि मौजूद थे।

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