पंजाबियत की परीक्षा लेने वाली शक्तियां आज फिर हो रही सक्रिय: रमन मलिक

गुरुग्राम। रविवार को भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता रमन मलिक सिख समाज की संगत में पहुंचे तो उन्हें सिख समाज के लोगों ने जन्मदिन की बधाई देते हुए आर्शीवाद दिया। शहर के सिख समाज में भी शहर के गुरुद्वारे में उनके लिए अरदास की। इस उपलक्ष में रमन मलिक ने वहां विराजमान संगत को अपने उद्बोधन में कहा कि वह शक्तियां आज जो समय-समय पर पंजाबी और पंजाबियत की बलि और परीक्षा लेती रही हैं, वह दोबारा समाज के अंदर दरार डालने की पूरी चेष्टा में लगी हुई हैं। उन्होंने गुरु नानक देव जी द्वारा दिए गए संदेश को याद रखने का आह्वान किया।

उन्होंने कहा कि जिस तरह से दसवीं बादशाही गुरु गोविंद सिंह जी महाराज ने श्री राम जन्मभूमि में पूजा अर्चना सुनिश्चित कराने के लिए 600 सिखों का दस्ता अयोध्या भेजा और वहां पर पूजा-पाठ दोबारा चालू कराया था। वह यही दिखाता है कि सनातन की रक्षा के लिए गुरु तेग बहादुर जी वह गुरु गोविंद सिंह जी ने अपना सब कुछ न्योछावर कर दिया।  सरहद के उत्तर और पश्चिम में बैठे देश के दुश्मन आज समाज में दरार पैदा करने के लिए हर संभव प्रयास कर रहे हैं।

उन्होंने वहां बैठी संगत से यह आग्रह कि कि हमें किसी भी तरीके से ऐसी शक्तियों का मुकाबला करना है। यह शक्तियां समय-समय पर खासकर पंजाबी समाज पर प्रहार करती रही हैं। चाहे वह 1947 का बंटवारा हो या फिर 1984 का नरसंहार। आज भी यह शक्तियां सात समुंदर पार बैठे अपने कठपुतलियों से समाज की छवि खराब करने के नए-नए तरीके ढूंढ कर हमारी विरासत पर प्रहार कर रही हैं। हमें नहीं भूलना चाहिए कि सनातन की रक्षा के लिए गुरुओं ने बड़े से बड़े बलिदान दिए हैं।

 उन्होंने कहा कि पुराना मुहावरा गुरु गोविंद दोनों खड़े और काके लागू पाय बलिहारी गुरु आपके जिन्हें गोविंद दियो मिलाय, दसवीं बादशाही गुरु गोविंद सिंह जी महाराज के अंदर गुरु और गोविंद दोनों हैं। मलिक ने कहा कि वह इस सांझी विरासत को संभालने के लिए कोई कसर नहीं छोड़ेंगे। उन्होंने कमेटी के द्वारा प्रस्तावित शब्द कीर्तन का आयोजन उनके निवास स्थान पर विनम्रता पूर्ण स्वीकार करा।

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